Delhi News: एमसीडी के वार्ड परिसीमन को लेकर HC ने केंद्र से मांगा जवाब, 14 दिसंबर को अगली सुनवाई
Delhi News याचिकाकर्ता चौधरी अनिल कुमार ने याचिका में वार्ड परिसीमन में जनसंख्या के अनुपात की अनदेखी करने का आरोप लगाया है। सवाल उठाया है कि एक वार्ड में 40 हजार और दूसरे वार्ड में 88 हजार जनसंख्या किस आधार पर तय की गई।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) चुनाव के लिए वार्डों के परिसीमन को लेकर जारी अधिसूचना के खिलाफ दायर दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष चौधरी अनिल कुमार की याचिका पर हाई कोर्ट ने केंद्र सरकार समेत अन्य को नाटिस जारी कर जवाब मांगा है। न्यायमूर्ति सतीश चंदर शर्मा और न्यायमूर्ति सुब्रमण्यम प्रसाद की पीठ ने गृह मंत्रालय, परिसीमन समिति और दिल्ली सरकार से जवाब मांगा है। इस मामले में अगली सुनवाई 14 दिसंबर को तय की गई है।
बगैर विचार किए परिसीमन लागू करने का आरोप
याचिकाकर्ता चौधरी अनिल कुमार ने याचिका में वार्ड परिसीमन में जनसंख्या के अनुपात की अनदेखी करने का आरोप लगाया है। सवाल उठाया है कि एक वार्ड में 40 हजार और दूसरे वार्ड में 88 हजार जनसंख्या किस आधार पर तय की गई। यह आरोप भी लगाया कि सुझाव व आपत्तियों पर विचार किए बगैर परिसीमन को लागू कर दिया गया। इसमें दलित और अल्पसंख्यक समुदाय को अलग-थलग करके नियमों की अवहेलना की गई है। उन्होंने अधिसूचना को रद कर नए सिरे से वार्ड परिसीमन करने का निर्देश देने की मांग की है।
परिसीमन का फार्मूला मनकाना व तर्कहीन
उनकी याचिका पर शुक्रवार को न्यायमूर्ति सतीश चंदर शर्मा और न्यायमूर्ति सुब्रमण्यम प्रसाद की पीठ में सुनवाई हुई। इसमें याचिकाकर्ता की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता सलमान खुर्शीद ने पेश होकर कहा कि परिसीमन के लिए अपनाया गया फार्मूला पूरी तरह से मनमाना, तर्कहीन, समझ से बाहर, भ्रमित करने वाला और विभिन्न कानूनी खामियों से ग्रस्त है। परिसीमन समिति ने संबंधित कारकों पर विचार किए बिना जल्दबाजी में इसे तैयार किया है।