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Coronavirus Safety Tips: हर बुखार नहीं है कोरोना, संक्रमण से मत घबराएं; जांच और सही इलाज कराएं

दिल्ली के सीनियर फिजीशियन डॉ. रमन कुमार ने बताया कि बुखार आना इस बात का संकेत है कि हमारा शरीर किसी संक्रमण से लड़ रहा है। इस मौसम में यदि बुखार आ रहा है तो इसे कोरोना संक्रमण का ही लक्षण मानकर घबराने के बजाय चिकित्सक से लें सलाह...

By Sanjay PokhriyalEdited By: Published: Wed, 16 Dec 2020 09:09 AM (IST)Updated: Wed, 16 Dec 2020 09:13 AM (IST)
Coronavirus Safety Tips: हर बुखार नहीं है कोरोना, संक्रमण से मत घबराएं; जांच और सही इलाज कराएं
बुखार का नाम आते ही वे घबरा जाते हैं कि कहीं उन्हें कोराना संक्रमण तो नहीं हो गया है।

नई दिल्ली, जेएनएन। मौसम बदलने के साथ ही मौसमी बीमारियों के प्रसार में भी तेजी आ जाती है। इन दिनों कोरोना संक्रमण के साथ ही बुखार, खांसी और जुकाम से काफी संख्या में लोग पीड़ित हो रहे हैं। बहुत कम लोग ऐसे होंगे जिन्हें पिछले कळ्छ समय में बुखार न आया हो। बुखार आना हमारे स्वास्थ्य से जुड़ी सबसे सामान्य समस्याओं में से एक है, लेकिन पिछले दस महीनों से कोविड-19 महामारी ने लोगों को इतना डरा दिया है कि बुखार का नाम आते ही वे घबरा जाते हैं कि कहीं उन्हें कोराना संक्रमण तो नहीं हो गया है।

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यह ठीक है कि बुखार आना कोविड-19 का एक लक्षण है, लेकिन शरीर का तापमान बढ़ने की केवल यही वजह नहीं है। इसके कई कारण हैं, जिससे शरीर का तापमान सामान्य से अधिक हो सकता है। इसमें इम्युनिटी का कमजोर होना, अधिक श्रम करना, मौसम में बदलाव और कोई अन्य संक्रमण हो सकता है। इन दिनों कोरोना संक्रमण के अतिरिक्त अन्य वायरस भी सक्रिय हैं और मौसम भी तेजी से बदल रहा है, जो बुखार का कारण बन रहा है। कुछ मामलों में कैंसरग्रस्त ट्यूमर के पनपने, ऑटो इम्यून डिजीज, किसी दवा या टीके का साइड इफेक्ट, फूड प्वाइजनिंग और ब्लड क्लाटिंग भी बुखार का कारण बनता है। इसलिए यदि बुखार की समस्या है तो उसे कोरोना का संक्रमण मानकर छिपाने या डरने के बजाय चिकित्सक की सलाह पर सही उपचार लेने में ही समझदारी है।

कोरोना संक्रमण की आशंका: कोरोना संक्रमण का सबसे सामान्य लक्षण बुखार, खांसी और थकान का होना है, लेकिन यह समझना महत्वूर्ण है कि कोविड-19 के सभी मामलों में बुखार नहीं भी आता है और हर बुखार कोविड-19 का लक्षण नहीं है। बुखार के साथ आपको थकान, सूखी खांसी या अन्य गंभीर लक्षण, जैसे पाचनतंत्र से संबंधित समस्याएं, सांस लेने में दिक्कत आदि की परेशानी होती है तो चिकित्सक से सलाह जरूर लें और कोविड-19 की जांच भी कराएं।

न करें लापरवाही: अगर आपके शरीर का तापमान 100 डिग्री फारेनहाइट या इससे अधिक है और इसके साथ निम्न लक्षण दिखाई दें तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। तीन दिन से अधिक बुखार का आना शरीर में किसी संक्रमण का संकेत हो सकता है।

रोगों के खतरे को स्वीकारें: यदि आप श्वसनतंत्र से संबंधित किसी भी रोग से ग्रसित हैं तो सतर्क रहने की जरूरत है। मौसम के उतार-चढ़ाव का ऐसे लोगों पर बहुत प्रभाव पड़ता है। इस मौसम में आमतौर पर अस्थमा, ब्रांकाइटिस और मौसमी एलर्जी के रोगियों की समस्या बढ़ जाती है। बुजुर्ग व उम्रदराज लोगों को चाहिए कि वे समय पर अपनी दवाएं लेते रहें और समय-समय पर चिकित्सक की सलाह भी लें। यदि लंबे समय से डायबिटीज से पीड़ित हैं तो अपना शुगर लेवल जांचते रहें और खानपान में किसी तरह की गड़बड़ी न करें। याद रखें कि कमजोर इम्युनिटी, पहले से किसी रोग का संक्रमण और साठ साल से अधिक की उम्र कोरोना के साथ ही मौसम के अन्य संक्रमणों के खतरे को दोगळ्ना कर देती है।

मौसम के साथ चलें: बदलता मौसम और बढ़ी ठंड तरह-तरह के संक्रमण का कारण बन रही है। हमारे शरीर को मौसम के अनुरूप ढलने में भी वक्त लगता है। ऐसे में यदि खानपान और दिनचर्या में गड़बड़ी रही तो खांसी, बुखार और जुकाम का होना तय है। मौसम का असर हमारे पाचनतंत्र पर भी पड़ता है। इसलिए मौसम के साथ खानपान में बदलाव जरूरी है। किसी भी संक्रमण से बचने का सरल उपाय है अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बरकरार रखना। इसके लिए मौसमी फल, गर्म तासीर के खाद्य, सूप आदि को डाइट का हिस्सा जरूर बनाएं। यह कोविड-19 के साथ ही अन्य संक्रमणों से आंतरिक सुरक्षा देंगे।

मेवे हैं फायदेमंद: इन दिनों सूखे मेवों का सेवन न सिर्फ गरमाहट प्रदान करेगा, बल्कि आपकी रोग-प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ाएगा। इसलिए काजू, बादाम, अखरोट, पिस्ता आदि का सेवन करें। विभिन्न प्रकार के मेवों का सेवन करने से शरीर के लिए आवश्यक विटामिंस, मिनरल्स, प्रोटीन आदि पोषक तत्वों की प्राप्ति होती है। ये बेहतर एंटी एजिंग होते हैं। इनमें मैग्नीशियम, कॉपर, पोटेशियम, सेलेनियम आदि मौजूद होता है। ये शरीर में खून की कमी अर्थात एनीमिया जैसी समस्या से भी बचाते हैं।

स्वच्छता है बड़ा सुरक्षा चक्र: किसी भी बीमारी से बचने का सबसे बड़ा सुरक्षा कवच है स्वच्छता का पालन करना। अगर कोविड-19 के लिए बनाई गई गाइड लाइन- शारीरिक दूरी, मास्क का प्रयोग और हाथों की सफाई का ईमानदारी से पालन किया जाए तो हर संक्रमण से हम बचे रहेंगे।

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