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MCD Budget: दिल्ली नगर निगम का बजट पारित, AAP ने कहा- 15 साल के कुशासन के कारण BJP को जनता ने उखाड़ फेंका

MCD Budget 31 मार्च तक निगम के बजट को पास कराना जरूरी है। बता दें कि इससे पहले मंगलवार को निगम की विशेष बैठक बुलाए जाने के तुरंत बाद दिन भर के लिए कार्यवाही स्थगित कर दी गई।

By Nihal SinghEdited By: Shyamji TiwariPublished: Wed, 29 Mar 2023 03:38 PM (IST)Updated: Wed, 29 Mar 2023 05:12 PM (IST)
MCD Budget: दिल्ली नगर निगम का बजट पारित, AAP ने कहा- 15 साल के कुशासन के कारण BJP को जनता ने उखाड़ फेंका
विपक्ष में जल्द आ जाएगी AAP," दिल्ली नगर निगम के बजट पर चर्चा के दौरान बीजेपी

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली नगर निगम का बजट बुधवार को सदन में चर्चा के बाद पारित हो गया।बजट पर चर्चा के लिए आज नगर निगम की विशेष बैठक हुई थी। इस दौरान मेयर ने कहा कि हमारा लक्ष्य होना चाहिए कि हम निगम को नंबर एक बनाए। वहीं बीजेपी रेखा गुप्ता ने आम आदमी पार्टी पर हमला बोला।

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बता दें कि इससे पहले मंगलवार को निगम की विशेष बैठक बुलाए जाने के तुरंत बाद दिन भर के लिए कार्यवाही स्थगित कर दी गई। पार्षदों को बजट दस्तावेज को पढ़ने के लिए पर्याप्त समय नहीं मिला और इसलिए बुधवार को सत्र शुरू होने तक का समय दिया गया है। 

निगम के एकीकरण के बाद पहला बजट

नगर निगम में बजट पर चर्चा के दौरान बुधवार को दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने कहा कि निगम के एकीकरण के बाद यह पहला बजट है। दिल्ली वालों की इस पर निगाहें हैं। हमारा लक्ष्य होना चाहिए कि हम निगम को नंबर एक बनाए। स्वच्छ रैकिंग में शीर्ष तीन में निगम होना चाहिए । हम निगम को बेहतर बनाने के लिए कार्य कर रहे हैं। 

विपक्ष की ओर से दिए गए 11 नाम

सदन में सभी पार्षदों को बोलने का पांच मिनट का समय दिया गया है। विपक्ष की ओर से 11 नाम दिए हैं, जिस पर महापौर ने कहा कि ज्यादा पार्षदों को बोलने का समय नहीं दिया जा सकता है। बता दें कि महापौर ने दोनों पक्षों से चार- चार पार्षदों को बोलने का समय दिया है। इस पर विपक्ष का कहना है ज्यादा से ज्यादा पार्षदों को बोलने मोका दिया जाए। 

जल्द विपक्ष में आ जाएगी AAP- रेखा गुप्ता

रेखा गुप्ता ने कहा कि जिस हिसाब से आप सरकार काम कर रही है। व्यापारियों को कन्वर्जन चार्ज के नोटिस भेजे जा रहे हैं। इससे जल्द ही आम आदमी पार्टी विपक्ष में आएगी। दिल्ली की जनता को परेशान किया जा रहा है। स्पेशल जोन में नोटिस दिए जा रहे हैं। 2000 से ज्यादा नोटिस दिए गए हैं। स्पेशल जोन आने की वजह से उन्हें नोटिस नहीं देना चाहिए। पिछले तीन माह से मर्केंटाइल एसोसिएशन राहत की मांग कर रही है, लेकिन नोटिस नहीं देनी चाहिए।

15 साल से BJP का था भ्रष्टाचार- AAP

आम आदमी पार्टी की ओर से प्रवीण कुमार ने कहा कि सील की संपत्तियों को तुरंत डी-सील किया जाए। भाजपा 15 प्रस्ताव लेकर आई, जबकि 15 साल से इनकी ही सरकार थी। इन्हें शर्म आनी चाहिए। वहीं प्रेम चौहान ने चर्चा के दौरान कहा कि भाजपा 11 प्रस्ताव लेकर आई है, जबकि 15 साल से भाजपा ही सत्ता में थी। 15 साल से भाजपा का भ्रष्टाचार था।

आप के प्रेम चौहान ने आगे कहा कि सीएम ने जो धनराशि दी वह संजीवनी का काम करेगी। यह कर्मचारियो का बजट है। उन्हें वेतन के लिए परेशान नहीं होना पड़ेगा। दिल्ली के व्यापारियों के साथ हो रहे अत्याचार से संबंधित प्रस्ताव लेकर आया हूं। कन्वर्जन के नोटिस दिए हैं। 15 साल से व्यापारियों को परेशान किया है। जब तक ठोस नीति नहीं बना ली जाती तब तक कोई नोटिस न भेजा जाए।

उप महापौर आले इकबाल ने कहा कि 36 दिन के अंदर हम सरकार में और 5475 दिन से भाजपा सत्ता में थी। 11 प्रस्ताव रखने की जरूरत क्यों पड़ी। चांदनी चौक में नोटिस क्यों आ रहे हैं। यह स्पेशल जोन हैं । 36 दिन की तुलना पांच हजार दिन से तुलना नहीं कर सकते हैं। दिल्ली सरकार फ्री देने के बाद भी सरकार मुनाफे में है। दिल्ली का कायापलट किया जाएगा।

भाजपा की सिखा राय ने कहा कि बड़ी उम्मीद से आए थे। कुछ लाभ मिलेगा ऐसा लगा था। अफसोस के साथ कहना पड़ रहा है कोई नई घोषणा नहीं की। दिल्ली की जनता को क्या करना चाहिए कि दो मंत्री जेल में बंद है। 15 साल जनता ने कमान रखी कि आज हम 105 है। नरेंद्र जी नेकहा कि पैसा नहीं है। हम भी यही कहते थे पैसा नहीं है।हर मुद्दे के लिए जीरों बजट दिया है। दिल्ली सरकार ने बजट दिया होता तो अच्छा होता । समय देने में पक्ष पात किया गया। रेखा को 4.34 मिनट दिए। लिखित आदेश दे सकते थे औउसके लिए नोटिस लाने की जरूरत नहीं है। जो काम करने केे अधिकार उसके प्रस्ताव लाने पड़ रहे हैं। सोसायटी सील हो रही है। संपत्तिकर यूज फैक्टर बड़ा दिया है।

नगर निगम सदन के नेता मुकेश गोयल ने कहा कि 15 साल के कुशासन के खिलाफ आप को चुना है। हमें आलोचना सुनकर उन कमियों को ठीक करना है। भाजपा को जनता ने उखाड़कर फेंक दिया है। ये बजट कर्मियों का बजट है। संवैधानिक संकट लाने के हालात पैदा कर दिए थे। दिल्ली सरकार पर फंड न देने का आरोप लगा रहे हैं, जबकि मनोज तिवारी ने केंद्र से सीधे बजट लाने की बात कही थी। 


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