सरकारी नौकरी मिलने के बाद कुछ तरह बोले नेत्रहीन
सुखबीर चंदीला सहित प्रदेश के 145 नेत्रहीनों को हाल ही में सरकारी नौकरी नसीब हुई है। हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग की ओर से नवंबर 2018 में सुखबीर चंदीला ने परीक्षा दी थी।
फरीदाबाद, [अनिल बेताब]। पीएम और सीएम साहब के भ्रष्टाचार मुक्त शासन में मुझे सरकारी नौकरी मिली है। मैं ही नहीं, मेरे जैसे दर्जनों नेत्रहीनों के जीवन में खुशियों का उजियारा फैला है। आर्थिक स्थिति मजबूत हुई है तो आत्मविश्वास भी बढ़ा है। बड़ौली गांव निवासी स्व.रूप चंद और मूर्ति देवी के नेत्रहीन पुत्र सुखबीर चंदीला ने सरकारी नौकरी हासिल करने के बाद सोमवार को दैनिक जागरण से कुछ तरह मन की बातें साझा की।
सुखबीर चंदीला सहित प्रदेश के 145 नेत्रहीनों को हाल ही में सरकारी नौकरी नसीब हुई है। हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग की ओर से नवंबर 2018 में सुखबीर चंदीला ने परीक्षा दी थी। सुखबीर को तृतीय श्रेणी में नौकरी मिली है। वह नेशनल एसोसिएशन ऑफ द ब्लाइंड,(एनएबी) से जुड़े हैं। सुखबीर 2006 में एनएबी से जुड़े थे। यहीं से जुड़कर सुखबीर चंदीला ने सीबीएसई से दसवीं (ब्रेल पद्धति) की, बाद में ग्रेजुएशन किया।
सुखबीर के अलावा एनएबी से जुड़े और कई युवा हैं, जिनको सरकारी नौकरी मिली है। इनमें न्यू जनता कालोनी निवासी मंजू भी हैं, जिन्हें चतुर्थ श्रेणी में नौकरी मिली है। मंजू के पति इन दिनों बेरोजगार हैं। इनके एक बेटा और एक बेटी हैं। नौकरी मिलने के बाद मंजू ने खुशी जताई कि अब परिवार की आर्थिक स्थिति बेहतर होगी। नेत्रहीनों ने एनएबी के अध्यक्ष अजीत पटवा और उपाध्यक्ष सुषमा गुप्ता के प्रयासों की सराहना की। एनएबी के महासचिव हेम सिंह यादव ने बताया कि नेत्रहीनों को पढ़ाई-लिखाई के साथ कंप्यूटर प्रशिक्षण भी दिया जाता है, ताकि वे निपुण होकर आत्मनिर्भर बन सकें।