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जामिया में शुरू होंगे कौशल आधारित पांच नए कोर्स

जामिया मिल्लिया इस्लामिया में जल्द ही पांच नए कौशल आधारित कोर्स शुरू हो सकते हैं। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के दीन दयाल उपाध्याय कौशल केंद्र कई विश्वविद्यालय व शिक्षण संस्थानों में स्थापित किए गए हैं। इन कौशल केंद्रों की एडवाइजरी कमेटी भी उन सभी शिक्षण संस्थानों व विश्वविद्यालयों में गठित हो रखी हैं। हाल ही में जामिया की कौशल केंद्र से जुड़ी एडवाइजरी कमेटी की बैठक हुई थी जिसमे यूजीसी और जामिया के अधिकारी शामिल हुए थे। इस बैठक में जामिया में पांच नए कौशल आधारित कोर्सों को शुरू करने की सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है। कमेटी से जुड़े एक अधिकारी ने बताया है कि यह नए कोर्स स्व वित्त (सेल्फ फाइनेंस मोड) की तरह से संचालित किए जाएंगे। चार नए पीजी डिप्लोमा कोर्स और एक सर्टिफिकेट कोर्स को शुरू करने के लिए मंजूरी मिली है।

By JagranEdited By: Published: Sat, 04 May 2019 07:59 PM (IST)Updated: Sat, 04 May 2019 07:59 PM (IST)
जामिया में शुरू होंगे कौशल आधारित पांच नए कोर्स
जामिया में शुरू होंगे कौशल आधारित पांच नए कोर्स

राहुल मानव , नई दिल्ली : जामिया मिल्लिया इस्लामिया विश्वविद्यालय में जल्द ही कौशल आधारित पांच नए कोर्स शुरू हो सकते हैं। इसमें चार पीजी डिप्लोमा और एक सर्टिफिकेट कोर्स शामिल है। इसके लिए जामिया को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) से सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है। इसके बाद विश्वविद्यालय प्रशासन इन कोर्सो में सीटों के निर्धारण और दाखिला प्रक्रिया को तय करने की कवायद में जुट गया है। अधिकारियों की मानें तो इसी सत्र में ये पांचों कोर्स शुरू हो सकते हैं।

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यूजीसी के दीन दयाल उपाध्याय कौशल केंद्र कई विश्वविद्यालय और शिक्षण संस्थानों में स्थापित किए गए हैं। इन केंद्रों की एडवाइजरी कमेटी भी इन शिक्षण संस्थानों और विश्वविद्यालयों में गठित की गई है। हाल ही में जामिया के कौशल केंद्र से जुड़ी एडवाइजरी कमेटी की बैठक हुई थी। इसमें यूजीसी और जामिया के अधिकारी शामिल हुए थे। बैठक में जामिया में पांच नए कौशल आधारित कोर्सों को शुरू करने की सैद्धांतिक मंजूरी यूजीसी ने दी है। एक अधिकारी के मुताबिक यह नए कोर्स स्ववित्तपोषित (सेल्फ फाइनेंस मोड) की तरह से संचालित किए जाएंगे। उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय को चार नए पीजी डिप्लोमा कोर्स और एक सर्टिफिकेट कोर्स शुरू करने की सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है। इनमें से पीजी डिप्लोमा कोर्स एक से दो साल जबकि सर्टिफिकेट कोर्स एक साल का होगा। पीजी डिप्लोमा कोर्स में स्नातक की पढ़ाई पूरी करने के बाद छात्र दाखिला ले सकेंगे। वहीं सर्टिफिकेट कोर्स सिर्फ 10वीं करने वाले छात्रों के लिए होगा। इन सभी कोर्स की फंडिग के लिए बातचीत चल रही है, जिस पर जल्द ही फैसला ले लिया जाएगा। फिलहाल विश्वविद्यालय प्रशासन यह तय करने में जुटा है कि किस कोर्स में कितनी सीटें रहेंगी और इनमें दाखिले की प्रक्रिया क्या रहेगी। इसके लिए अधिकारियों की बैठक होगी। इसमें जो फैसला लिया जाएगा, उससे यूजीसी को अवगत कराया जाएगा। ताकि, कोर्स शुरू करने में जो भी अड़चनें शेष बची हैं, उन्हें दूर किया जा सके। गौरतलब है कि हाल हील में नवनियुक्त प्रथम महिला कुलपति प्रो नजमा अख्तर ने कहा था कि रोजगार पैदा करने वाले कोर्स शुरू करने पर उनका जोर रहेगा। उनका मकसद जामिया में छात्रों को सिर्फ पढ़ाना नहीं बल्कि बच्चों को रोजगार के अवसर मुहैया कराना रहेगा। ये पांच कोर्स होंगे शुरू

- पीजी डिप्लोमा इन मेडिटेशन एंड डाइटीशियन

- पीजी डिप्लोमा इन न्यूरो इलेक्ट्रो फिजियोलॉजी

- पीजी डिप्लोमा इन मेडिकल लैब टेक्नोलॉजी

- पीजी डिप्लोमा इन हेल्थ एंड फिटनेस

- सर्टिफिकेट कोर्स इन हॉस्पिटल असिस्टेंट ये कोर्स पहले से हो रहे हैं संचालित

जामिया में चार कौशल आधारित कोर्स पहले से संचालित हो रहे हैं। यह कोर्स बैचलर ऑफ वोकेशनल यानी बीवॉक के नाम से चल रहे हैं। इनमें बीवॉक (मेडिकल लैब साइंसेज) बीवॉक (मेडिकल इलेक्ट्रो फिजियोलॉजी), बीवॉक (सोलर एनर्जी) और डिप्लोमा इन रेफ्रिजरेशन एंड एयर कंडिशनिग कोर्स में छात्र पढ़ाई कर रहे हैं।

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