108 फीट ऊंची हनुमान मूर्ति मामले में जांच में सहयोग नहीं कर रहा उत्तरी निगम व डीडीए
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जासं, नई दिल्ली : करोलबाग स्थित 108 फीट ऊंची हनुमान मूर्ति के निर्माण की जांच कर रही केंद्रीय जांच एजेंसी ने उत्तरी निगम और दिल्ली विकास प्राधिकरण पर जांच में सहयोग नहीं करने का गंभीर आरोप लगाया है। हालांकि, डीडीए और उत्तरी निगम ने सीबीआइ के दावे को खारिज किया। मामले की सुनवाई करते हुए कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश गीता मित्तल व न्यायमूर्ति सी हरिशंकर ने निगम व डीडीए के दो-दो अधिकारियों को आगामी 11 अप्रैल को संबंधित दस्तावेजों के साथ सीबीआइ की भ्रष्टाचार निरोधक शाखा के समक्ष पेश होने का आदेश दिया।
पीठ ने इस दौरान क्षेत्र की बिजली वितरण कंपनी को भी मंदिर ट्रस्ट की तरफ से बिजली का कनेक्शन लेने के लिए लगाए गए आवेदन की मूल प्रति को पेश करने का आदेश दिया। मामले में अगली सुनवाई 23 मई को होगी। वहीं, कोर्ट मामले में न्यायालय मित्र भी नियुक्त कर सकता है। इस दौरान डीडीए ने कोर्ट को बताया कि 1972 में ही उक्त स्थान को लैंड एंड डेवलपमेंट ऑफिस को स्थानांतरित कर दिया गया था। ऐसे में मामले से उनके अधिकारियों का कोई लेना-देना नहीं है। दूसरी तरफ उत्तरी निगम ने दावा किया कि उक्त क्षेत्र नई दिल्ली नगर पालिका परिषद क्षेत्र में है। कोर्ट द्वारा दोनों विभागों को जिम्मेदार अधिकारियों की सूची देने के आदेश देने पर विभागों ने प्रकरण से किनारा कर लिया।