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बड़े भाई की हत्या करवाने के लिए बेच दिए सारे कपड़े, चाकुओं के 47 वार किए

बड़े भाई की हरकतों से परेशान हो कर हत्या की साजिश रच डाली। इसके लिए 20 हजार रुपयों का इंतजाम उसने जागरण में किरदार निभाने वाले परिधानों को बेचकर किया।

By JP YadavEdited By: Published: Tue, 09 Feb 2016 12:42 PM (IST)Updated: Tue, 09 Feb 2016 12:54 PM (IST)
बड़े भाई की हत्या करवाने के लिए बेच दिए सारे कपड़े, चाकुओं के 47 वार किए

नई दिल्ली। बड़े भाई को शराब की लत थी। पीने के लिए छोटे भाई के पैसे छीन लेता था और नहीं देने पर उसकी पिटाई करता था। साथ ही मां के साथ भी मारपीट करता था। इससे आजिज आकर छोटे भाई ने उसकी हत्या की साजिश रच डाली।

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गोली मारकर हत्या करने का आरोपी गिरफ्तार

अपने दो नाबालिग दोस्तों को उसकी हत्या के लिए 20 हजार रुपये की सुपारी दे दी। दोस्तों ने बड़े भाई को शराब पिलाकर उसकी बड़ी बेरहमी से हत्या कर दी। आरोपी तब तक युवक को चाकू मारते रहे जब तक उसने दम नहीं तोड़ दिया। पोस्टमार्टम में पुलिस को पता चला कि मृतक के शरीर पर 47 बार चाकू से वार किया गया।

नंदनगरी में तीन-चार फरवरी की मध्यरात्रि को हुई इस हत्या की गुत्थी सुलझाते हुए पुलिस ने नाबालिग भाई व उसके दोनों दोस्तों को हिरासत में लेकर बाल सुधार गृह भेज दिया है। आरोपियों की निशानदेही पर मृतक का मोबाइल, खून से सने कपड़े व अन्य सामान बरामद हो गया है।

पुलिस उपायुक्त डॉ. अजीत कुमार सिंगला ने बताया कि चार फरवरी को नंदनगरी 212 के बस स्टैंड से बृजेश (25) नामक युवक का शव बरामद हुआ था। इसकी जांच के लिए एसीपी हरेश्वर वी स्वामी के नेतृत्व में इंस्पेक्टर तारकेश्वर सिंह और संजीव कुमार व अन्य की टीम गठित की गई।

टीम ने मामले की छानबीन शुरू की तो पता चला कि आखिरी बार बृजेश की इलाके के ही नाबालिग से मोबाइल पर बात हुई थी। पुलिस ने नाबालिग को बुलाया और कड़ाई से पूछताछ की तो उसने हत्या में अपना हाथ होने की बात कुबूल कर लिया। बाद में नाबालिग की निशानदेही पर मृतक के भाई व एक अन्य आरोपी को भी दबोच लिया गया।

परिधान बेचकर जुगाड़ की सुपारी की रकम

पूछताछ के दौरान बृजेश के छोटे भाई ने बताया कि उसका बड़ा भाई मां व परिवार के अन्य सदस्यों के साथ मारपीट करता था। शराब पीने की लत की वजह से उसे हर हाल में पैसे चाहिए होते थे। इस बात से नाबालिग भाई बेहद परेशान था।

वह खुद माता के जागरण में किरदार निभाकर परिवार को पालता था, जबकि बृजेश शराब के नशे में धुत रहता था। वह कोई काम नहीं करता था। इसी बात से आजिज होकर उसने हत्या की साजिश रच डाली। इसके लिए 20 हजार रुपयों का इंतजाम उसने जागरण में किरदार निभाने वाले परिधानों को बेचकर किया।


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