लाॅकडाउन खुलते ही दिल्ली के व्यापारियों को लगा तगड़ा झटका, 17 गुना बढ़ी शुल्क से हुए परेशान
Hike in Business License Fee व्यापारियों ने कहा कि कोरोना जैसी गंभीर महामारी और लाकडाउन के चलते दिल्ली के व्यापारी पहले से आर्थिक संकट में हैं। उसमें इस बढ़ोतरी ने जले पर नमक छिड़कने का काम किया है।
नई दिल्ली [नेमिष हेमंत]। उत्तरी नगर निगम द्वारा व्यापार लाइसेंस में 17 गुना बढ़ोत्तरी का व्यापारियों ने विरोध किया है। व्यापारियों ने कहा कि कोरोना जैसी गंभीर महामारी और लाकडाउन के चलते दिल्ली के व्यापारी पहले से आर्थिक संकट में हैं। उसमें इस बढ़ोतरी ने जले पर नमक छिड़कने का काम किया है।
लंबे लाॅकडाउन के बाद खुलीं हैं बाजारों को पटरी पर आने में लगेगा चार-पांच माह का वक्त
आप ट्रेड विंग के महासचिव विष्णु भार्गव और उपाध्यक्ष गुरमीत अरोड़ा ने बताया कि लंबे लाकडाउन के बाद हाल में बाजारें खुली हैं। सब कुछ ठीक रहा तब भी कारोबार को पटरी में आने में चार से पांच माह का वक्त लगेगा। इसके पहले लाकडाउन की अवधि का कर्मचारियों को वेतन, दुकान का किराया, बिजली-पानी का बिल समेत अन्य भुगतान करना है।
नगर निगम का व्यापार लाइसेंस शुल्क बढ़ाने का फैसला गैर जिम्मेदाराना
इस स्थिति में नगर निगम का व्यापार लाइसेंस का शुल्क बढ़ाने का फैसला अमानवीय और गैर जिम्मेदाराना है। भारतीय उद्योग व्यापार मंडल दिल्ली के महासचिव राकेश यादव ने बताया कि नए लाइसेंस शुल्क के हिसाब से जो दुकानें 10 से 20 वर्ग मीटर की है उन्हें अब 500 रुपये के बजाए 8,625 रुपये सालाना चुकाना होगा। यह ठीक नहीं है। व्यापारी जहां एक ओर अन्य शुल्कों में रियायत की आस लगा रहे हैं। उसमें भारी भरकम बढ़ोत्तरी की जा रही है। इससे व्यापारी वर्ग में नाराजगी बढ़ेगी।
वापस हो सकते हैं बढ़े दाम
चांदनी चौक सर्व व्यापार मंडल के अध्यक्ष संजय भार्गव ने बताया कि इस मामले को दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष आदेश गुप्ता के सामने उठाया गया था और उनसे व्यापारियों की चिंताओं से अवगत करा दिया गया है। उन्होंने आश्वस्त किया है कि बढ़े दाम वापस लिए जाएंगे।