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कामगारों के लिए निशुल्क रेलयात्रा की है व्यवस्था : सिसोदिया

उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने प्रवासी मजदूरों से पैदल यात्रा न करने की अपील की है। उन्होंने कहा कि सभी की निशुल्क रेलयात्रा का प्रबंध दिल्ली सरकार ने किया है। सात मई से 25 मई तक 196 ट्रेनों से 241169 लोगों को उनके घर भेजा गया है। इनमें सर्वाधिक बिहार के 125711 लोग हैं जबकि 96610 मजदूर उत्तर प्रदेश हैं।

By JagranEdited By: Published: Tue, 26 May 2020 08:41 PM (IST)Updated: Tue, 26 May 2020 08:41 PM (IST)
कामगारों के लिए निशुल्क रेलयात्रा की है व्यवस्था : सिसोदिया
कामगारों के लिए निशुल्क रेलयात्रा की है व्यवस्था : सिसोदिया

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली

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उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कामगारों से पैदल यात्रा न करने की अपील की है। उन्होंने कहा कि सभी की निशुल्क रेलयात्रा का प्रबंध दिल्ली सरकार ने किया है। सात मई से 25 मई तक 196 ट्रेनों से 2,41,169 लोगों को उनके घर भेजा गया है। इनमें सर्वाधिक बिहार के 1,25,711 लोग हैं, जबकि 96,610 कामगार उत्तर प्रदेश के हैं। इसके साथ ही झारखंड के 3132, पश्चिम बंगाल के 3864, मध्य प्रदेश के 9196 प्रवासी कामगारों को भी भेजा गया है। मंगलवार को भी 18 ट्रेनों से 30,000 लोगों को भेजा गया है। इनमें 11 ट्रेनें बिहार तथा 6 ट्रेनें यूपी भेजी गई हैं।

मंगलवार को डिजिटल पत्रकार वार्ता के दौरान सिसोदिया ने कहा कि लॉकडाउन के कारण दिहाड़ी कामगारों और गरीबों का ज्यादा नुकसान नहीं हो, इसके लिए दिल्ली सरकार ने कई ठोस कदम उठाए हैं। प्रत्येक गतिविधि पर मुख्यमंत्री स्वयं नजर रख रहे हैं। केजरीवाल ने पहले ही कह दिया था कि जो प्रवासी कामगार दिल्ली में हैं, वे भी दिल्ली के ही लोग हैं, दिल्ली ही उनका घर है। उन्हें कहीं जाने की जरूरत नहीं है। हमने सबका इंतजाम किया है। इसके बावजूद काम बंद होने और घर-परिवार की चिता या अन्य कारणों से बहुत से लोग अपने गांव लौटने लगे। यहां तक कि बहुत से लोग पैदल जाने को मजबूर हुए। इस बीच रेलयात्रा प्रारंभ होने पर हमने सबको निशुल्क भेजने का इंतजाम किया।

केक, ड्राई फ्रूट दिया जा रहा

सिसोदिया ने कहा कि पंजीकृत प्रवासियों को राहत शिविर में बुलाकर स्क्रीनिग की जाती है। तापमान और अन्य स्वास्थ्य जांच के बाद यात्रा के लिए उपयुक्त लोगों को बस से स्टेशन भेजा जाता है। सभी को रास्ते के लिए पानी बोतल, केक, केला, ड्राई फ्रूट इत्यादि खाद्य सामग्री दी जाती है। गर्मी में खराब होने के भय से पका हुआ भोजन नहीं दिया जाता है। किसी मजदूर को टिकट के पैसे नहीं देने पड़ते हैं। सबको अच्छी तरह उनके घर भेजा जाता है।

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1.10 लाख परिवारों को दिया जा रहा राशन

सिसोदिया ने कहा कि किसी कामगार को टिकट के पैसे नहीं देने पड़ते हैं। सबको अच्छी तरह से उनके घर भेजा जाता है। सिसोदिया ने अपील की है कि कोई भी पैदल या अन्य तरीकों से जाने की कोशिश न करे। जिनका भी पंजीयन हुआ है, सबको भेजने का इंतजाम किया जा रहा है।

दिल्ली में लगभग 2500 राहत शिविर चल रहे हैं। इनमें दस लाख लोगों को भोजन कराया जा रहा था, हालांकि अभी इस संख्या में कुछ कमी आई है। उन्होंने कहा कि लगभग 72 लाख परिवारों को पीडीएस राशन और 38 लाख परिवारों को नॉन-पीडीएस राशन दिया जा रहा है।

सिसोदिया ने कहा कि दिल्लीवासियों और प्रवासियों, किसी पर भी लॉकडाउन के कारण ज्यादा आर्थिक दबाव न आए, इसके लिए आम आदमी पार्टी की सरकार हरसंभव कदम उठा रही है।


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