Ind vs Aus: कोटला का किला बनाएगा राजा, जो जीतेगा आखिरी मैच उसकी होगी सीरीज
कोटला मैदान पर अब तक दोनों टीमों के बीच चार मैच खेले गए हैं जिसमें से भारत ने तीन में जीत दर्ज की है।
अभिषेक त्रिपाठी, नई दिल्ली। इस सीरीज के शुरू होने से पहले सबको लग रहा था कि विराट कोहली की कप्तानी वाली दुनिया की नंबर दो टीम, अपने पूर्व कप्तान स्टीव स्मिथ व पूर्व उप कप्तान डेविड वार्नर के बिना झंझावतों के झूले में झूल रही नंबर पांच ऑस्ट्रेलियाई टीम को आसानी से पटखनी देकर विश्व कप की तैयारियों को दुरुस्त कर लेगी लेकिन अपनी धरती को क्रिकेट की प्रयोगशाला बना चुके भारतीय प्रबंधन ने टीम इंडिया को सीरीज हारने के मुहाने पर पहुंचा दिया, इसके साथ ही टीम इंडिया के तीसरी बार विश्व कप जीतने की उम्मीदों को भी भोथरा कर दिया। पिछले चार मैचों से विश्व कप के लिए टीम संयोजन की तलाश कर रही टीम इंडिया अपने जाल में बुरी तरह फंस गई है और अब वह किसी तरह बुधवार को कोटला का किला फतह करके पांच मैचों की सीरीज को 3-2 से अपने नाम करना चाहेगी क्योंकि अगर वह विश्व कप से पूर्व आखिरी सीरीज हारती है तो उसका मनोबल कमजोर होगा।
भारत ने इस सीरीज के पहले दो मुकाबले जीत लिए थे और उसके बाद प्रयोग शुरू किए। नतीजा यह हुआ कि ऑस्ट्रेलिया ने आखिरी दो मैच जीतकर विराट की टीम को उसके घर पर बैकफुट पर ला दिया। इसमें तो कोई शक नहीं है कि विराट किसी भी कीमत पर अपने घरेलू मैदान पर होने वाला मुकाबला और सीरीज जीतना चाहेंगे। ऑस्ट्रेलिया ने 2009 के बाद से भारत में कोई वनडे सीरीज नहीं जीती है। यही नहीं यहां पर 0-2 से पिछड़ने के बाद उसने वनडे सीरीज नहीं जीती है। ऐसे में अगर यह ऑस्ट्रेलियाई टीम सीरीज जीतने में सफल होती है तो विश्व कप से पहले उसके लिए चमत्कार से कम नहीं होगा। भारत ने पिछले तीन वर्ष में जो 13 द्विपक्षीय सीरीज खेली हैं उनमें से 12 में जीत दर्ज की हैं।
विजय को चौथे नंबर पर आजमाने का विकल्प : टीम प्रबंधन इस मैच में विजय शंकर को चौथे नंबर पर आजमा सकता है। लोकल ब्वॉय शिखर धवन फॉर्म में लौट आए हैं। दूसरे लोकल ब्वॉय कोहली ने कोटला पर वनडे और टेस्ट में एक-एक शतक लगाया है। कोहली पिछले मैच में चौथे नंबर पर बल्लेबाजी के लिए उतरे थे लेकिन निर्णायक मैच की नजाकत को देखते हुए वह अपने घरेलू मैदान पर तीसरे नंबर पर ही उतर सकते हैं। राहुल को एक और मौका मिलने की संभावना है। ऐसे में रायुडू को बाहर बैठना पड़ सकता है। वहीं तीसरे लोकल ब्वॉय रिषभ पंत मोहाली की आलोचना के बाद अपने घरेलू मैदान में पहले अंतरराष्ट्रीय मुकाबले में खुद को साबित करना चाहेंगे। मोहाली में पिटे भारतीय गेंदबाजों को यहां पर अच्छा प्रदर्शन करना होगा। खास तौर पर भुवनेश्वर कुमार पर सबकी निगाहें होंगी। मुहम्मद शमी अगर फिट होते हैं तो उन्हें भुवी की जगह मौका मिल सकता है। ऑस्ट्रेलियाई टीम के लिए भारत का यह दौरा संजीवनी की तरह रहा है। उसने पहले टी-20 सीरीज जीती और अब वनडे सीरीज जीतने के मुहाने पर है। जहां ख्वाजा ने अच्छा प्रदर्शन किया है तो वहीं ग्लेन मैक्सवेल, एश्टन टर्नर और पीटर हैंड्सकोंब ने अपने प्रदर्शन से सबको चौंकाया है। मोहाली में 359 रन का विशाल लक्ष्य हासिल करके रिकॉर्ड बनाने वाले ऑस्ट्रेलियाई टीम अब पहले से ज्यादा मजबूत नजर आ रही है। यहां पर मेहमान टीम दोनों स्पिनरों एडम जांपा और नाथन लियोन को खिला सकती है।
फिरोजशाह कोटला स्टेडियम
इस मैदान पर अब तक दोनों टीमों के बीच चार मैच खेले गए हैं जिसमें से भारत ने तीन में जीत दर्ज की है। ऑस्ट्रेलिया ने एकमात्र जीत 1998 में हासिल की थी। मौसम विभाग ने बुधवार को हल्की बारिश की भविष्यवाणी की। अगर आसमान साफ रहता है तो ओस अपनी भूमिका निभा सकती है। ये दोनों कारक टीम संयोजन को प्रभावित कर सकते हैं। जहां तक इस पिच की बात है तो इसमें स्पिनरों को मदद मिल सकती है और ज्यादा उछाल नहीं होगा। ओस के कारण बाद में गेंदबाजी करने वाली टीम को दिक्कत आएगी। जब भारतीय गेंदबाजी कोच भरत अरुण से पिच के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा, 'मैंने अभी पिच नहीं देखी है।'
टीमें :
भारत- विराट कोहली (कप्तान), शिखर धवन, रोहित शर्मा, अंबाती रायुडू, केदार जाधव, विजय शंकर, कुलदीप यादव, जसप्रीत बुमराह, मुहम्मद शमी, रवींद्र जडेजा, युजवेंद्रा सिंह चहल, भुवनेश्वर कुमार, रिषभ पंत।
ऑस्ट्रेलिया- आरोन फिंच (कप्तान), उस्मान ख्वाजा, पीटर हैंड्सकोब, शॉन मार्श, ग्लेन मैक्सवेल, मार्कस स्टोइनिस, एश्टन टर्नर, जॉय रिचर्डसन, एडम जांपा, एंड्रयू टाई, पैट कमिंस, नाथन कूल्टर नाइल, एलेक्स कैरी, नाथन लियोन, जैसन बेहरनडोर्फ।
भारतीय टीम का संयोजन गड़बड़ाया
विराट कोहली की फॉर्म और भारतीय गेंदबाजों के धांसू प्रदर्शन के कारण भारत को इस साल जून में इंग्लैंड में होने वाले विश्व कप का सशक्त दावेदार माना जा रहा था लेकिन इस सीरीज ने सबको फिर से सोचने पर मजबूर कर दिया है। इस सीरीज से पहले भारतीय टीम विश्व कप के लिए लगभग तैयार थी और सभी कह रहे थे कि एक-दो स्थान को छोड़कर बाकी जगहें सुनिश्चित हैं। इस सीरीज में धौनी की अनुपस्थिति में विराट की खराब कप्तानी, चौथे नंबर पर अंबाती रायुडू की नाकामी और धौनी के आराम करने पर रिषभ पंत की लचर विकेटकीपिंग का विकेटों के पीछे के लचरपन ने भारत की पोल खोल दी है। युजवेंद्रा सिंह चहल का मार खाना भी टीम इंडिया की समस्या बन गया है।