वक्त ने फिर ली करवट, क्या 11 साल से दिल में धधक रही आग को बुझा पाएंगे जडेजा?
तो जडेजा के पास 11 साल पहले हुई हार के अपमान का बदला लेने का सुनहरा मौका होगा।
नई दिल्ली, मोहित तंवर। आइसीसी चैंपियंस ट्रॉफी के दूसरे सेमीफाइनल में भारत ने बांग्लादेश को हराकर फाइनल में अपनी जगह बना ली है। अब 18 जून को भारत-पाक की टीमें आमने-सामने होंगी। लगभग 10 साल पहले दोनों टीमें आइसीसी टी20 विश्व कप में भिड़ी थी। जिसमें भारतीय टीम ने पांच रनों से जीतकर पहला टी20 विश्व कप अपने नाम किया था। एक बार फिर दोनों टीमें रविवार को लंदन के केनिंग्टन ओवल मैदान में आइसीसी चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल मुकाबले मेंं एक दूसरे के सामने होंगी। इस बीच टीम इंंडिया का एक ऐसा भी खिलाड़ी होगा जिसके पास 11 साल पुरानी हार का बदला लेने का सुनहरा मौका होगा।
भारत-पाकिस्तान अंडर 19 वर्ल्ड कप 2006
भारत और पाकिस्तान के बीच 19 फरवरी 2006 को अंडर 19 वर्ल्ड कप का फाइनल मुकाबला खेला गया था। जिसमें पाकिस्तान की टीम ने भारतीय टीम को 38 रनों से मात देकर अंडर 19 विश्व कप खिताब पर अपना कब्जा जमाया था। उस वक्त पाक टीम की कप्तानी पाकिस्तान के वर्तमान कप्तान सरफराज अहमद ने की थी। इसके साथ इमाद वसीम भी उसी टीम का हिस्सा थे। दोनों खिलाड़ी इस समय आइसीसी चैंपियंस ट्रॉफी में पाकिस्तान टीम का हिस्सा हैं।
जडेजा के पास मौका
2006 में भारत-पाक के बीच खेले गए अंडर 19 विश्व कप के फाइनल मैच में वर्तमान में टीम इंडिया के स्टार ऑलराउंडर रविंद्र जडेजा भी थे। इस मैच में जडेजा ने 22 गेंदों पर 6 रन बनाकर अनवर अली की गेंद पर नाशिर जमशेद को अपना कैच लपका दिया था। इस मैच में जडेजा ने 8 ओवर में 1 मेडन डालते हुए 16 रन देकर 3 विकेट हासिल किए थे। संयोग से इस बार ये तीनों खिलाड़ी रविवार को 11 साल बाद फिर किसी फाइनल मुकाबले मेें आमनेेेे-सामने होंगे। तो जडेजा के पास 11 साल पहले हुई हार के अपमान का बदला लेने का सुनहरा मौका होगा।
दोनों टीमें नहीं खेल पाई थीं निर्धारित 50 ओवर
इस मैच में पाकिस्तान ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला लिया थाl पाकिस्तान की पूरी टीम निर्धारित 50 ओवर भी पूरे नहीं खेल सकी और 41.1 ओवर में 109 रनों पर सिमट गई थी। 110 रनों के लक्ष्य का पीछा करने उतरी भारतीय टीम 18.5 ओवर में 71 रनों पर सिमट गई थी। इस मैच में अनवर अली को (मैन ऑफ द मैच) के पुरस्कार से सम्मानित किया गया था, जबकि चेतेश्वर पुजारा को (मैन ऑफ द सीरीज) के खिताब से नवाजा गया था।