'रोहित शर्मा T20 व वनडे में विराट से हैं ज्यादा प्रभावशाली, लेकिन रन के मामले में आगे रहेंगे कोहली '
Gautam Gambhir on Rohit and Virat गंभीर ने कहा कि विराट का रिकॉर्ड जरूर वनडे व टी20 में अच्छा है लेकिन वो रोहित से ज्यादा प्रभावी नहीं हैं।
नई दिल्ली, प्रेट्र। भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व ओपनर बल्लेबाज गौतम गंभीर को ये लगता है कि रोहित शर्मा उजले गेंद के क्रिकेट में यानी वनडे और टी20 में विराट कोहली के मुकाबले ज्यादा प्रभाव छोड़ने में सफल रहे हैं जबकि इन प्रारूपों में विराट का रिकॉर्ड बेहद दमदार है। हालांकि उन्होंने ये भी कहा कि जब विराट खेलना छोड़ेंगे तब उनके रोहित से ज्यादा रन होंगे।
गंभीर ने कहा कि सफेद गेंद का क्रिकेट पूरी तरह से प्रभाव छोड़ने की बात है। विराट रोहित के मुकाबले ज्यादा रन बनाएंगे और वो इस वक्त महान बल्लेबाज हैं, लेकिन रोहित ने विराट के मुकाबले अपना प्रभाव ज्यादा छोड़ा है। गंभीर ने स्पोर्ट्स तक से बात करते हुए ये बातें कहीं। गंभीर ने कहा कि मुझे लगता है कि रोहित उजले गेंद के क्रिकेट में इस वक्त दुनिया के बेस्ट बल्लेबाज हैं। ओवरऑल वो ग्रेट तो नहीं हैं, लेकिन इस समय वो बेस्ट हैं। वो इकलौते खिलाड़ी हैं जिन्होंने 3 दोहरे शतक जबकि वनडे वर्ल्ड कप के एक सीजन में 5 शतक लगाया है। रोहित ऐसे बल्लेबाज हैं जो 100 से बाद अगर आउट होते हैं तो लोग ये कहते हैं कि वो दोहरे शतक से चूक गए।
विराट और रोहित के बारे में बात करते हुए गंभीर ने कहा कि दोनों की तुलना करना काफी मुश्किल है। विराट अविश्वनीय हैं और उनके ये आंकड़े ये साबित भी करते हैं, लेकिन वनडे में आपका (रोहित) क्या प्रभाव है वो इससे पता चलता है कि जब आप 100 पर आउट होते हो तो लोग ये कहते हैं कि वो 200 रन करने से चूक गए। गंभीर ने कहा कि रोहित के करियर को आगे बढ़ाने में Dhoni का बहुत बड़ा हाथ है।
गंभीर ने कहा कि रोहित आज जहां भी है इसके पीछे धौनी का बड़ा हाथ है। धौनी के बारे में एक अच्छी बात ये थी कि वो रोहित को हमेशा चर्चा में रखते थे बेशक वो टीम का हिस्सा नहीं भी होते थे तब भी। धौनी ने रोहित को कभी भी साइड लाइन नहीं किया। किसी खिलाड़ी के बनने या बिखरने के पीछे कप्तान के बैकअप का बड़ा योगदान होता है। आप सेलेक्शन कमेटी या फिर टीम मैनेजमेंट से बात कर सकते हैं, लेकिन अगर आपको कप्तान का बैकअप नहीं है तो सारी बातें बेकार है। सबकुछ कप्तान के हाथों में होता है। रोहित को धौनी ने जिस तरह का साथ दिया मुझे नहीं लगता किसी खिलाड़ी को इस तरह का समर्थन दिया गया है।
रोहित ने साल 2007 में वनडे में डेब्यू किया था, लेकिन साल 2013 में धौनी ने उन्हें ओपनर के तौर पर प्रमोट किया और फिर उनके करियर की दिशा ही बदल गई। गंभीर ने कहा रोहित और विराट को भी युवाओं को इसी तरह से ग्रूम करना चाहिए जिस तरह से धौनी किया करते थे। रोहित इस बात का प्रमुख उदाहरण है कि किसी खिलाड़ी की किस्मत कैसे बदल सकती है अगर उसका पालन-पोषण वरिष्ठों द्वारा किया जाता है। मुझे उम्मीद है कि मौजूदा पीढ़ी में युवा क्रिकेटरों, यह शुभमन गिल या संजू सैमसन हों, वे भी इसी तरह का समर्थन अपने कप्तान से पाएंगे।