भारत को बनानी होगी 300 रन की बढ़त
टीम इंडिया अपने प्रशंसकों और खासकर खुद को यह दिखाने में जरूर कामयाब रही कि वो लड़ सकती है।
(हर्षा भोगले का कॉलम)
इस सीरीज के चार दिन तक ऑस्ट्रेलियाई टीम भारतीय खिलाडि़यों की आंखों में आखें डालकर यह कहती दिखी कि तुमने हमें बच्चा समझा था, लेकिन तुम खुद अपने ही मैदान पर शिकार बन गए। भारतीय टीम पर अलग-अलग कोणों से हमले हो रहे थे। चैंपियन पस्त हो रहे थे। मैं नहीं जानता कि इस टेस्ट के पहले दिन के अंत और दूसरे दिन की शुरुआत के बीच ऐसा क्या हुआ, लेकिन मैं इस दौरान भारतीय कैंप में हुए इस बदलाव को देख रहा हूं। रात भर में भारतीय टीम ने अपने हथियार तेज किए और ऑस्ट्रेलिया पर कड़ा पलटवार किया। नतीजतन सभी को टेस्ट मैच का एक बेहतरीन दिन देखने को मिला। तीसरे दिन भारतीय टीम थोड़ा सा बढ़त लिए नजर आई। बेशक यह बहुत छोटा कदम है और अब भी लंबा फासला तय करना बाकी है। मगर टीम इंडिया अपने प्रशंसकों और खासकर खुद को यह दिखाने में जरूर कामयाब रही कि वो लड़ सकती है।
लोकेश राहुल जो अब एक जड़ जमा चुके पौधे की तरह बेहतरीन क्रिकेटर के तौर पर निखर रहे हैं। उनके अलावा खुद को स्थापित कर चुके चेतेश्वर पुजारा और अजिंक्य रहाणे ने दिखाया कि हर किसी को चकित करने वाली इस पिच पर किस तरह से खेलना संभव है। तीसरे दिन के खेल ने दिखाया कि पिच के उछाल और घुमाव पर भले ही विश्वास न किया जा सकता हो, लेकिन यह विश्वासघाती भी नहीं है, जैसा कि पहले दिन नजर आ रहा था। ऐसा हमेशा भारत में ही होता है।
यह कहना सही होगा कि यह ऐसी पिच है जिस पर निगाहें जमा चुके बल्लेबाज को अधिक जिम्मेदारी लेनी होगी। हो सकता है कि 180-200 रन काफी न हो। मैं कह सकता हूं कि भारत को 300 के करीब रनों की दरकार होगी। ऐसे में इन दोनों और करुण नायर को नाथन लियोन के खिलाफ दबदबे से खेलना होगा, जो दूसरी पारी में भी बेहतरीन गेंदबाजी करने के बावजूद विकेट नहीं ले सके हैं। 300 रन की बढ़त से कोहली और अश्विन को भी धैर्य बनाए रखने में मदद मिलेगी। हो सकता है कि इससे कम का स्कोर भी काफी रहे, लेकिन कम स्कोर से जल्दबाजी की आशंका अधिक रहती है। यह कोई चाबी तलाशने जैसा ही है। अगर आप धैर्य बनाए रखते हैं तो चाबी जल्दी ढूंढ लेते हैं। पुजारा और रहाणे ने विपरीत हालात में बहुत मेहनत से बल्लेबाजी की है। वह अपने करियर में ऐसा हमेशा से करते रहे हैं। अगर वे मंगलवार को भी ऐसा करने में सफल रहते हैं तो फिर यह सीरीज बिल्कुल अलग नजर आएगी।
(पीएमजी)