India vs Pakisatn ICC world cup 2019: आम नहीं है भारत-पाकिस्तान का मुकाबला, दांव पर होंगी डेढ़ अरब उम्मीदें
ICC world cup 2019 भारत व पाकिस्तान के मुकाबले पर आम ही नहीं खास लोगों की भी नजरें टिकी होंगी।
अभिषेक त्रिपाठी, मैनचेस्टर। भारतीय कप्तान विराट कोहली ने 2017 चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल में ओवल क्रिकेट स्टेडियम में पाकिस्तान से हारने के बाद कहा था कि ये सिर्फ एक मैच है और उसे उसी तरह लेना चाहिए, लेकिन पूरी दुनिया जानती है कि ये कोई आम क्रिकेट मुकाबला नहीं है। यह दो देशों की डेढ़ अरब जनता के जज्बातों का मुकाबला है और भारतीय टीम को भी यह समझ लेना चाहिए कि भारत के सवा अरब लोग चिकनी-चुपड़ी बातें नहीं, बल्कि मैनचेस्टर के ओल्ड ट्रैफर्ड स्टेडियम में पाकिस्तान की हार चाहते हैं।
बहुत बड़ा मुकाबला : इन दोनों टीमों की भिड़ंत पर देश की जनता की ही नहीं वहां के हुक्मरानों की भी नजर रही है। 2004 में जब भारतीय टीम पाकिस्तान जा रही थी तो भारत के तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई ने कप्तान सौरव गांगुली को एक बल्ला दिया, जिस पर लिखा था खेल ही नहीं दिल भी जीतिए। 2005-06 में विकेटकीपर महेंद्र सिंह धौनी के प्रदर्शन से खुश होकर पाकिस्तान के तत्कालीन राष्ट्रपति जनरल मुशर्रफ ने उनसे कहा था कि आप कभी ये लंबे बाल मत कटवाएं। हालांकि उसके बाद ही धौनी ने लंबे बालों को छोटा करा लिया था।
टीम इंडिया है मजबूत : इसमें कोई शक नहीं कि इस मैच में विराट की कप्तानी वाली दुनिया की दूसरे नंबर की टीम पाकिस्तान का पलड़ा भारी रहेगा, जबकि सरफराज के नेतृत्व वाली सातवें नंबर की पाकिस्तानी टीम को संभलकर रहना होगा। भारतीय टीम शुक्रवार को ही मैनचेस्टर पहुंची है, जबकि पाकिस्तान ने यहां इंडोर स्टेडियम में अभ्यास किया। शनिवार को दोनों टीमों की यहां अभ्यास करने की योजना है। भारत इस टूर्नामेंट में अब तक दो जीत हासिल कर चुका है और बारिश के कारण उसका एक मैच रद हुआ, जबकि पाकिस्तान को एक जीत और दो हार मिली हैं। बारिश के कारण उसे भी एक मैच में अंक बांटने को मजबूर होना पड़ा। शिखर धवन की चोट के कारण भारतीय टीम केएल राहुल और रोहित शर्मा की ओपनिंग जोड़ी के साथ उतरेगी। तीसरे नंबर पर उसके पास दुनिया के नंबर वन बल्लेबाज विराट कोहली हैं। मध्य क्रम में केदार जाधव, हार्दिक पांड्या और दिनेश कार्तिक या विजय शंकर मजबूती देंगे। वहीं, पाकिस्तान के पास मध्य क्रम में मुहम्मद हफीज, शोएब मलिक और कप्तान सरफराज अहमद के रूप में अनुभव का भंडार है। टीम के पास इमाम उल हक और फखर जमां जैसे ओपनर हैं। तीसरे नंबर पर बाबर आजम जैसा बल्लेबाज है। ये तीनों इंग्लैंड के खिलाफ चले थे और वही मैच पाकिस्तान जीता था।
भारत के लिए खतरा हैं हफीज और मलिक : इसमें कोई शक नहीं है कि भारतीय गेंदबाज पाकिस्तान के खिलाफ ज्यादा बेहतर खेलते हैं। पाकिस्तान के सभी प्रमुख गेंदबाजों का भारत के खिलाफ औसत उनके करियर औसत से भी खराब है। मुहम्मद आमिर का करियर औसत 29.91 है, जबकि भारत के खिलाफ उनका औसत 42.8 है। यानी आमिर भारत के खिलाफ खेलते हुए 42 रन देने के बाद एक विकेट ले पाते हैं। आमिर की ओवरऑल इकोनॉमी 4.78 है, जो भारत के खिलाफ 4.98 हो जाती है। पाकिस्तान के बल्लेबाजों में मुहम्मद हफीज और शोएब मलिक ही ऐसे हैं, जिनका भारत के खिलाफ औसत उनके करियर औसत से ज्यादा है। इन दो खिलाडि़यों ने अपने ओवरऑल करियर के मुकाबले भारत के खिलाफ बेहतर प्रदर्शन किया है। हफीज ने भारत के खिलाफ 11 मैच खेले हैं, जिसमें उन्होंने 48.6 की औसत के साथ 486 रन बनाए हैं। उनका करियर औसत 33.19 का है। मलिक का करियर औसत 34.71 है, लेकिन उन्होंने टीम इंडिया के खिलाफ खेले 41 मैचों में 48.16 के औसत से 1782 रन बनाए। टीम इंडिया के खिलाफ सबसे ज्यादा चार शतक लगाने वाले खिलाड़ी भी मलिक ही हैं। मलिक और हफीज का टीम इंडिया के खिलाफ स्ट्राइक रेट भी अपने ओवरऑल स्ट्राइक रेट से ज्यादा है।
भुवी रहे हैं पाकिस्तान के लिए खतरनाक : भुवनेश्वर कुमार, मुहम्मद शमी और कुलदीप यादव पाकिस्तान के खिलाफ प्रति ओवर कम रन देते हैं। शमी 3.82, भुवी 4.18 और कुलदीप 4.33 की इकोनॉमी रेट से रन देते हैं। यह उनके ओवरऑल इकोनॉमी रेट से कम है। अगर इस टीम के खिलाफ गेंदबाजी औसत की बात की जाए तो केदार जाधव सबसे बेहतर हैं। पाक के खिलाफ एक विकेट लेने में वह औसतन 17.5 रन खर्च देते हैं, जबकि अन्य टीमों के खिलाफ उनका औसत 35.81 है। शमी का ओवरऑल गेंदबाजी औसत 26.11 है, लेकिन पाक के खिलाफ वह 21.4 रनों के अंतराल में विकेट चटका लेते हैं। भुवी पाक के खिलाफ 23 रन के गेंदबाजी औसत से विकेट लेते हैं, जबकि अन्य टीमों के खिलाफ उनका यह औसत 34.98 है।
धौनी का जवाब नहीं : पूर्व भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धौनी ने पाकिस्तान के खिलाफ 35 मैचों में 55.9 की औसत से 1230 रन बनाए हैं, जबकि उनका करियर औसत 50.53 है। धौनी के 10 में से दो शतक पाकिस्तान के खिलाफ हैं। दिनेश कार्तिक और हार्दिक पांड्या का भी पाकिस्तान के खिलाफ औसत अपने करियर औसत से बेहतर है। वर्तमान भारतीय टीम में धौनी के अलावा विराट (2) और रोहित (1) ही हैं, जिन्होंने पाक के खिलाफ शतक जड़ा है। पाकिस्तान के खिलाफ कोहली का औसत उनके करियर औसत से कम हो जाता है। विराट और धौनी का पाकिस्तान के खिलाफ स्ट्राइक रेट भी अपने करियर स्ट्राइक रेट से ज्यादा है।
बारिश बन सकती है विलेन
बारिश के कारण इस विश्व कप में चार मैच बिना फैसले के खत्म हुए। इसमें से भारत और पाकिस्तान के साथ एक-एक बार ऐसा हुआ है। आइसीसी के साथ दुनियाभर के क्रिकेट प्रशंसक दुआ मना रहे हैं कि रविवार को बारिश नहीं हो। हालांकि, यहां के मौसम विभाग की भविष्यवाणी डरा रही। उसके मुताबिक शनिवार और रविवार दोनों दिन बारिश की संभावना है।
टिकटों के लिए मारामारी
इस मैच की टिकट के दाम रीसेल में एक लाख रुपये तक पहुंच गए हैं। ब्रिटेन में लाखों की संख्या में भारतीय और पाकिस्तानी मूल के लोग रहते हैं। यही नहीं अमेरिका, सिंगापुर और भारत से भी हजारों लोग यह मैच देखने आ रहे हैं। 20 हजार क्षमता वाले ओल्ड ट्रैफर्ड स्टेडियम में होने वाले इस मैच के टिकट विंडो खुलने के कुछ ही घंटों में बिक गए, लेकिन जिन लोगों ने उस समय टिकट खरीदा था, अब वे उन्हें बेचकर भारी मुनाफा कमा रहे हैं। ऐसे ही लोगों से टिकट लेकर उसे रीसेल करने वाली वेबसाइट वियागोगो के पास करीब 480 टिकट दोबारा बिक्री के लिए आए। ब्रांज से लेकर प्लेटिनम वर्ग के टिकट 17 से 60000 तक में बिके हैं। इसके अलावा हॉस्पिटलेटी के टिकट एक लाख रुपये से ज्यादा में बिक रहे हैं। अभी तक के मैचों में इस मुकाबले की टिकट ही सबसे ज्यादा महंगी हैं। आइसीसी ने भी भारत-पाकिस्तान मैच की जो टिकट बैलेट के जरिये बेची थीं उनके दाम अन्य मुकाबलों से ज्यादा थे।
नंबर गेम:
-2010 के बाद से जिन चार क्रिकेट मैचों को सबसे ज्यादा दर्शक मिले, उसमें तीन भारत बनाम पाकिस्तान के थे
-2011 विश्व कप फाइनल भारत-श्रीलंका के बीच खेला गया, जिसे 55.8 करोड़ लोगों ने देखा
-2011 विश्व कप सेमीफाइनल भारत-पाकिस्तान के बीच खेला गया, जिसे 49.5 करोड़ दर्शक मिले
-2017 में चैंपियंस ट्रॉफी में भारत और पाकिस्तान भिड़े, जिसे 32.4 करोड़ दर्शकों ने देखा
-2015 विश्व कप में भारत बनाम पाकिस्तान भिड़ंत को 31.3 करोड़ दर्शकों ने देखा
नंबर गेम:
-131 वनडे भारत और पाकिस्तान के बीच खेले गए। पाकिस्तान ने 73 तो भारत ने 54 मैच जीते। चार मुकाबले परिणाम रहित रहे
-05-05 मैच एशिया कप में दोनों टीमों ने एक-दूसरे के खिलाफ जीते हैं। एक मैच बेनतीजा रहा
-01 अक्टूबर 1978 में दोनों देशों के बीच पहला वनडे खेला गया था। यह वनडे इतिहास का 54वां मैच था। कपिल देव ने उस मैच में डेब्यू किया था। बिशन सिंह बेदी उस मैच में कप्तान थे
विवाद भी हुए
जब बीच से हट गई भारतीय टीम
तीन मैचों की सीरीज खेलने 1978 में पाकिस्तान गई थी भारतीय टीम। सभी मैच 40 ओवर के थे। पहला मैच भारत ने चार रन से जीता, दूसरा मैच भारत आठ विकेट से हारा। तीसरा मैच विवादित रहा। साहिवाल में हुए मैच में पाकिस्तान ने सात विकेट पर 205 रन बनाए। भारत 37.4 ओवर में दो विकेट पर 183 रन बना चुका था, लेकिन बिशन सिंह बेदी ने पाकिस्तानी टीम पर अंपायरिंग में बेईमानी का आरोप लगाते हुए अपने बल्लेबाजों को बुला लिया था। तब मैच रेफरी ने पाकिस्तान को जीता हुआ घोषित किया और भारत वह सीरीज 1-2 से हार गया था।
युद्ध बना क्रिकेट का दुश्मन
भारत और पाकिस्तान के बीच खेल संबंध नहीं होने की सबसे बड़ी वजह युद्ध और पाकिस्तान की तरफ से भारत पर कराए जाने वाले आतंकी हमले हैं। पिछली शताब्दी के सातवें दशक में भारतीय टीम को पाकिस्तान जाना था, लेकिन 1965 और 1961 के युद्ध की वजह से यह मुमकिन नहीं हो पाया था। 1975 में दोनों मुल्कों ने इस ओर सोचना शुरू हुआ। 1977 में इंदिरा गांधी की सरकार गिरी और उधर जुल्फीकार भुट्टो की मृत्यु हुई। 1978 में भारत ने पाकिस्तान का दौरा किया।
हाथ तक मिलाने से इन्कार
दक्षिण अफ्रीका में हुए 2003 विश्व कप में सेंचुरियन में दोनों टीमों की भिड़ंत हुई। इस दौरान तल्खी इतनी ज्यादा थी कि भारतीय टीम के खिलाड़ी पाकिस्तानियों से हाथ तक नहीं मिलना चाहते थे, लेकिन कुछ अधिकारियों के बीच में पड़ने के कारण दोनों टीमों को ऐसा करने के लिए मजबूर होना पड़ा।
बेइमानी से बचने के लिए बुलाए इंग्लिश अंपायर
1980 में जब भारत ने फिर पाकिस्तान का दौरा किया, तो पाक के कप्तान इमरान खान ने बेइमानी के आरोपों से बचने के लिए इंग्लैंड से अंपायर बुलवाने की प्रार्थना की, जिसे पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने मान लिया।
भारत ने विश्व कप में हमेशा पाक को हराया
विश्व कप में भारत और पाकिस्तान की भिड़ंत छह बार हुई, जिसमें हर बार हमने पाकिस्तान को पराजित किया। भारत ने अब तक दो बार (1983 और 2011) विश्व कप जीता है, जबकि पाकिस्तान ने 1992 में इमरान खान के नेतृत्व में पहली बार यह खिताब जीता था।
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