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EXCLUSIVE INTERVIEW: मैं सिर्फ एक मौका मिलने का इंतजार कर रहा था: वेंकटेश अय्यर

EXCLUSIVE INTERVIEW मैं बहुत आगे की नहीं सोचता हूं। मैं मौका मिलने का इंतजार कर रहा था। जब मौका मिला तो अपनी क्षमता साबित की। मगर सच कहूं तो इतनी सफलता और नाम मिलेगा इसके बारे में तो मैंने भी नहीं सोचा था।

By Sanjay SavernEdited By: Published: Sun, 17 Oct 2021 07:05 PM (IST)Updated: Sun, 17 Oct 2021 07:05 PM (IST)
EXCLUSIVE INTERVIEW: मैं सिर्फ एक मौका मिलने का इंतजार कर रहा था: वेंकटेश अय्यर
केकेआर के तूफानी बल्लेबाज वेंकटेश अय्यर (फोटो- एएनआई)

इंडियन प्रीमियर लीग (आइपीएल) में धूमकेतू बनकर उभरे कोलकाता नाइटराइडर्स के बल्लेबाज वेंकटेश अय्यर के अनुसार वह टीम से बाहर बैठकर भी लगातार तैयारी कर रहे थे और उन्हें मौके का इंतजार था। जैसे ही मौका मिला तो उन्होंने अपनी क्षमता साबित की। नया खिलाड़ी होने के कारण उनसे किसी को बहुत ज्यादा उम्मीद भी नहीं थी, इसलिए दबाव भी कम था। आइपीएल के बाद वेंकटेश को बीसीसीआइ ने टी-20 विश्व कप के लिए दुबई में ही रुकने को कहा है। इस बीच आइपीएल के इस सत्र के पहले चरण में मौका न मिलने से लेकर दूसरे चरण में सबसे अहम खिलाड़ी बनने तक के सफर को वेंकटेश अय्यर ने कपीश दुबे के साथ साझा किया। पेश है मुख्य अंश-  

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-हर खिलाड़ी सफल होना चाहता है, लेकिन जितनी सफलता आपको मिली क्या उसकी उम्मीद थी?

--मैं बहुत आगे की नहीं सोचता हूं। मैं मौका मिलने का इंतजार कर रहा था। जब मौका मिला तो अपनी क्षमता साबित की। मगर सच कहूं तो इतनी सफलता और नाम मिलेगा, इसके बारे में तो मैंने भी नहीं सोचा था। 

-ऐसा क्या हुआ कि जिस बल्लेबाज को पहले चरण में मौका नहीं मिला, वह दूसरे चरण में टीम की जरूरत बन गया?

--मैं टीम प्रबंधन की नजर में पहले से था, लेकिन मेरे लिए जो जिम्मेदारी तय की थी वह जगह खाली नहीं थी। जब यूएई पहुंचे तो ओपनर की जगह खाली थी। यहां अभ्यास मैचों में मैंने अच्छी बल्लेबाजी की, खासकर मेरी गेंदबाजी से कोच ब्रेंडन मैकुलम प्रभावित हुए। उन्होंने बुलाकर कहा कि तुम्हारे खेलने के मौके हैं, तैयार रहो। 

-आप बहुत आत्मविश्वास से बल्लेबाजी करते दिखते हो। मगर जब पहला मैच खेलने उतरे तो क्या दबाव था?

--नए खिलाड़ी से किसी को बहुत ज्यादा उम्मीदें नहीं होतीं, इसलिए मुझ पर दबाव तो नहीं था। मगर मैं अंदर से थोड़ा नर्वस जरूर था, क्योंकि पहला मैच खेलने जा रहा था। यह बात कोच को भी पता थी, तो उन्होंने मुझे बिना दबाव के खेलने को कहा था। 

-क्या ऐसा भी कोई लम्हा था जब दबाव महसूस किया?

--दिल्ली कैपिटल्स के खिलाफ मैच में दबाव में था। मैं आउट हो चुका था और अंतिम ओवरों में टीम के विकेट गिरने से मैच फंस गया था। तब थोड़ा तनाव में था। 

-क्या किसी टीम या गेंदबाज के खिलाफ मुश्किल हुई?

--हमारी टीम में लाकी फग्र्यूसन, सुनील नरेन जैसे गेंदबाज हैं, जिनके खिलाफ अभ्यास करते हुए मुझे आत्मविश्वास आया। विपक्षी गेंदबाजों की बात करें तो दिल्ली के आवेश खान के खिलाफ खेलते हुए रोमांच और नर्वस दोनों था। हम मध्य प्रदेश के लिए साथ खेलते हैं, इसलिए एक-दूसरे की ताकत और कमजोरी पता हैं। आवेश भी लीग में फार्म में थे। 

-आइपीएल के दूसरे चरण के लिए क्या खास तैयारी की थी?

--मैं जब इंदौर में था तब नियमित मध्य प्रदेश के कोच चंद्रकांत पंडित और मेरे कोच दिनेश शर्मा के मार्गदर्शन में अभ्यास कर रहा था। मैंने आक्रामक शाट के साथ अपने डिफेंस पर बहुत काम किया था, जो यहां काम आया।


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