इस भारतीय क्रिकेटर ने क्यों कहा कि विराट और धौनी दोनों हैं एक जैसे
इस भारतीय क्रिकेटर ने कोहली की जमकर तारीफ की और उन्हें धौनी जैसा बताया।
नई दिल्ली। भारतीय क्रिकेट टीम के बाहर चल रहे बल्लेबाज सुरेश रैना इस वक्त चेन्नई में कलपति-एजीएस-बूची बाबु टूर्नामेंट के लिए मौजूद हैं। चेन्नई के एम ए चिदंबरम स्टेडियम में प्रैक्टिस के दौरान रैना ने कहा कि इस मैदान के साथ उनकी कई यादें जुड़ी हैं। रैना भारतीय टीम के लिए साथ ही चेन्नई सुपर किंग्स के लिए इस मैदान पर कई मैच खेल चुके हैं।
रैना ने कहा कि विराट पूर्व भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धौनी की तरह ही सफलता प्राप्त कर सकते हैं। सच कहूं तो विराट और धौनी बिक्लुक एक जैसे ही हैं। विराट भी धौनी की तरह ही टफ और जल्दी हार नहीं मानने वाले हैं। इसके अलावा शॉर्ट पिच गेंद पर नहीं खेल पाने की वजह से आलोचना झेल चुके रैना ने कहा कि मैं सीढ़ी दर सीढ़ी सफलता प्राप्त करना चाहता हूं ना कि एकदम से। अगर मैं शॉर्ट पिच गेंद पर वाकई कमजोर होता मैं 200 से ज्यादा वनडे मैच कैसे खेलता।
रैना वर्ष 2015 से भारतीय टेस्ट टीम और वनडे टीम का हिस्सा नहीं हैं। हालांकि उन्होंने इस वर्ष भारत में इंग्लैंड के खिलाफ टी20 मैच खेला था। कुछ दिन पहले खबर आई थी कि वो अपनी फिटनेस हासिल करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं लेकिन वो नैशनल क्रिकेट अकेडमी में फिटनेस टेस्ट में फेल हो गए थे। रैना फिलहाल भारतीय टीम में वापसी करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं।
रैना ने धौनी के बारे में कहा कि वो उनके भविष्य को लेकर पूरी तरह से आश्वस्त हैं और उन्हें उम्मीद है कि धौनी बल्ले से टीम के लिए कमाल करेंगे साथ ही उनका अनुभव भी टीम के काम आएगा। रैना इंडियन प्रीमियर लीग और टी 20 प्रारूप में भारतीय टीम की तरफ से रन बनाने के मामले में सबसे आगे हैं। रैना ने उत्साहित होते हुए कहा कि चेन्नई सुपर किंग्स का दो वर्ष के बाद आइपीएल में लौटने से उन्हें काफी अच्छा महसूस हो रहा है। हालांकि अब वो इस टीम का हिस्सा होंगे या नहीं ये तो फ्रेंचाइजी पर निर्भर करता है।
जब उनसे अगले विश्व कप के लिए उनकी योजना के बारे में पूछा गया तो रैना ने कहा कि मैं भविष्य के बारे में ज्यादा योजना नहीं बनाता। मेरी कोशिश रहती है कि मैं मौजूदा समय में खेल को अपना सौ फीसदी दूं। चेन्नई में बूची बाबू टूर्नामेंट खत्म होने के बाद रैना दुलीप ट्रॉफी के लिए तैयारी करेंगे।
रैना ने क्रिकेट के सबसे छोटे प्रारूप में खुद को एक पावर हिटर के रूप में स्थापित किया है लेकिन टेस्ट और वनडे प्रारूप में समय-समय पर उनकी प्रदर्शन पर सवाल उठते रहे हैं। वो अब भी शॉर्ट पिच गेंदें खेलने में असहज महसूस करते हैं। रैना एक बार फिर से खुद को साबित करके भारतीय टीम में अपनी जगह हासिल करना चाहते हैं और इसके लिए उन्हें आने वाले घरेलू सीरीज में खुद को साबित करने का मौका मिलेगा। उन्हें इन घरेलू सीरीज में सेलेक्टर्स के सामने अपनी ताकत दिखाने का शानदार मौका है।