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पोस्ट ऑफिस की ये 5 स्कीमें देती है सेविंग अकाउंट से ज्यादा ब्याज

बाजार में अच्छा रिटर्न हासिल करने के लिए बैंक के सेविंग अकाउंट से भी बेहतर कई विकल्प मौजूद हैं

By Praveen DwivediEdited By: Published: Thu, 21 Sep 2017 12:04 PM (IST)Updated: Fri, 06 Oct 2017 02:58 PM (IST)
पोस्ट ऑफिस की ये 5 स्कीमें  देती है सेविंग अकाउंट से ज्यादा ब्याज
पोस्ट ऑफिस की ये 5 स्कीमें देती है सेविंग अकाउंट से ज्यादा ब्याज

नई दिल्ली (जेएनएन)। भविष्य की बुनियादी जरूरतों को ध्यान में रखते हुए लोग बचत के लिए तरह-तरह के निवेश विकल्प का इस्तेमाल करते हैं। हालांकि लोग आमतौर पर बैंक के सेविंग अकाउंट को ही सुरक्षित और बेहतर मानते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि इसमें पैसा तो सुरक्षित रहता ही है साथ ही जमा पैसे पर 4 से 6 फीसद का ब्याज भी मिलता है। मगर आपको जानकर हैरानी होगी कि डाकघर यानी पोस्ट ऑफिस में भी ऐसी तमाम स्कीम चलती हैं तो बैंक के सेविंग अकाउंट से भी ज्यादा ब्याज देती हैं। हम अपनी इस रिपोर्ट के माध्यम से आपको इनके बारे में ही बताने की कोशिश करेंगे।

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डाकघर मासिक बचत आय (Post Office Monthly Income Scheme Account -MIS): डाकघर की मासिक आय खाता योजना ऐसे निवेशकों के लिए होती है जो एकमुश्त राशि का निवेश कर मासिक आधार पर ब्याज पाना चाहते हैं। यह योजना रिटायर्ड कर्मचारियों और वरिष्ठ नागरिकों के लिए बेहद उपयोगी होती है। इस खाते में म्योच्योरिटी पीरियड पांच साल होता है। इसमें खाता धारक को जमा पर हर महीने ब्याज मिलता है। मौजूदा समय में इस योजना में 7.50 फीसद की दर से ब्याज मिल रहा है। इसे सिंगल या फिर ज्वाइंट दोनों तरह से खोला जा सकता है, दोनों में ही जमा की सीमा अलग अलग है। जैसा कि सिंगल में अधिकतम निवेश 4.5 लाख है तो ज्वाइंट खाते में आप 9 लाख रुपए तक जमा करा सकते हैं।

पब्लिक प्रोविडेंट फंड (पीपीएफ): पीपीएफ अकाउंट वेतनभोगी और व्यापारी वर्ग दोनों के लिए ही होता है। इसमें एक वित्तवर्ष में अधिकतम एक लाख रुपए तक के निवेश पर कर छूट का लाभ मिलता है। इसे या एकमुश्त या फिर 12 किश्तों में जमा किया जा सकता है। यह अकाउंट नाबालिग और बालिग दोनों का हो सकता है। इसका म्योच्योरिटी पीरियड 15 साल है। इसमें जमा पर 7.9 फीसद का ब्याज मिलता है।

राष्ट्रीय बचत पत्र (एनएससी): अगर आप सुरक्षित निवेश के साथ बेहतर रिटर्न भी चाहते हैं तो आपको इसका चयन करना चाहिए। इस योजना को सरकारी कर्मचारी, बिजनेसमैन और कर अदा करने वाले अन्य वेतन भोगियों की जरूरतों को मद्देनजर रखते हुए जारी किया गया है। इसमें निवेश की कोई सीमा नहीं होती है। राष्ट्रीय बचत पत्र दो तरह के होते हैं पहल है, टाइप-1 (VIII इश्यू) और दूसरा, टाइप-2 (IX इश्यू)।

इस पर टीडीएस नहीं कटता है। ट्रस्ट और एचयूएफ इसमें निवेश नहीं कर सकते हैं। इसमें जमा पर 7.9 फीसद की दर से ब्याज मिलता है। इसमें जमा पर आयकर की धारा 80सी के तहत छूट मिलती है।

पांच वर्षीय डाकघर आवर्ती जमा खाता: यह भी निवेश का एक बेहतर टूल्स है। इसमें आपका पैसा पांच साल के लिए जमा रहता है। इस खाते में जमा पर 7.2 फीसद की दर से ब्याज मिलता है। साथ ही इस बचत योजना में एक साल के बाद 50 फीसदी रकम निकलाने की व्यवस्था है। ध्यान दें कि प्रति माह इसमें 10 रुपये का निवेश जरूरी है।

डाकघर सावधि जमा खाता (Post office fixed deposit account): डाकघर सावधि जमा खाता भी निवेश का एक बेहतर माध्यम है, जिसमें आपको 6.8 से 7.6 फीसद की दर से ब्याज मिलता है। यह ब्याज दर आपको पांच वर्षीय खाते पर मिलता है। यह खाता व्यक्तिगत तौर पर खोला जा सकता है। सावधि जमा खाते पर आयकर अधिनियम 80c के तहत आयकर से छूट मिलती है।

वरिष्ठ नागरिक बचत खाता (एससीएसएस): यह बचत योजना खासतौर पर 60 साल से अधिक उम्र के लोगों के लिए है। ये 60 की उम्र पार कर चुके लोगों के लिए निवेश का शानदार विकल्प है। हालांकि, 55 साल से 60 साल की उम्र के बीच में रिटायर होने वाले या वीआरएस (स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति) लेने वाले व्यक्ति भी रिटायरमेंट के तीन माह पहले यह खाता खोल सकते हैं। एक हजार रुपए से यह खाता खोला जा सकता है। इसमें अधिकतम निवेश की सीमा 15 लाख रुपए है। इस अकाउंट का म्योच्योरिटी पीरियड पांच साल है। इस खाते को अपनी पत्नी के साथ ज्वाइंट अकाउंट के रुप में भी खोला जा सकता है। इस पर 8.4 फीसद की दर से ब्याज मिलता है।


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