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पेमेंट्स बैंक अकाउंट vs सेविंग्स बैंक अकाउंट: जानिए किसमें क्या है फायदा

बैंक का सेविंग अकाउंट सबसे लोकप्रिय वित्तीय उत्पादों में से एक माना जाता है, जो कि आम लोगों को सीधे तौर पर बैंकिंग सिस्टम से जोड़ने का काम करता है।

By NiteshEdited By: Published: Fri, 18 Jan 2019 05:15 PM (IST)Updated: Sun, 03 Feb 2019 10:52 AM (IST)
पेमेंट्स बैंक अकाउंट vs सेविंग्स बैंक अकाउंट: जानिए किसमें क्या है फायदा
पेमेंट्स बैंक अकाउंट vs सेविंग्स बैंक अकाउंट: जानिए किसमें क्या है फायदा

नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। बैंक का सेविंग अकाउंट सबसे लोकप्रिय वित्तीय उत्पादों में से एक माना जाता है, जो कि आम लोगों को सीधे तौर पर बैंकिंग सिस्टम से जोड़ने का काम करता है। जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है कि सेविंग अकाउंट लोगों में सेविंग की आदत विकसित करने का काम करता है। इसमें आप जब चाहें पैसों की निकासी कर सकते हैं और अकाउंट में जमा राशि पर औसतन 3.5 से 6 फीसद तक का ब्याज भी मिल जाता है। वहीं प्रधानमंत्री मोदी ने 1 सितंबर 2018 ग्रामीण भारत में रहने वाले लोगों को शामिल करने के लिए इंडिया पोस्ट पेमेंट बैंक की शुरुआत की। देशभर में 3,250 एक्सेस पॉइंट्स और 650 ब्रांचों की मदद से इसका उद्देश्य हर किसी को बुनियादी वित्तीय सेवाएं प्रदान करना है। हम इस खबर में सामान्य बचत खाता और पेमेंट बैंक बचत खाते के बारे में बता रहे हैं...

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कितना मिलता है ब्याज: किसी पेमेंट बैंक में बचत खाता खुलवाने पर RBI के आदेशानुसार अपने जमा पर कम-से-कम 4% का ब्याज मिलेगा। लेकिन, फिलहाल पेमेंट बैंक 7.5% तक ब्याज दे रहे हैं। दूसरी ओर, जब आप बैंक में सेविंग्स अकाउंट खुलवाते हैं, तब आपको लगभग 5% इंट्रेस्ट मिलता है जो 6% या 6.25% तक जा सकता है।

कितने बैलेंस पर खुलेगा खाता: भारत के अधिकांश पेमेंट्स बैंक में आप एक जीरो बैलेंस सेविंग्स अकाउंट खुलवा सकते हैं। कई अन्य बैंक इसी सुविधा के साथ सेविंग्स अकाउंट खुलवाने की इजाजत भी देते हैं।

मेंटनेंस के लिए कितना रखना होगा बैलेंस: नए शुरू हुए इंडिया पोस्ट पेमेंट बैंक में अकाउंट खुलवाने के समय आपको कोई मिनिमम बैलेंस मेंटेन करने की चिंता नहीं करनी पड़ती है। लेकिन, बैंक के बचत खाते में आपको बैंक द्वारा तय किए गए मिनिमम बैलेंस से जुड़ी शर्तों का पालन करना पड़ता है। ये शर्तें अलग-अलग बैंक में अलग-अलग होती हैं।

कितना कर सकते हैं जमा: RBI के नियमानुसार, सभी पेमेंट बैंक खाते में ज्यादा-से-ज्यादा 1 लाख रु. जमा किया जा सकता है। दूसरी तरफ, किसी बैंक से एक रेग्युलर सेविंग्स अकाउंट का चयन करते समय मैक्सिमम अमाउंट पर कोई लिमिट या प्रतिबन्ध नहीं होता है।

ATM/डेबिट कार्ड: RBI के नियम के मुताबिक, पेमेंट्स बैंकों के पास डेबिट/ATM कार्ड जारी करने का अधिकार नहीं है, जबकि अधिकांश पेमेंट्स बैंक आपको उनके साथ अपना अकाउंट खुलवाते समय एक डिजिटल कार्ड दे सकते हैं। आम तौर पर रेग्युलर सेविंग्स अकाउंट के साथ ATM/डेबिट कार्ड मिलता है।

कितना निकाल सकते हैं पैसा: किसी बैंक के सेविंग्स अकाउंट के टाइप के आधार पर एक निर्धारित संख्या में मुफ्त में पैसे निकालने की इजाजत दी जाती है जिसके बाद पैसे निकालने पर चार्ज देना होगा, भले ही आप उसे अपने बैंक के ATM से निकाल रहे हों या किसी दूसरे बैंक के। उदाहरण के लिए, एक जाना-माना पेमेंट बैक आपको तीन बार मुफ्त में पैसे निकालने की सुविधा प्रदान करता है जबकि एक दूसरा बैंक आपको हर महीने अधिक-से-अधिक 25,000 रु. निकालने की इजाजत देता है। 


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