बजट 2019 में दिखा 'न्यू इंडिया का संकल्प', नए निवेश से देश में पैदा होंगे रोजगार के अवसर
आम बजट 2019 में मोदी सरकार निवेश के जरिए देश की आर्थिक चाल को गति देने की तैयारी कर रही है जिसके परिणामस्वरूप देश में रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे।
[मनीषा प्रियम]। यह आम बजट सिर्फ आय-व्यय का ब्यौरा भर नहीं है। वास्तव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सरकार की नीतियों और विजन का दस्तावेज है। मोदी सरकार ने अगले पांच वर्षों में यानी 2025 तक भारतीय अर्थव्यवस्था का आकार बढ़ाकर पांच लाख करोड़ डॉलर करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। जाहिर है अर्थव्यवस्था का आकार वर्तमान के मुकाबले दोगुना करने के लिए प्रत्येक क्षेत्र में भारी निवेश की दरकार होगी तथा बड़े पैमाने पर ढांचागत विकास पर जोर देना होगा। साथ ही इस लक्ष्य को एक तय समय सीमा में हासिल करने के लिए कुशल मानव संसाधन की भी आवश्यकता होगी।
बेरोजगारी कम करना है लक्ष्य
गत दिनों देश में बेरोजगारी की भयावह स्थिति को दर्शाने वाले आंकड़े आए थे। जिसमें कहा गया था कि देश में बेरोजगारी की दर बीते चार दशकों में सबसे उच्चतम स्तर पर है। इससे स्पष्ट होता है कि अभी देश में जितने युवा रोजगार के मैदान में आ रहे हैं उसके मुकाबले रोजगार के अवसर नहीं बन पा रहे हैं। देश में ऐसे हालात इसलिए पैदा हुए, क्योंकि लंबे समय तक ढांचागत विकास, उद्यमशीलता को बढ़ावा देने और युवाओं को कुशल बनाने पर ध्यान नहीं दिया गया। इन्हीं बाधाओं को दूर करने और नए अवसरों को पैदा करने के लिए आम बजट में कई कदम उठाए गए हैं। हालांकि सीधे- सीधे रोजगार पर बजट में कोई बात नहीं कही गई है, लेकिन यह भी स्पष्ट है कि ढांचागत विकास पर जोर देने, स्टार्ट अप, मेक इन इंडिया और छोटे एवं मझोले उद्योगों को बढ़ावा देने, पारंपरिक उत्पादों और कारीगरों को वैश्विक अर्थव्यवस्था से जोड़ने, 17 पर्यटन स्थलों को विश्व स्तरीय बनाने और नई शिक्षा नीति को लागू करने से देश में रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे।
मोदी सरकार ने सिर्फ ढांचागत विकास पर ही अगले पांच साल में सौ लाख करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य रखा है। इससे सड़क, बिजली, पानी, घर आदि आम लोगों के जीवन और उद्योग क्षेत्र से जुडे़ आधारभूत ढांचे का विकास किया जाएगा। स्वत: अनुमान लगाया जा सकता है कि इससे बड़ी संख्या में लोगों को काम मिलेगा। वहीं देश में नए उद्यमी पैदा हों और वे दूसरे लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा कर सकें इसके लिए स्टार्ट अप इंडिया योजना को लोकप्रिय बनाने की भी योजना है। इसके लिए एक नया चैनल शुरू किया जाएगा। इसके जरिये सरकार युवाओं को नए स्टार्ट अप का आगाज करने के लिए जागरूक करेगी। यह कदम रोजगार सृजन के लिए अहम साबित हो सकता है।
इसके साथ ही स्किल इंडिया और मेक इन इंडिया पर सरकार का ध्यान बढ़ा है। वहीं ग्रामीण जगत में कृषि आधारित रोजगार के अवसर बनाने के लिए बजट में स्फूर्ति योजना के तहत सुविधा केंद्र स्थापित करने और कृषि आधारित 75 हजार हुनरमंद उद्यमी तैयार करने की बात कही गई है। इसके जरिये कृषि उत्पादों को परिष्कृत कर बाजार से जोड़ा जाएगा।
(लेखिका लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स एंड पॉलिटिकल साइंस से डॉक्टरेट हैं)