ब्याज दरों में इजाफे की संभावना कम: सुभाष चंद्र गर्ग
आरबीआई की अगली मौद्रिक नीति समिति की बैठक 4 और 5 जून को होनी है
नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। वित्त मंत्रालय को नीतिगत ब्याज दरों में इजाफे की गुंजाइश नजर नहीं आती है, लेकिन इसके बावजूद आरबीआई के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने जून की मॉनीटरी पॉलिसी में रेपो रेट में वृद्धि के संकेत दिए हैं।
आर्थिक मामलों के सचिव सुभाष चंद्र गर्ग ने एक इंटरव्यू मं बताया, “मेरे हिसाब से ब्याज दरें काफी मजबूत स्थिति में हैं और मुझे नहीं लगता है कि वो इसमें और इजाफा करेंगे।” अप्रैल की मौद्रिक नीति समिति (मॉनीटरी पॉलिसी) की बैठक के मिनट्स के अनुसार आरबीआई के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने अगली बैठक में एकोमडेशन को हटाए जाने का समर्थन किया था। आपको बता दें कि आरबीआई की अगली मौद्रिक नीति समिति की बैठक 4 और 5 जून को होनी है।
आचार्य का मानना है कि केंद्रीय बैंक को मॉनीटरी एकोमडेशन को हटाए जाने से पहले कुछ और समय के लिए इंतजार करना चाहिए। उन्होंने कहा, “मेरा मानना है कि यह बेहतर होगा कि कुछ और डेटा को सामने आने दिया जाए, विशेषरुप से ग्रोथ पर। हालांकि जून में होने वाली एमपीसी की बैठक में एकोमडेशन को हटाए जाने की शुरुआत के लिए मैं निर्णायक रूप से वोट करूंगा।”
आरबीआई गवर्नर उर्जित पटेल ने मॉनीटरी पॉलिसी के रुख में किसी भी बदलाव से पहले कुछ और डेटा के सामने आने के इंतजार को चुना है। उनका मानना है कि उन्होंने आर्थिक गतिविधियों में सुधार देखा है और क्रेडिट ऑफटेक की स्थिति भी सुधरी है। यह बात अप्रैल की पॉलिसी मीट के जरिए सामने आई है।