कच्छ से कोहिमा और कोच्चि से कश्मीर तक गैस पाइपलाइन बिछाने की योजना, होगा 4 लाख करोड़ का निवेश
अभी देश की अर्थव्यवस्था में गैस आधारित गतिविधियों की हिस्सेदारी महज 6.2 फीसद है जिसे वर्ष 2030 तक बढ़ाकर 15 फीसद किए जाने का लक्ष्य रखा गया है।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। देश की अर्थव्यवस्था को गैस आधारित बनाने में अगले दो वर्ष काफी महत्वपूर्ण साबित होने जा रहे हैं। अगले दो वर्षो में सरकार की योजना कच्छ से लेकर कोहिमा तक और कोच्चि से लेकर कश्मीर तक गैस पाइपलाइन बिछाने की है, जो घरेलू गैस के साथ-साथ उद्योग और यातायात को भी गैस आधारित बनाने में काफी मदद करेगा। पेट्रोलियम व प्राकृतिक गैस मंत्री धर्मेद्र प्रधान ने एक राष्ट्रीय आयोजन में कहा कि देशभर में गैस पाइपलाइन का ढांचा तैयार करने से चार लाख करोड़ रुपये के निवेश का रास्ता साफ होगा।
अभी देश की अर्थव्यवस्था में गैस आधारित गतिविधियों की हिस्सेदारी महज 6.2 फीसद है, जिसे वर्ष 2030 तक बढ़ाकर 15 फीसद किए जाने का लक्ष्य रखा गया है। आयोजन में कई राज्यों के प्रतिनिधियों के अलावा गैस उद्योग से जुड़ी कंपनियों ने भी हिस्सा लिया।
प्रधान ने कहा कि केंद्र सरकार लगातार गैस आधारित इकोनॉमी को बढ़ावा देने के लिए कदम उठा रही है। इसके तहत घरेलू गैस उत्पादन को बढ़ाकर 34.55 अरब क्यूबिक मीटर किया गया है। कीमत तय करने की छूट कंपनियों को दी गई है। पूर्वी व पूर्वोत्तर भारत में गैस पाइपलाइन के लिए 10,500 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
दो वर्षो में देश के अधिकांश हिस्से में गैस पाइपलाइन बिछ जाएगी। इस प्रक्रिया में चार लाख करोड़ रुपये का निवेश होगा। उन्होंने शहरों में गैस पाइपलाइन बिछाने की योजना के बारे में बताया कि 11वें दौर की निविदा जल्द ही जारी की जा रही है जिसके बाद 475 शहरों में गैस पाइपलाइन का ढांचा तैयार हो जाएगा।