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GST Return के डिफॉल्टर से रिटर्न फाइल कराने की कोशिश हुई तेज, जीएसटी संग्रह बढ़ाने की कोशिश

अब राजस्व विभाग के अधिकारी इन कारोबारियों से 30 नवंबर तक रिटर्न दाखिल करवाने की कोशिश में जुटे हैं। ऐसे कारोबारियों की संख्या 25000 बताई जा रही हैं। इन कारोबारियों की पहचान पिछले महीने के रिटर्न के आंकड़ों से की गई।

By Ankit KumarEdited By: Published: Mon, 30 Nov 2020 08:33 AM (IST)Updated: Mon, 30 Nov 2020 04:52 PM (IST)
GST Return के डिफॉल्टर से रिटर्न फाइल कराने की कोशिश हुई तेज, जीएसटी संग्रह बढ़ाने की कोशिश
पांच करोड़ से अधिक टर्नओवर वाले कारोबारियों को हर महीने 20 तारीख तक जीएसटीआर-3बी रिटर्न दाखिल करना होता है।

नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। जीएसटी संग्रह में बढ़ोतरी के लिए राजस्व विभाग की कोशिश तेज हो गई है। इसके तहत उन सभी कारोबारियों से जीएसटीआर-3बी रिटर्न भरने के लिए राजस्व विभाग के अधिकारी निजी तौर पर संपर्क कर रहे हैं जिन्होंने पिछले महीने रिटर्न दाखिल किया था, लेकिन नवंबर माह में उन्होंने जीएसटीआर-3बी रिटर्न दाखिल नहीं किया है। रिटर्न दाखिल करने की अंतिम तारीख 20 नवंबर थी।

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अब राजस्व विभाग के अधिकारी इन कारोबारियों से 30 नवंबर तक रिटर्न दाखिल करवाने की कोशिश में जुटे हैं। ऐसे कारोबारियों की संख्या 25,000 बताई जा रही हैं। इन कारोबारियों की पहचान पिछले महीने के रिटर्न के आंकड़ों से की गई। जीएसटी रिटर्न नहीं भरने वाले कारोबारियों को एसएमएस और ई-मेल के जरिए भी रिटर्न भरने के लिए कहा जा रहा है।

पांच करोड़ से अधिक टर्नओवर वाले कारोबारियों को हर महीने 20 तारीख तक जीएसटीआर-3बी रिटर्न दाखिल करना होता है। राजस्व विभाग की कोशिश से नवंबर का जीएसटी संग्रह एक लाख करोड़ के पार जाने की उम्मीद है। अक्टूबर में जीएसटी संग्रह 1.05 लाख करोड़ रुपए का था।

डीम्ड जीएसटी पंजीकरण के भौतिक सत्यापन का आदेश

केंद्रीय परोक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआइसी) ने टैक्स अधिकारियों से 21 अगस्त से 16 नवंबर के दौरान डीम्ड यानी मान्य जीएसटी पंजीकरण हासिल करने वाले कारोबारियों और उनके व्यवसायों का भौतिक सत्यापन करने को कहा है। इसका मकसद उनकी वास्तविक स्थिति का पता लगाना है। सीबीआइसी ने अधिकारियों से यह भी कहा है कि जिन आवेदकों ने आधार सत्यापन का विकल्प नहीं चुना है या जिनका सत्यापन विफल हो गया है, उनका डीम्ड आधार पर जीएसटी पंजीकरण नहीं किया जाए।

जीएसटी के मौजूदा प्रावधानों के तहत अगर आवेदन के 21 दिनों के भीतर अधिकारी आवेदक को कोई नोटिस जारी नहीं करते हैं तो उसका पंजीकरण स्वीकार्य मान लिया जाता है, जिसे डीम्ड पंजीकरण कहा जाता है। सीबीआइसी ने कहा है कि आंकड़ों के मुताबिक 21 अगस्त से 16 नवंबर के बीच कई डीम्ड जीएसटी पंजीकरण जारी किए गए, जिनमें आधार सत्यापन का विकल्प नहीं लिया गया। बोर्ड यह सुनिश्चित करना चाहता है कि ये पंजीकरण वर्तमान में चल रहे कारोबार के लिए हैं या कारोबारियों का जल्द कारोबार शुरू करने का इरादा है। 


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