खाद्य सामग्री पर 'ट्रांस-फैट' मुक्त लोगो लगाना स्वैच्छिक : FSSAI
इसके लिए उन्हें खाद्य सुरक्षा एवं संरक्षा (विज्ञापन एवं दावा) नियम-2018 का अनुपालन करना होगा। आम तौर पर ट्रांस-फैट फास्ट फूड बिस्किट केक नमकीन चिप्स फ्रोजन खाने पिज्जा-बर्गर
नई दिल्ली (पीटीआइ)। देश में मिठाई की दुकानें, बेकरी और रेस्तरां इत्यादि अपने प्रतिष्ठान या उत्पादों पर स्वैच्छिकता से 'ट्रांस-फैट' (असंतृप्त वसा का एक प्रकार) मुक्त होने का लोगो लगा सकते हैं। भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं संरक्षा प्राधिकरण (एफएसएसएआई) ने राज्य सरकारों को एक पत्र लिखकर कहा है कि इस लोगो का स्वैच्छिक उपयोग वही कर सकते हैं, जिनके उत्पाद में 'ट्रांस-फैट' मुक्त वसा का उपयोग किया गया है या 100 ग्राम खाद्य सामग्री में 0.2 ग्राम से कम औद्योगिक 'ट्रांस-फैट' है।
एफएसएसएआई ने कहा, 'ट्रांस फैट मुक्त लोगो का उपयोग स्वैच्छिक है।' पत्र में कहा गया है कि इस लोगो को लगाने की जिम्मेदारी खाद्य कारोबार परिचालकों की होगी।
इसके लिए उन्हें खाद्य सुरक्षा एवं संरक्षा (विज्ञापन एवं दावा) नियम-2018 का अनुपालन करना होगा। आम तौर पर ट्रांस-फैट, फास्ट फूड, बिस्किट, केक, नमकीन, चिप्स, फ्रोजन खाने, पिज्जा-बर्गर इत्यादि में पाया जाता है।
यह पहले से ही वसा और तेलों में ट्रांस-वसा की मात्रा को 5 फीसद तक सीमित कर चुका है और 2021 तक इसे 3 फीसद और 2022 तक 2 फीसद कम करने के लिए अधिसूचना जारी कर दी गई है। एफएसएसएआई ने कहा कि खाद्य या वसा या तेल वाले खाद्य उत्पादों का विनियमन भी बढ़ाया जा रहा है।
औद्योगिक ट्रांस-वसा विषाक्त हैं जो हृदय और अन्य संबंधित रोगों का सबसे बड़ा कारण हैं।
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