बाजार के उतार-चढ़ाव में बेहतर रिटर्न के लिए चुनें असेट अलोकेशन फंड
बाजार के उतार-चढ़ाव के दौरान असेट अलोकेशन फंड बढि़या प्रदर्शन करते हैं।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। वर्तमान में जिस तरह का माहौल शेयर बाजार में है, ऐसे में असेट अलोकेशन म्युचुअल फंड निवेशकों के लिए एक बेहतरीन विकल्प साबित हो सकता है। 3 साल, 5 साल और 10 साल की अवधि में असेट अलोकेशन की स्कीमों ने बेहतर रिटर्न दिया है। इसमें देश की अग्रणी म्युचुअल फंड कंपनी आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल टॉप पर रही है।
जब भी बाजार उतार-चढ़ाव में रहा है और उस समय जिन निवेशकों ने असेट अलोकेशन का पालन किया है, वह फायदे में रहे हैं। असेट अलोकेशन कैटेगरी में आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल म्युचुअल फंड पायोनियर रहा है और पिछले एक दशक से इसने इस कैटेगरी में निवेशकों को बेहतर लाभ दिया है।
आंकड़ों के अनुसार, सेबी की कैटेगरी मल्टी अलोकेशन में आईप्रू मल्टी असेट फंड ने 3 साल में 8.36 तो 10 साल में 11.99 फीसदी का रिटर्न दिया है। जबकि कंजरवेटिव हाइब्रिड फंड में आईप्रू रेगुलर सेविंग फंड ने 5 साल की अवधि में 9.58 और 3 साल में 7.87 फीसदी का रिटर्न दिया है। एग्रेसिव हाइब्रिड फंड की बात करें तो इसके इक्विटी और डेट फंड ने 5 साल में 9.96 और 10 साल में 13.07 फीसदी का रिटर्न दिया है।
आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल बैलेंस्ड एडवांस्ड फंड का एयूएम जन 2013 में 487 करोड़ रुपये रहा है जो सितंबर 2019 में 27,956 करोड़ रुपये हो गया है। यानी 6 सालों में इस फंड के एयूएम में 57 गुना से ज्यादा की वृद्धि देखी गई है। साथ ही इसके असेट अलोकेटर फंड के नए अवतार में आने के बाद फरवरी 2019 से लेकर अब तक 3,659 करोड़ रुपये का एयूएम बढ़ा है।
यह फंड इन हाउस असेट अलोकेशन मॉडल का पालन करता है और इसकी वजह से यह तमाम मानदंडों जैसे सेंसेक्स, निफ्टी प्राइस टू अर्निंग और प्राइस टू बुक अनुपात पर काम करता है। इस फंड के उपरोक्त फंडों ने अपनी कैटेगरी में बेहतर प्रदर्शन किया है जो बाजार के सभी चक्रों में अच्छा प्रदर्शन करता है। इसका इक्विटी में शुद्ध एक्सपोजर न्यूनतम 10 फीसदी से 80 फीसदी तक रहता है।