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गर्मी के दस्तक देते ही अगलगी की घटनाओं में इजाफा

गर्मी आते ही जिले में अगलगी की घटनाएं बढ़ गई हैं। कभी असावधानी तो कभी बिजली के शॉट सर्किट से ऐसे हादसे हो रहे हैं।

By JagranEdited By: Published: Mon, 25 Mar 2019 11:42 PM (IST)Updated: Mon, 25 Mar 2019 11:42 PM (IST)
गर्मी के दस्तक देते ही अगलगी की घटनाओं में इजाफा
गर्मी के दस्तक देते ही अगलगी की घटनाओं में इजाफा

सीतामढ़ी। गर्मी आते ही जिले में अगलगी की घटनाएं बढ़ गई हैं। कभी असावधानी तो कभी बिजली के शॉट सर्किट से ऐसे हादसे हो रहे हैं। गर्मी के महीने में तेज हवा से आग की लपटें जल्द ही आसपास के घरों को अपनी चपेट में ले लेती है। बीते तीन माह में सिर्फ सदर अनुमंडल में 44 अगलगी की घटनाएं हुई। इन घटनाओं में लगभग 85 लाख की संपत्ति जलकर राख हो गई। अग्निशमन विभाग के पास संसाधनों व कर्मियों का अभाव है। बावजूद विभाग अगलगी से निपटने को तैयार है। बीते साल जनवरी 18 से दिसंबर 18 तक पूरे जिले में अगलगी की 184 घटनाएं हुई थी। इसमें सदर अनुमंडल में 119, पुपरी में 29, व बेलसंड में 36 अग्निकांड हुए जिसमें लगभग 3 करोड़ 82 लाख 70 हजार रुपये की संपति नष्ट हुई। वहीं अग्निशमन विभाग की तत्परता से 12 करोड़ 82 लाख 70 हजार रुपये की संपति को खाक होने से बचाया गया। सूचना मिलने पर अग्निशमन विभाग के कर्मी मौके पर पहुंचने का प्रयास करते हैं । सरकार द्वारा शहरी क्षेत्र में प्रत्येक तीन किमी पर पीएचईडी को हाईडेंट बनाने का आदेश दिया गया था

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तीन अग्निशमन केंद्रों पर रिक्त हैं 16 पद : जिले में सीतामढ़ी, पुपरी व बेलसंड में तीन अग्निशमन केंद्र बनाए गए हैं। सीतामढ़ी में पांच बड़ी व दस छोटी गाड़ियां हैं। हर केंद्र पर एक प्रभारी पदाधिकारी समेत 16 कर्मियों के पद स्वीकृत हैं। इनमें सीतामढी में एक प्रभारी पदाधिकारी, एक सब ऑफिसर, दो हवलदार, दो चालक व दस सिपाही हैं।

पानी भरने में होती परेशानी : अग्निशमन की गाड़ियों में पानी लोड करने के लिए बोरिग नहीं है। पीएचईडी की बोरिग या फिर पोखरों और गड्ढों से पानी भरा जाता है। पुपरी व बेलसंड में तो गड्ढे और पोखर ही सहारा हैं। इनके सूख जाने के बाद काफी मुश्किल होती है।

जर्जर भवन में चलता अग्निशमन केंद्र :

सीतामढ़ी का अग्निशमन केंद्र डायट के परिसर में उधार के जर्जर भवन में चलता है। इसी भवन में कर्मियों का आवास भी है। एक ही हॉल में सभी कर्मी बिस्तर लगाकर रहते हैं। यहां नहाने के लिए एक चापाकल है। जहां जिले को खुले में शौच मुक्त कराने के लिए तमाम प्रयास किए जा रहे हैं, वही अग्निशमन विभाग के कर्मी खुले में शौच जाने को मजबूर हैं। हालांकि, पुलिस लाइन के पास 3 करोड़ 68 लाख की लागत से भवन निर्माण कराया जा रहा है।

डीजल लाने के लिए जाना पड़ता 25 किमी दूर : सदर अनुमंडल के अग्निशमन वाहनों को डीजल लाने 25 किमी की दूरी तय कर पुपरी जाना होता है। वहीं बेलसंड के वाहनों को परसौनी आना पड़ता है।

मॉकड्रिल कर लोगों को किया जा रहा जागरूक : विभाग द्वारा प्रखंड व पंचायत स्तर पर स्कूलों, अस्पतालों, ग्रामीण क्षेत्रों के हाट बाजारों में जाकर लोगों को आग से बचाव तथा आग लगने पर बरते जाने वाली सावधानियों के बारे में मॉकड्रिल कर जागरूक किया जा रहा है। अबतक 105 जगहों पर कार्यक्रम आयोजित कर लोगों को जागरूक किया गया है।

आग लगने पर इन नंबरों पर करें संपर्क : नंबर 101 के अतिरिक्त सदर अनुमंडल के लिए मोबाइल नंबर 7485805844, 7485805845, बेलसंड के लिए 7485805846 ,7485805847 एवं पुपरी के लिए 7485805848, 745805849 जारी किया गया है ।

कोट :

अग्निशमन विभाग का नया भवन तीन करोड़ 68 लाख की लागत से सिमरा में बनाया जा रहा है। वहां पानी लोड करने के लिए बोरिग समेत सभी व्यवस्था होगी। भवन बन जाने के बाद परेशानी दूर हो जाएगी।

----- शशिकांत शर्मा, जिला अग्निशमन पदाधिकारी, सीतामढ़ी।


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