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गेहूं की कटनी जोरों पर,उत्पादन में कमी की आशंका

जिले के किसान गेहूं की फसल काटने में जुट गए हैं। डर है कि ना मालूम मौसम का मिजाज कब बिगड़ जाए।

By JagranEdited By: Published: Mon, 15 Apr 2019 01:18 AM (IST)Updated: Mon, 15 Apr 2019 06:34 AM (IST)
गेहूं की कटनी जोरों पर,उत्पादन में कमी की आशंका
गेहूं की कटनी जोरों पर,उत्पादन में कमी की आशंका

शिवहर। जिले के किसान गेहूं की फसल काटने में जुट गए हैं। डर है कि ना मालूम मौसम का मिजाज कब बिगड़ जाए। बीते मंगलवार को हुई ओलावृष्टि से गेहूं की फसलें बुरी तरह प्रभावित हुई हैं। गेहूं के पौधे जमीन पर गिर गए वहीं बालियां भी खेतों में बिखर गईं हैं। नतीजतन फसल की कटाई में काफी दिक्कतें पेश आ रही हैं। जो किसान पूर्व में अपने खेतों की मेड़ पर जाकर सपनों के जाल बुनते थे वे आज आशंकित हैं कि मनमाफिक उत्पादन होने की संभावना नहीं है। वहीं दूसरी ओर उसकी कटनी के लिए मजदूरों के घर चक्कर लगा रहे हैं। मजदूर ढूंढ़ने से भी नहीं मिल रहा। जिसकी सबसे बड़ी व•ाह मजदूरों का पलायन है। बड़ी संख्या में मजदूर पंजाब हरियाणा सहित अन्य राज्यों में कूच कर चुके हैं। ऐसे खेतों में लगी गेहूं की फसल सुरक्षित खलिहान तक लाना एवं उसे सहेज पाना एक बड़ी चुनौती है। फ़सल तैयार करने में जी तोड़ मेहनत, असीमित लागत, प्राकृतिक प्रकोप का दंश एवं लागत पूंजी नहीं लौटने का डर ये सब ज्वलंत कारण हैं जिससे किसान खेती को घाटे का सौदा बता रहे हैं। इस समस्या का समाधान खोजने की जरूरत है। अगर यही स्थिति रही और किसानों का खेती से मोहभंग होता रहा तो इसके भयावह परिणाम अन्न संकट के रुप में हो सकता है।

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