सारण में प्रधानाध्यापक से अभद्र व्यवहार करने पर पूर्व एचएम से उलझे ग्रामीण
सारण । प्रखंड के उच्च विद्यालय सह राजकीय इंटर कालेज कैतुका लच्छी के सहायक नियोजित शिक्षक व पूर्व प्रभारी प्रधानाध्यापक अशोक कुमार यादव वर्तमान प्रधानाध्यापक शम्भूनाथ सिंह के साथ मारपीट पर उतारू होने व अभद्र व्यवहार करने से नाराज ग्रामीण मंगलवार को पूर्व प्रधानाध्यापक से उलझ गये और हंगामा किये। पूर्व प्रधानाध्यापक द्वारा अमर्यादित शब्द का इस्तेमाल कर धमकी भी दी गई। ग्रामीणों ने पूर्व प्रधानाध्यापक पर वित्तीय अनियमितता का आरोप लगाया। इस हंगामे का वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल भी हुआ है। उसी वीडियो को देखकर ग्रामीण विद्यालय पहुंचे थे। इस घटना की जानकारी मिलते ही पंचायत के मुखिया सुनील कुमार एवं सरपंच विजय सिंह विद्यालय पहुंचे एवं ग्रामीणों को शांत कराए।
जानकारी के अनुसार उच्च विद्यालय कैतुका लच्छी में इंटर में चल रहे नामांकन का पैसा जमा करने में हो रही असुविधा को देखते प्रधानाध्यापक शम्भू नाथ सिंह ने पूर्व प्रभारी प्रधानाध्यापक से वित्तीय प्रभार देने की मांग की, लेकिन उन्हें प्रभार तो नहीं मिला उल्टे उन्हें एक शिक्षक से अमर्यादित शब्द एवं धमकी जरूर मिली। इसी के बाद बवाल बढ़ गया और ग्रामीण पूर्व प्रधानाध्यापक से उलझ गये।
ग्रामीणों ने लगाया पूर्व प्रधानाध्यापक पर वित्तीय अनियमितता का आरोप
ग्रामीण मृत्युंजय कुमार, अंकित कुमार, अभिषेक कुमार, पप्पू सिंह, प्रफुल्ल कुमार, हिमांशु कुमार, अभय कुमार सहित अन्य का कहना था कि पूर्व प्रधानाध्यापक द्वारा विद्यालय की राशि में घोटाला किया गया है, जिसे पचाने के लिए ये वित्तीय प्रभार नहीं दे रहे हैं। एक शिक्षक होकर ये ठेकेदार का काम करते है ये अपने स्तर से विद्यालय के विकास कोष से बाउंड्री बनवा रहे हैं। विद्यालय में क्लर्क होने के बाद भी पूर्व प्रधानध्यापक सभी अभिलेख अपने पास रखे हुए है। क्लर्क अनिल कुमार साह ने बताया कि जब से ये प्रभार में आए उसी समय से विद्यालय का वित्तीय सहित सभी अभिलेख अपने पास रखे हैं। रात्रि प्रहरी मुकेश उपाध्याय को 25 माह से उनका मानदेय बकाया रखे है। पूर्व प्रधानाध्यापक अशोक कुमार यादव का कहना है कि सभी आरोप बेबुनियाद है। विद्यालय में निर्माण कार्य अंतिम चरण में है। काम समाप्त होते ही वित्तीय प्रभार दे दिया जायेगा।
क्या है मामला
उच्च विद्यालय कैतुका लच्छी में पूर्व प्रधानाध्यापक का दबंगई कोई नई बात नहीं है। नियोजित सहायक शिक्षक अशोक कुमार यादव वर्ष 2020 में प्रभारी प्रधानाध्यापक के रूप में विद्यालय का चार्ज लिए। इसी दौरान उन पर कई गंभीर आरोप लगे, जिसके बाद जिला शिक्षा पदाधिकारी ने अपने पत्रांक 254 दिनांक 10 मार्च 2022 को वरीय शिक्षक शम्भूनाथ सिंह को प्रभार सौंपने का आदेश जारी किया। पत्र के तीन माह बाद भी जब वे प्रभार नहीं दिए तो क्षेत्रीय शिक्षा उप निदेशक ने अपने पत्रांक 760 दिनांक 23/06/22 को पुनः प्रभार सौपने का आदेश जारी किया गया। इस पत्र के एक माह बाद भी जब ये प्रभार नहीं दिए तो आरडीडीइ छपरा ने उनसे अपने पत्रांक 838 दिनांक 06/07-2022 बार बार पत्र जारी होने के बाद भी प्रभार नहीं सौपने को ले स्पष्टीकरण पूछा। इसी पत्र के आलोक में जब पुनः जिला शिक्षा अधीक्षक छपरा ने अपने पत्रांक 646 दिनांक 8/7/22 से अशोक कुमार यादव से विद्यालय का सम्पूर्ण प्रभार शम्भूनाथ सिंह को सौंपने का आदेश जारी किया गया, तब जाकर अशोक कुमार यादव ने 12 जुलाई को सिर्फ शैक्षणिक एवं भौतिक प्रभार दिया गया एवं वित्तीय प्रभार अपने पास रखा।