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चालबाज चीन को आर्थिक मोर्चे पर पटकनी देने की जररूत

चीन रह-रहकर भारत के साथ चालबाजी करता है। गलवन घाटी में हिसक झड़प में बीस से अधिक भारतीय जवानों के शहीद होने के बाद देश भर के लोगों में चीन के प्रति गुस्सा उबाल पर है। इस बाबत चीन को करारा जवाब देने के लिए लोग केंद्र सरकार से अपील कर रहे हैं। वहीं बहुसंख्य लोगों ने चीनी सामान के बहिष्कार का भी फैसला किया है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 08 Jul 2020 12:26 AM (IST)Updated: Wed, 08 Jul 2020 12:26 AM (IST)
चालबाज चीन को आर्थिक मोर्चे पर पटकनी देने की जररूत
चालबाज चीन को आर्थिक मोर्चे पर पटकनी देने की जररूत

समस्तीपुर । चीन रह-रहकर भारत के साथ चालबाजी करता है। गलवन घाटी में हिसक झड़प में बीस से अधिक भारतीय जवानों के शहीद होने के बाद देश भर के लोगों में चीन के प्रति गुस्सा उबाल पर है। इस बाबत चीन को करारा जवाब देने के लिए लोग केंद्र सरकार से अपील कर रहे हैं। वहीं बहुसंख्य लोगों ने चीनी सामान के बहिष्कार का भी फैसला किया है। गण्यमान्य लोगों का कहना है कि उन्हें देसी ही चाहिए, भले ही क्वालिटी थोड़ा कमजोर ही क्यों न हो? इस बाबत लोगों की राय जानने की कोशिश की गई तो लोगों ने देशभक्ति की भावना जताते हुए चीन के प्रति आक्रोशपूर्ण प्रतिक्रियाएं दी।

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गलवन घाटी में चीन के विश्वासघात के बाद भारत-चीन के रिश्ते बेहद खराब दौर में पहुंच गए हैं। पर भारत ने चीन को मुंहतोड़ जवाब दिया है। वहीं भारत की तीनों सेनाएं चीन को मुंहतोड़ सबक सिखाने को पूरी तरह तैयार है। वर्तमान परिस्थिति में चीन पर भरोसा नहीं किया जाना चाहिए और ना ही उससे किसी तरह का परस्पर संबंध ही रखना चाहिए। चीन को सिर्फ सीमा पर ही नहीं उसकी, अर्थव्यवस्था पर भी चोट करने की जरुरत है। हालांकि भारत ने 59 चीनी एप्स पर प्रतिबंध लगाकर आर्थिक मोर्चे पर चीन को झटका दिया है।

अविनाश कुमार गिरि, अवकाशप्राप्त वायु सैनिक

देश की सुरक्षा के सवाल पर भारत को चीन से व्यापारिक संबंध खत्म करना ही होगा। व्यापारिक संबंध खत्म करने के बाद भारत को कम, चीन को अधिक नुकसान उठाना पड़ेगा।

अनंत कुमार राय, अध्यक्ष, जिला प्राथमिक शिक्षक संघ, समस्तीपुर।

चीन से आयात बंद होने के बाद दूसरे देशों से उन चीजों का आयात किया जा सकता है। बस फर्क यह होगा कि दूसरे देशों की चीजें चीन की अपेक्षा कुछ महंगी होंगी।

रामश्रेष्ठ राय, अध्यक्ष, प्रखंड मुखिया संघ, सरायरंजन। आज द्विपक्षीय व्यापार में भारत की तुलना में चीन का निर्यात चार गुणा है। इसलिए वर्तमान परिस्थिति में भारत को चीन के साथ तुरंत व्यापारिक संबंध विच्छेद कर लेना चाहिए।

रामाश्रय प्रसाद, अध्यक्ष, प्रखंड बीस सूत्री समिति भारत 50 प्रतिशत से अधिक इलेक्ट्रॉनिक्स गुड्स चीन से आयात करता है, जबकि 7 प्रतिशत निर्यात करता है। ऐसी स्थिति में चीन से व्यापारिक संबंध विच्छेद कर लेना हीं बेहतर विकल्प होगा।

डॉ. रंधीर कुमार मिश्र, साहित्यकार

चीन को न सिर्फ सीमा पर बल्कि उसके खजाने तक चोट देकर ही भारत अपनी ताकत का एहसास करा सकता है।

राम पुकार राय, शिक्षाविद


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