दहेज में 1 लाख न देने पर विवाहिता का घोंट दिया गला, 8 माह के बेटे ने दी मुखाग्नि तो रो पड़ा गांव
बिहटा थानांतर्गत सिमरी गांव में दहेज में मांगे गए एक लाख रुपये न देने पर विवाहिता की गला दबाकर हत्या कर दी गई। मामले में उसके पति समते अन्य पर आरोप लगा है।
पटना, जेएनएन। बिहटा थानांतर्गत सिमरी गांव में रविवार की रात दहेज के लिए नवविवाहिता की गला दबाकर हत्या कर देने का मामला प्रकाश में आया है। मौके पर पहुंचे बिहटा थानाध्यक्ष अवधेश कुमार झा ने शव को जब्त कर पोस्टमॉर्टम के लिए अस्पताल भेजा। पोस्टमॉर्टम के बाद शव स्वजनों को सौंप दिया गया। मृत नवविवाहिता की पहचान सिमरी निवासी सुजीत ठाकुर के पुत्र अभिषेक उर्फ छोटू कुमार की पत्नी मुन्नी देवी के रूप में की जा रही है। वे 24 वर्ष की थी। मुन्नी की मौत बाद जब उसका आठ माह को बेटा मुखाग्नि देने पहुंचा तो माहौल गमगीन हो गया।
पति, भैंसुर, सास, ससुर को किया नामजद
इस संबंध में मुन्नी देवी के भाई सह बिहटा के अमहरा निवासी सूरज ठाकुर ने बिहटा थाने में लिखित आवेदन देकर मुन्नी देवी के पति, भैंसुर, सास, ससुर को नामजद किया है। आवेदन में कहा गया है कि एक लाख रुपये दहेज में नहीं देने पर मुन्नी को बेरहमी से पीटा गया और फिर गला दबा कर हत्या कर दी गई। पुलिस ने मामले की छानबीन करते हुए नामजद आरोपितों को गिरफ्तार किया। इनमें पति अभिषेक उर्फ छोटू कुमार, भैंसुर करण उर्फ मोनू कुमार और सास प्रभा देवी शामिल हैं।
धूमधाम से दो साल पूर्व हुई थी मुन्नी की शादी
बताया जाता है कि बिहटा के अमहरा निवासी सूरज ठाकुर अपनी बहन मुन्नी देवी की शादी बीते दो साल पूर्व बिहटा सिमरी निवासी सुजीत ठाकुर के बेटे अभिषेक कुमार के साथ धूमधाम से की थी। शादी के कुछ दिनों तक सब कुछ ठीक था। उसकी बहन को एक आठ महीने का पुत्र चाणक्य कुमार है। बाद में ससुराल के लोग दहेज में एक लाख रुपये की माग करने लगे। माग पूरी नहीं होने पर उसे प्रताड़ित किया जाने लगा। प्रताड़ना की सूचना मुन्नी अपने मायके वालों को फोन पर भी दिया करती थी। लेकिनपिता और भाई समझौता कर मामले को खत्म करा देते थे।
इसी बीच रविवार की रात करीब साढ़े दस बजे उन्हें मुन्नी की हत्या की सूचना मिली। इसके बाद वे लोग मुन्नी के गांव पहुंचे तो देखा कि मुन्नी का शव घर में पड़ा हुआ था और ससुराल के सभी लोग वहां से फरार थे।
आठ माह के बच्चे चाणक्य ने मां को दी मुखाग्नि
आठ माह के बच्चे चाणक्य ने अपनी मां को मुखाग्नि दी। उस वक्त श्मशान घाट पीपा पुल-दानापुर का पूरा माहौल गमगीन हो उठा। वहां मौजूद लोगों की आंखों से आंसू थमने का नाम नहीं ले रहा था। नाना राजेंद्र ठाकुर ने बताया कि सपने में भी नहीं सोचे थे कि जिस बेटी को इतने अरमानों से घर से विदा कर रहे हैं, उसका ये हाल होगा। मौके पर मामा सूरज ठाकुर और गुड्डू ठाकुर के अलावे अन्य स्वजन मौजूद थे।