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दुकान के बाहर से रेकी कर रहे थे बदमाश, हिरासत में दो संदिग्ध

पटना में तीन लाख लूट मामले में पुलिस ने दो को हिरासत में लिया।

By JagranEdited By: Published: Mon, 26 Aug 2019 01:54 AM (IST)Updated: Mon, 26 Aug 2019 01:54 AM (IST)
दुकान के बाहर से रेकी कर रहे थे बदमाश, हिरासत में दो संदिग्ध
दुकान के बाहर से रेकी कर रहे थे बदमाश, हिरासत में दो संदिग्ध

पटना। पटना जंक्शन के पास ज्वेलरी शॉप के कर्मी गोकुल साह को गोली मारकर नकदी लूटने वाले बाइक सवार दोनों बदमाश उनका पीछा बाकरगंज स्थित दुकान के बाहर से ही कर रहे थे। बदमाश बाकरगंज से गांधी मैदान के बीच में वारदात को अंजाम देने के फिराक में थे। लेकिन, वहां भीड़ होने की वजह से रेलवे स्टेशन तक पीछा करते पहुंच गए। सीसीटीवी फुटेज में भी दिख रहा है कि बाइक सवार दोनों बदमाश गोकुल के ऑटो के पीछे-पीछे चल रहे थे। पुलिस दोनों बदमाशों की पहचान कर चुकी है। वारदात में तीन लोग शामिल थे। रविवार की देर शाम कोतवाली पुलिस ने दो संदिग्धों को हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है।

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15 साल से एक ही दुकान में काम कर रहा गोकुल

गोकुल पिछले 15 सालों से बाकरगंज स्थित लक्ष्मी ज्वेलर्स की दुकान में काम कर रहे हैं। कोतवाली पुलिस इस मामले में गांधी मैदान थाना पुलिस से भी मदद ले रही है। पुलिस की जांच में पता चला कि गोकुल पूर्व में भी कई बार नकदी लेकर कोलकाता जाता था और वहां से सामान लेकर आता था। शनिवार की रात करीब साढ़े आठ बजे उन्हें कोलकाता के लिए ट्रेन पकड़नी थी। इसके लिए वे दुकान मालिक से तीन लाख रुपये बैग में लेकर ऑटो में सवार होकर गांधी मैदान आए। फिर वहां से पटना जंक्शन गेट के पास ऑटो स्टैंड तक पहुंचे। जिस ऑटो में गोकुल सवार थे, रविवार को पुलिस उसके चालक को पकड़कर कोतवाली लाई। ऑटो चालक ने बताया कि गोकुल ने जैसे ही ऑटो से उतरने की कोशिश की कि बाइक सवार दो बदमाश वहां पहुंचे। उस समय ऑटो में चालक भी था। पहले बदमाशों ने उनसे रुपयों से भरा बैग छीनने का प्रयास किया। बैग नहीं देने पर बदमाशों ने हवाई फायरिग कर दी। फायरिग होने से आठ-दस ऑटो चालक उस ओर दौड़े। अपने को घिरता देख बदमाश गोकुल की जांघ में गोली मार दी और बैग लेकर जीपीओ की तरफ फरार हो गए।

गाड़ी में ही बैठे रह गए डॉल्फिन मोबाइल के जवान

प्रत्यक्षदर्शियों की मानें तो घटनास्थल से कुछ कदम की दूरी पर ही डॉल्फिन मोबाइल की गाड़ी हर दिन की तरह शनिवार की रात भी खड़ी थी। गाड़ी में जवान भी सवार थे, लेकिन उन्हें फायरिग की आवाज नहीं सुनाई दी। फायरिग होने के बाद जब आसपास के लोग शोर मचाने लगे तब दस मिनट बाद डॉल्फिन मोबाइल टीम घटनास्थल पहुंची। हालांकि इसके पहले ही कोतवाली थाने के दो जवान वहां पहुंच चुके थे।


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