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सुशील मोदी बोले- चार्टर प्लेन में बर्थडे केक काटने वाले अपने को कैसे बता रहे कर्पूरी का समर्थक

सुशील मोदी ने ट्वीट कर तेजस्वी यादव को निशाने पर लेकर कहा कि यह एक बेशर्म पाखंड था कि चार्टर प्लेन में बर्थडे केक काटने वाले राजकुमार ने खुद को कर्पूरी ठाकुर का सबसे बड़ा समर्थक बताया है।

By Akshay PandeyEdited By: Published: Tue, 26 Jan 2021 06:39 AM (IST)Updated: Tue, 26 Jan 2021 06:39 AM (IST)
सुशील मोदी बोले- चार्टर प्लेन में बर्थडे केक काटने वाले अपने को कैसे बता रहे कर्पूरी का समर्थक
राज्यसभा सदस्य सुशील कुमार मोदी। जागरण आर्काइव। -

राज्य ब्यूरो, पटना: विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के एक ट्वीट के बाद प्रदेश के पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने उन पर पलटवार किया है। सोमवार को सुशील मोदी ने ट्वीट कर तेजस्वी यादव को निशाने पर लेकर कहा कि यह एक बेशर्म पाखंड था कि चार्टर प्लेन में बर्थडे केक काटने वाले राजकुमार ने खुद को कर्पूरी ठाकुर का सबसे बड़ा समर्थक बताया है। उनकी पार्टी कर्पूरी के आदर्शों की बात करती दिखी। राजद के पास तो बेनामी संपत्ति बनाने, बालू माफिया की फंडिंग से राजनीति करने और काम के बदले लोगों की जमीन लिखवा लेने के नए आदर्श हैं। 

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सुशील मोदी के मुताबिक जिस राजद ने अपने शासन के दौरान बिहार में पिछड़ा-अति पिछड़ा वर्ग के लोगों को पंचायत चुनाव में आरक्षण नहीं दिया, जिसने समाजवाद को छोड़ कर परिवारवाद को बढ़ावा दिया, जिसने सत्ता का दुरुपयोग बेनामी संपत्ति बनाने में किया, उसने ऐसे जननायक कर्पूरी ठाकुर की जयंती को अपवित्र किया, जिन्होंने वंचित वर्गों को आरक्षण दिया सत्ता में रह कर ऐसी ईमानदारी रखी कि अपना मकान तक नहीं बनवा पाए। राजद ने सत्ता के लिए उस कांग्रेस से हाथ मिलाया, जिसने आरक्षण का विरोध किया और काका कालेलकर समिति की रिपोर्ट लागू नहीं की। दूसरी ओर कर्पूरी सरकार में शामिल जनसंघ के समर्थन से 27 फीसद आरक्षण का फार्मूला लागू हुआ और अब केंद्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार ने पहले ही कार्यकाल में पिछड़ा वर्ग आयोग को संवैधानिक दर्जा दिया।

तेजस्वी ने की थी भारत रत्न की मांग

गौरतलब है कि सदन में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने कर्पूरी ठाकुर की जयंती पर उन्हें भारत रत्न देने की मांग की थी। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा था, नीतीश जी माना कि बीजेपी के हाथों बंधक होने के बाद आप पटना यूनिवर्सिटी को केंद्रीय विश्वविद्यालय का भी दर्जा नहीं दिला सकते लेकिन राजनीति से इतर कर्पूरी जी को भारत रत्न दिलाने के लिए आप हमारी मांग का समर्थन करें। 


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