सपनों की ऊंची उड़ान के लिए स्लम के 70 बच्चे पहुंचे एयरपोर्ट
जो ऊंचे सपने देखता है वहीं अपने जीवन में सफलता के चरम तक पहुंच पाता है।
पटना। जो ऊंचे सपने देखता है, वहीं अपने जीवन में सफलता के चरम तक पहुंच पाता है। बच्चों को पढ़ा-लिखाकर बड़ा बनने का सपना दिखाना उन्हें आगे बढ़ाने की राह बताना है। समाज के आर्थिक रूप से कमजोर परिवार के स्लम में रहने वाले बच्चे भी ऊंची उड़ान के सपने देखें और अपने जीवन में बेहतर करने का संकल्प लें तो गरीब बच्चे भी काफी ऊंचाई तक पहुंच सकते हैं। यह बात जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा के निदेशक बीसीएच नेगी ने शनिवार को स्लम के स्कूली बच्चों को संबोधित करने के दौरान कहीं। श्री नेगी ने कहा कि स्लम क्षेत्र के बच्चे ऊंचे सपने देखें, इसके लिए शनिवार को इंडिगो प्रबंधन की ओर से 70 स्कूली बच्चों को एयरपोर्ट पर लाकर उन्हें विमान की उड़ान और लैंडिंग को नजदीक से दिखाया गया। विमान से उतरने वाले यात्रियों को काफी नजदीक से देखने का उन्हें मौका मिला।
इस मौके पर स्कूली बच्चों ने सांस्कृतिक समारोह प्रस्तुत कर एयरपोर्ट के सारे कर्मियों का मन मोह लिया। बच्चों के उत्कृष्ट नृत्य-संगीत की प्रस्तुति की एयरपोर्ट कर्मियो ने काफी सराहना की। बेहतर नृत्य-संगीत प्रस्तुत करने वाले बच्चों को इंडिगो के प्रबंधक रुपेश कुमार सिंह की ओर से पुरस्कृत किया गया। इस मौके पर बड़ा सा केक काटकर छह स्कूली बच्चों का जन्मदिन भी मनाया गया। सभी बच्चों को मिठाइयां और स्नैक्स देकर विदा किया गया। इस मौके पर एयरपोर्ट के सुरक्षा प्रभारी और सीआइएसएफ के वरीय कमांडेंट विशाल दुबे ने कहा कि इन बच्चों को ऊंचे सपने दिखाना उन्हें आगे बढ़ने को प्रेरित करेगा। इनमें से कई बच्चे देश के भविष्य का निर्माण करेंगे। इंडिगो प्रबंधन की ओर से रुपेश कुमार सिंह ने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम से बच्चों के अंदर छिपी प्रतिभा को उभारने में मदद मिलती है। इन बच्चों को एक प्लेटफॉर्म मिलता है। स्लम के इन बच्चों को शहर के नामी-गिरामी स्कूलों की महिला शिक्षकों की ओर से प्रतिदिन दो घंटे तक मुफ्त में शिक्षा दी जाती है। इन बच्चों को बेहतर प्लेटफॉर्म दिलाने को ये शिक्षक कटिबद्ध हैं। इस समारोह में इनके अलावा दोनों शिक्षिकाएं इंदु उपाध्याय, लीना तिवारी के साथ ही शिक्षक रोहित कुमार सिंह भी मौजूद थे।
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