बिहार: GST से बढ़ रही राज्य की आमदनी, पहली तिमाही में 793 करोड़ का इजाफा
जीएसटी लागू होने के बाद बिहार का राजस्व संग्रह बढ़ा है और वित्तीय वर्ष की पहली तिमाही में इसमें 793 करोड़ का इजाफा हुआ है।
पटना [राज्य ब्यूरो]। जीएसटी लागू होने के पश्चात राज्य का राजस्व संग्रह बढ़ा है। यह बात वित्तीय वर्ष 2018-19 के प्रथम तिमाही में प्राप्ति एवं व्यय के रुझान से सामने आई है, जिसका ब्योरा गुरुवार को प्रभारी मंत्री श्रवण कुमार ने विधानसभा में पेश किया। सदन में पेश रुझान के मुताबिक, पिछले वित्तीय वर्ष की पहली तिमाही में 2596.55 करोड़ रुपये राजस्व के रूप में संग्रह किए गए थे, जो इस तिमाही में बढ़कर 3389.76 करोड़ रुपये हो गए हैं।
राज्य की अपनी आमदनी में भी इजाफा हुआ है। प्रथम तिमाही में इस वित्तीय वर्ष में 5475.49 करोड़ रुपये प्राप्त हुए हैं जो बजट अनुमान का 15.45 प्रतिशत है। पिछले वर्ष इस अवधि में 4348.17 करोड़ रुपये की आय हुई थी। इसमें 25.93 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
केंद्र सरकार से सहाय्य अनुदान के रूप में प्रथम तिमाही तक 7081.07 रुपये प्राप्त हुए जो बजट अनुमान का 15.25 प्रतिशत है। पिछले वर्ष इस अवधि में 5224.41 करोड़ रुपये प्राप्त हुए थे। यह पिछले वर्ष की तुलना में 30.54 प्रतिशत की वृद्धि है। वाहन कर के माध्यम से पिछली तिमाही के 370.98 करोड़ के मुकाबले इस तिमाही में 467.20 करोड़ रुपये मिले हैं।
केंद्रीय करों में हिस्सेदारी में इस तिमाही 8.79 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। पिछले साल इस अवधि में 13998 करोड़ रुपये मिले थे जबकि चालू वित्तीय वर्ष में प्रथम तीन माह में 15228.22 करोड़ रुपये मिले हैं। स्टाम्प एवं पंजीकरण शुल्क से मिलने वाली राशि में भी वृद्धि हुई है।
श्रवण कुमार ने वित्तीय वर्ष 2017-18 की चतुर्थ तिमाही तक प्राप्ति एवं व्यय का रुझान भी सदन में पेश किया। उन्होंने बिहार राज्य भंडार निगम की वार्षिक प्रतिवेदनों की प्रति भी सभा पटल पर रखी।