कानून के राज से कोई समझौता नहीं : नीतीश कुमार
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को दो टूक अंदाज में कहा कि कानून के राज से किसी तरह का समझौता नहीं होगा। अपनी नई पारी की पहली बैठक में उन्होंने पुलिस मुख्यालय के आला अधिकारियों के साथ सूबे में विधि-व्यवस्था की समीक्षा की।
पटना। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को दो टूक अंदाज में कहा कि कानून के राज से किसी तरह का समझौता नहीं होगा। इसमें किसी तरह की कोई आशंका नहीं रहनी चाहिए।
अपनी नई पारी की पहली बैठक में उन्होंने पुलिस मुख्यालय के आला अधिकारियों के साथ सूबे में विधि-व्यवस्था की समीक्षा की और पुलिस मुख्यालय के प्लान ऑफ एक्शन की जानकारी ली।
इस बाबत एक प्रेजेंटेशन देखने के बाद उन्होंने सूबे के सभी जिलों के डीएम और एसपी के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग की। साफ-साफ कहा कि आपके चेहरे से नहीं, बल्कि परफार्मेंस से आपका आकलन होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोई कानून को अपने हाथ में लेने की कोशिश नहीं करे। कानून के हाथ लंबे होते हैं। वरीय अधिकारियों को हिदायत दी कि कागज पर नहीं, बल्कि घटनास्थल पर जाकर सुपरविजन (पर्यवेक्षण) रिपोर्ट तैयार करें।
जन प्रतिनिधियों और आम लोगों की बात सुनने को कहा। मुख्यमंत्री ने कहा, कीजिए वही जो नियमत: सही हो। सांप्रदायिक दंगे पर सरकार की नीति को दोहराते हुए उन्होंने कहा कि इसके लिए डीएम-एसपी जिम्मेदार होंगे। इस तरह के मामले में रिस्पांस टाइम थाने से घटना स्थल तक पहुंचने में लगने वाला समय होना चाहिए।
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट कहा कि हमारा बुनियादी दायित्व कानून का राज है। उन्होंने पुलिस अधीक्षकों को थाने के स्तर पर विधि-व्यवस्था की समीक्षा का निर्देश दिया। स्पीडी ट्रायल की गति तेज करने की कार्ययोजना पर मुख्यमंत्री ने हिदायत दी।
कहा कि डीएम-एसपी अपने संबंधित जिलों के जिला जज से मिलकर इस बारे में अनुरोध करें। भ्रष्टाचार से जुड़े मामलों में अपने जीरो टालरेंस नीति की चर्चा करते हुए नीतीश ने कहा कि भ्रष्ट लोकसेवकों को चिह्नित कर उन पर कार्रवाई की गति तीव्र की जाए।