नीतीश ने स्वीकार किया सुधाकर का इस्तीफा, सर्वजीत बने बिहार के नए कृषि मंत्री; तेजस्वी के पास आया एक और विभाग
कृषि मंत्री सुधाकर सिंह ने पद से इस्तीफा दे दिया। मुख्यमंत्री ने कृषि मंत्री का इस्तीफा स्वीकार करते हुए अपनी अनुशंसा राज्यपाल फागू चौहान को भेज दी। पर्यटन मंत्री कुमार सर्वजीत को कृषि विभाग का मंत्री नियुक्त किया गया है।
राज्य ब्यूरो, पटना : अपनी ही सरकार और विभाग के अधिकारियों के खिलाफ तीखे बयान देने वाले कृषि मंत्री सुधाकर सिंह ने रविवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने उनका इस्तीफा स्वीकार करते हुए अपनी अनुशंसा राज्यपाल फागू चौहान को भेज दी। इसके बाद सुधाकर के स्थान पर पर्यटन मंत्री कुमार सर्वजीत को कृषि विभाग का मंत्री नियुक्त किया गया है। पर्यटन मंत्री का प्रभार अब उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के पास रहेगा। इस्तीफे के बाद सुधाकर सिंह स्वयं अपना पक्ष रखने सामने नहीं आए, लेकिन उनके पिता और राजद के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने सुधाकर के इस्तीफे की पुष्टि की।
हाल में राजद ने फैसला किया था कि गठबंधन और सरकार के खिलाफ कोई राजद नेता बयान नहीं देगा। गठबंधन के बारे में सिर्फ तेजस्वी बयान देंगे, लेकिन सुधाकर लगातार अपनी सरकार के खिलाफ बयान दे रहे थे। माना जा रहा है कि जदयू के साथ संबंधों को ठीक बनाए रखने के लिए लालू के निर्देश पर सुधाकर सिंह को इस्तीफा देना पड़ा है।
मीडिया के नाम जगदानंद ने जारी किया वीडियो
इस्तीफे के बाद सुधाकर के पिता व प्रदेश राजद अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने मीडिया के नाम वीडियो बयान जारी किए, जिसमें उन्होंने कहा कि कृषि मंत्री ने अपना त्यागपत्र दिया है। किसान और जवानों की भूमिका को कभी नकारा नहीं जा सकता। हम नहीं चाहते हैं कि कोई लड़ाई आगे बढ़े। कृषि मंत्री ने त्यागपत्र दिया है, ताकि सरकार अच्छी तरह से चलती रहे। जगदानंद ने कहा कि सुधाकर ने किसानों के हित के लिए इस्तीफा दिया है।
दूसरे मंत्री जिन्हें देना पड़ा इस्तीफा
प्रदेश में महागठबंधन के नेतृत्व में सरकार बनने के बाद राजद नेता और रामगढ़ से विधायक सुधाकर सिंह को नीतीश सरकार में कृषि मंत्री का पद सौंपा गया था। नीतीश सरकार में सुधाकर दूसरे मंत्री हैं, जिन्होंने अपने पद से इस्तीफा सौंपा है। इसके पूर्व राजद कोटे से विधि मंत्री बनाए गए कार्तिक सिंह ने 31 अगस्त को अपने पद से त्यागपत्र सौंपा था। सुधाकर के इस्तीफे की पेशकश के बाद उनसे बात करने की कई बार कोशिश की गई, लेकिन उनसे बात संभव नहीं हो पाई।
अपनी ही सरकार पर हमलावर थे सुधाकर
कृषि मंत्री बनने के बाद से सुधाकर सिंह लगातार सरकार पर हमलावर थे। समय-समय पर उनके बयान और मांगें सरकार के सामने मुश्किलें पैदा कर रही थीं। राजद विधायक दल की बैठक में यह तय हुआ था कि सरकार और गठबंधन के खिलाफ तेजस्वी यादव के अलावा कोई अन्य नेता या फिर मंत्री कोई टिप्पणी नहीं करेगा। बावजूद कृषि मंत्री लगातार अपने बयानों से सरकार की मुश्किलें बढ़ा रहे थे। पहली दफा सुधाकर सिंह उस वक्त चर्चा में आए थे, जब उन्होंने अपने क्षेत्र की सार्वजनिक सभा में कहा था कि कृषि विभाग के अधिकारी भ्रष्टाचार में लिप्त हैं। सब चोर हैं और मंत्री के रूप में मैं चोरों का सरदार हुआ। इस बयान के बाद मुख्यमंत्री से उनकी मुलाकात कैबिनेट की बैठक में हुई थी। मुख्यमंत्री ने उन्हें समझाने की कोशिश भी की थी, पर कैबिनेट की बीच में ही वह वहां से निकल गए। इसके बाद भी सुधाकर सिंह लगातार कृषि विभाग के अधिकारियों एवं कर्मियों को अपने निशाने पर लेते रहे। जिस वजह से सरकार की किरकिरी हो रही थी। उन्होंने राज्य के कृषि रोडमैप पर भी सवाल उठाए थे।