बिहार में एनडीए की सहयोगी मांझी की पार्टी बोली-अपशब्दों के कारण भाजपा को बंगाल में मिली हार
West Bengal election result पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने सत्ता में जोरदार तरीके से वापसी कर ली। जीतनराम मांझी की पार्टी हम ने भाजपा पर हमलावर होते हुए इसे अपशब्दों के कारण मिली हार बताया है।
राज्य ब्यूरो, पटना: बंगाल में ममता बनर्जी की जीत के बाद हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) ने भाजपा पर हमलावर होते हुए इसे अपशब्दों के कारण मिली हार बताया है। बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री एवं हम के अध्यक्ष जीतनराम मांझी ने ट्वीट कर जीत पर ममता बनर्जी को बधाई दी और इसे बंगाली अस्मिता की जीत बताया है। वहीं हम के प्रवक्ता दानिश रिजवान ने कहा कि चुनाव परिणाम यह साबित करता है कि भाजपा के शीर्ष नेतृत्व से कहीं न कहीं चूक हुई है। इस परिणाम ने एक बात साफ कर दी है कि अगर हम शब्दों का अनैतिक वार करते हैं, तो जनता को भी ठेस पहुंचती है और वह इसका बदला वोटों से लेती है।
राजद और कांग्रेस ने दी बधाई
वहीं प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने पश्चिम बंगाल चुनाव में जीत पर ममता बनर्जी को बधाई दी है। तेजस्वी ने कहा कि बंगाल ने फिर अपनी ममता पर ही विश्वास किया। यह जनता के स्नेह और विश्वास की जीत है। ममता बनर्जी के दृढ़ और कुशल नेतृत्व का नतीजा है कि वे दोबार सत्ता में आ गई हैं। राजद प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने कहा कि देश की राजनीति को एक नई दिशा देने का संकेत ममता ने दिया है। भाजपा ने कई हथकंडे अपनाए थे, लेकिन तब भी जीत नसीब नहीं हुई। वहीं कांग्रेस ने कहा कि भाजपा का घमंड बंगाल में टूट गया है।
ममता की सत्ता में वापसी
बंगाल में 62 दिन चली चुनावी प्रक्रिया के बाद रविवार को ममता बनर्जी की पार्टी ने सत्ता में जोरदार तरीके से वापसी कर ली। तृणमूल कांग्रेस को अगले पांच साल राज्य में शासन चलाने के लिए जनता ने मौका दे दिया है। हालांकि खुद मुख्यमंत्री ममता बनर्जी नंदीग्राम सीट से भाजपा प्रत्याशी शुभेंदु अधिकारी से करीब 1957 वोटों से चुनाव हार गईं।बीजेपी चुनाव में भले हार गई बार पिछले बार तीन सीटों का आंकड़ा 77 तक पहुंचाने में पार्टी सफल रही। बता दें कि इसबार बंगाल चुनान में ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने जीजेएम के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था। जबकि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ऑल झारखंड स्टूडेंट्स यूनियन के साथ थी। वहीं कांग्रेस और सीपीआइ ने अन्य पांच दलों के साथ मिलकर बंगाल चुनाव के लिए गठबंधन बनाया था।