लगातार तीसरे जुमे को मस्जिदों में लटका रहा ताला
लॉकडाउन के दौरान तीसरी बार शुक्रवार को जुमा की नमाज राजधानी की किसी भी मस्जिद में नहीं हो सकी
पटना। लॉकडाउन के दौरान तीसरी बार शुक्रवार को जुमा की नमाज राजधानी की किसी भी मस्जिद में नहीं हुई। सभी जामा मस्जिदों में ताला लटका रहा। मुस्लिम समुदाय के लोगों ने अपने-अपने घरों में ही नियमित रूप से पढ़ी जाने वाली जोहर की नमाज पढ़ी। दोपहर के समय मस्जिदों के रास्तों में सन्नाटा पसरा रहा। सभी उम्र के महिला-पुरुष ने नमाज और कुरानशरीफ का पाठ करने के बाद कोरोना के खात्मे, पूरी दुनिया के इंसानों की हिफाजत करने, हुए नुकसान को पूरा करने के लिए सभी को हिम्मत और हौसला देने, बीमारों को जल्द स्वस्थ करने, गरीबों के लिए खाने का इंतजाम करने, देश को इस संकट के दौर से उबारने समेत कई दुआ अल्लाह से मांगी।
पटना जंक्शन मस्जिद, कोतवाली मस्जिद, हाई कोर्ट की मस्जिद, सब्जीबाग, फुलवारीशरीफ, हारून नगर, कुर्जी, राजाबाजार, आलमगंज, पटना सिटी, कुम्हरार, कंकड़बाग, राजेंद्रनगर, गांधी मैदान, दरियापुर समेत सभी इलाकों की मस्जिदों में अगले आदेश तक के लिए सामूहिक रूप से जुमा व सामान्य दिनों की नमाज पढ़ने पर इस्लामिक संगठनों एवं धाíमक रहनुमाओं ने पाबंदी लगाई है। लोगों ने कोरोना के खात्मे तथा इससे हर एक इंसान की सुरक्षा के लिए अल्लाह के सामने रो-गिड़गिड़ा कर दुआ मांगी। विभिन्न इलाकों के आलिम एवं मौलाना ने लोगों से अपील दोहरायी कि हर दिन के लिए अनिवार्य पांच समय की नमाज भी घरों में ही पढ़ें। नमाज के लिए मस्जिद आने पर पाबंदी लगी है।
- इमाम व मुअज्जिन के मानदेय पर संकट
लगातार तीन शुक्रवार मस्जिदों में सामूहिक रूप से जुमा की नमाज नहीं होने के कारण मस्जिद से जुड़े इमाम एवं मुअज्जिन के मानदेय पर संकट गहरा गया है। नमाज पढ़ने के लिए मस्जिद आने वालों के चंदे से ही इन्हें मानदेय दिया जाता है। लोगों के नहीं आने से मस्जिदों को सहयोग राशि नहीं मिल पा रही है। मस्जिद में तकरीर व अजान देने वालों के परिवार के भरण-पोषण के लिए विभिन्न मस्जिद कमेटी ने लोगों से सहयोग राशि देने की अपील की है।