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बिहार के विकास में मील का पत्थर साबित होगा बजट: मंगल पांडेय

मंगल पांडेय ने बिहार विधान मंडल में पेश 2018-19 के बजट को विकास को समर्पित बताया है। साथ ही विपक्ष के रवैये पर नाराजगी जताई।

By Ravi RanjanEdited By: Published: Tue, 27 Feb 2018 04:16 PM (IST)Updated: Tue, 27 Feb 2018 11:09 PM (IST)
बिहार के विकास में मील का पत्थर साबित होगा बजट: मंगल पांडेय
बिहार के विकास में मील का पत्थर साबित होगा बजट: मंगल पांडेय

पटना [जेएनएन]। बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने बिहार विधान मंडल में पेश 2018-19 के बजट को विकास को समर्पित बताया है। कहा कि बजट से सरकार का सात निश्‍चय न सिर्फ निश्चित में बदलेगा बल्कि सूबे के विकास में मील का पत्थर साबित होगा। 11 हजार 203 करोड़ के राजकोषीय घाटे के अनुमान के बावजूद 2018-19 के लिए 1 लाख 76 हजार के बजट पेश कर राज्य सरकार विकास की नई इबारत लिखेगी।

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पांडेय ने कहा कि बजट में सरकार ने सात निश्‍चय की सफलता के लिए बजट का अकार बढ़ा कर पिछली बजट की तुलना में 16 हजार करोड़ बढ़ा 1 लाख 76 हजार करोड़ किया है। इससे न सिर्फ किसानों की दशा सुधरेगी बल्कि इस बजट से सभी वर्गों के अलावा राज्यकर्मियों को भी लाभ मिलेगा। 

उन्‍होंने कहा कि सरकार ने हरित क्षेत्र का दायरा बढ़ाकर जहां 15 से 17 कर कृषि रोड मैप लागू करने का फैसला लिया है, वहीं शिक्षा के क्षेत्र में सरकार ने पिछले बजट की तुलना में 7 हजार बढ़ाकर 32 हजार करोड़ कर दिया है। स्वास्थ्य क्षेत्र में भी सरकार ने पिछले बजट की तुलना में अधिक कर 7793 हजार करोड़ रखा है। शिक्षा और स्वास्थ्य को और बेहतर बनाने के लिए कई शिक्षण संस्थान और नर्सिंग केंद्र स्थापना पर जोर दिया है। साथ ही आधी आबादी और दबे-कुचले लोगों को मुख्यधारा में लाने के लिए सरकार ने कई कल्याणकारी योजनाओं को मूर्त रूप देने का लक्ष्य रखा है।

मंगल पांडेय ने बजट का आकार बढ़ाने को सरकार की उपलब्धि बताते हुए कहा कि इसके अलावे बिहार सरकार केंद्र प्रायोजित योजनाओं को भी आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है। प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 5 लाख 37 हजार परिवारों को आवास देने की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। मेट्रो ट्रेन के डीपीआर पर केंद्र की सहमति के बाद कार्य शुरू हो जायेगा।

विपक्ष द्वारा हंगामा के बावजूद बजट पेश करने पर उन्होंने कहा कि राज्य सरकार का विकासोन्मुख बजट विपक्ष के गले नहीं उतर रहा था। इसलिए पूरे बजट के दौरान राजद सदस्यों का रवैया असहयोगात्मक रहा। 


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