Crime in Patna: महीने भर बाद भी पटना की पुलिस नहीं ढूंढ पाई फणीश्वरनाथ रेणु की कृतियां
महान साहित्यकार फणीश्वरनाथ रेणु के राजेंद्र नगर स्थित आवास से चोरी के मामले में पुलिस को अभी कुछ खास हाथ नहीं लगा है। उनके घर से दुर्लभ पांडुलिपियां चोरी हुई थीं जिनका पुलिस अब तक कोई सुराग नहीं ढूंढ पाई है।
जेएनएन, पटना। देश के नामचीन साहित्यकारों में शुमार फणीश्वरनाथ रेणु के राजेंद्र नगर स्थित आवास से माहभर पहले चोरी प्रमुख कृतियों को कदमकुआं पुलिस अब तक नहीं बरामद कर सकी है। बता दें कि 30 सितंबर को चोरों ने आवास का ताला तोड़ घर में रखा मैला आंचल, ठुमरी व परती परिकथा का पहला संस्करण गायब कर दिया था। चोरों ने रेणु की हस्तलिखित पुस्तक कागज की नाव को भी गायब कर दिया था। इन किताबों पर फणीश्वर नाथ का हस्ताक्षर भी था।
आवास में ताला लगाकर गांव गये थे सभी लोग
विदित हो कि राजेंद्र नगर गोलंबर स्थित ब्लॉक नंबर-2 के फ्लैट 30बी में स्थित फणीश्वर नाथ रेणु के आवास में मौजूदा समय बेटे पद्म पराग रेणु रहते हैं। मकान में रेणु के छोटे बेटे के साले दक्षिणेश्वर प्रसाद राय भी रह रहे थे। फिलहाल, वह ताला बंदकर घर गए थे। ताला बंद देख चोरों ने उनकी महत्वपूर्ण कृतियों को गायब कर दिया। इसके साथ कुछ बर्तन व चापाकल भी चोर ले गए थे।
अभी तक केवल बर्तन और चापाकल ही मिला
कदमकुआं पुलिस ने बर्तन व चापाकल तो बरामद कर लिया, परंतु कृतियां आज तक नहीं ढूंढ पाई है। एसपी सिटी ने कदमकुआं थानाध्यक्ष के नेतृत्व में विशेष टीम गठित कर एक सप्ताह के अंदर बरामदगी का निर्देश दिया था। उस क्षेत्र के सारे सीसीटीवी कैमरे खंगाले गए। चोरों की तस्वीर भी मिली, परंतु चोर नहीं पकड़े जा सके और न ही पुस्तकें बरामद हुईं।
लाखों रुपये लग सकती है कीमत
रेणु का नाम हिंदी के चुनिंदा साहित्यकारों में गिना जाता है। उनकी कृतियां साहित्य की अमूल्य धरोहर हैं। जो कृतियां चोरी गई हैं, उनकी कीमत लाखों रुपये लगाई जा सकती है। दरअसल ऐसी चीजों की कोई कीमत नहीं होती। ऐसी चीजों के संग्रह के शौकीन लोग मुंहमांगी कीमत देकर भी खरीद लेते हैं। चोरों का किताबें चुराना बताता है कि वे किस इरादे से आये थे।