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पीआरडीए की अतिक्रमित भूमि को संरक्षित करेगा निगम

पटना क्षेत्रीय विकास प्राधिकार (पीआरडीए) की भूमि की वर्तमान स्थिति का नगर निगम पता लगाएगा।

By JagranEdited By: Published: Sat, 19 Aug 2017 03:07 AM (IST)Updated: Sat, 19 Aug 2017 03:07 AM (IST)
पीआरडीए की अतिक्रमित भूमि को संरक्षित करेगा निगम
पीआरडीए की अतिक्रमित भूमि को संरक्षित करेगा निगम

पटना। पटना क्षेत्रीय विकास प्राधिकार (पीआरडीए) की भूमि की वर्तमान स्थिति का नगर निगम पता लगा रहा है। पीआरडीए का राजधानी में लगभग चार सौ एकड़ भूमि है। इसपर आधा दर्जन कॉलोनियां बसाई गई हैं। इसके बाद भी काफी भूखंड खाली है जिस पर अवैध कब्जा है। नगर निगम उसे संरक्षित करेगा।

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वर्ष 2007 में निगम में विघटित हुआ था पीआरडीए

1952 में पटना उन्नयन न्यास (पीआइटी) का गठन हुआ था। 1975 में वह पटना क्षेत्रीय विकास प्राधिकार (पीआरडीए) बन गया। इसके बाद उसने राजधानी के कंकड़बाग, राजेंद्र नगर, श्रीकृष्णापुरी और बेऊर में कॉलोनियां बसा कर निम्न, मध्यम व उच्च आय वर्गीय लोगों में बेची थी। इसके अतिरिक्त पीआरडीए ने ट्रांसपोर्ट नगर में ट्रक पड़ाव, मीठापुर में बस स्टैंड, मौर्यालोक में व्यावसायिक कॉम्पलेक्स बनाया। दीघा में भी एक बड़ा भूखंड है।

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कोट ::

पटना क्षेत्रीय विकास प्राधिकार की भूमि की अद्यतन स्थिति प्राप्त करने के लिए सभी अंचलों को पत्र भेजा गया है। अंचलों से रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

- विशाल आनंद, भू-संपदा पदाधिकारी, पटना नगर निगम


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