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उपेंद्र कुशवाहा, अशोक चौधरी समेत 12 नेताओं की बढ़ सकती हैं मुश्किलें, पटना हाईकोर्ट में याचिका

बिहार में राज्यपाल कोटे से मनोनीत किए गए 12 विधान पार्षदों के मनोनयन को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई की। कोर्ट इन मामलों पर पुनः समीक्षा कर सुनवाई करने में सक्षम है। ऐसे में कुशवाहा अशोक चौधरी और जनक राम समेत कई नेताओं की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।

By Akshay PandeyEdited By: Published: Tue, 07 Sep 2021 06:41 PM (IST)Updated: Tue, 07 Sep 2021 06:41 PM (IST)
उपेंद्र कुशवाहा, अशोक चौधरी समेत 12 नेताओं की बढ़ सकती हैं मुश्किलें, पटना हाईकोर्ट में याचिका
12 विधान पार्षदों के मामले में पटना हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई है। सांकेतिक तस्वीर।

राज्य ब्यूरो, पटना : पटना हाईकोर्ट ने बिहार में राज्यपाल कोटे से मनोनीत किए गए 12 विधान पार्षदों के मनोनयन को चुनौती देने वाली याचिका पर मंगलवार को सुनवाई की। कहा कि कोर्ट इन मामलों पर पुनः समीक्षा कर सुनवाई करने में सक्षम है। वरीय अधिवक्ता वसंत चौधरी की याचिका पर मुख्य न्यायाधीश संजय करोल एवं न्यायाधीश एस कुमार की खंडपीठ ने इस मामले पर सुनवाई की। कोर्ट ने स्पष्ट कहा है कि मनोनीत किए गए विधान पार्षद को राजनीतिज्ञों को समाजसेवी माना जाए या नहीं? इस मामले पर अगली सुनवाई में 13 सितंबर को फैसला लिया जाएगा। ऐसे में उपेंद्र कुशवाहा, अशोक चौधरी और जनक राम समेत कई बड़े नेताओं की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। 

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याचिकाकर्ता के अधिवक्ता वसंत चौधरी का कहना था कि इस तरह के मामले में भारत के संविधान के प्रावधानों के तहत साहित्य, कलाकार, वैज्ञानिक, सामाजिक कार्यकर्ता व सहकारिता आंदोलन से जुड़े हुए विशिष्ट लोगों का मनोनयन हो सकता है। उन्होंने तर्क देते हुए कहा कि एक सामाजिक कार्यकर्ता को काम का अनुभव, व्यवहारिक ज्ञान और विशिष्ट होना चाहिए, लेकिन इन सब बातों को अनदेखा किया गया है। चौधरी ने कोर्ट को बताया कि मनोनीत किए गए सदस्यों में कोई पार्टी का अधिकारी है, तो कोई कहीं का अध्यक्ष। जिन लोगों को मनोनीत किया गया है वे न तो साहित्य से जुड़े हैं नही वैज्ञानिक है और न कलाकार। यह संविधान के प्रविधानों का उल्लंघन है। ऐसा फैसला सभी मापदंडों को अनदेखा करते हुए लिया गया है। पिछ्ली सुनवाई में कोर्ट ने राज्य सरकार के महाधिवक्ता से पूछा था कि क्या मनोनीत किए गए एमएलसी में कोई राज्य के मंत्री पद पर है क्या? 

इन नेताओं का किया गया है राज्यपाल कोटो से मनोनयन

विधान पार्षद के रूप में जदयू नेता अशोक चौधरी, जनक राम, जदयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा, डा. राम वचन राय, संजय कुमार सिंह, ललन कुमार सर्राफ, डा. राजेंद्र प्रसाद गुप्ता, संजय सिंह, देवेश कुमार, प्रमोद कुमार, घनश्याम ठाकुर और निवेदिता सिंह का राज्यपाल के कोटे से मनोनयन किया गया। 


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