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बिहार के सरकारी कार्यालयों में डिजिटल का तड़का, एक क्लिक पर रहेगा सबकुछ

क्या बड़े हाकिम और क्या छोटे या बड़े बाबू। नए साल में सभी हाईटेक हो जाएंगे। न सिर्फ उनके काम का अंदाज डिजिटल हो जाएगा बल्कि उन्हें अपने बारे में वह सभी सूचनाएं अपने कंप्यूटर मॉनीटर पर एक क्लिक में मिलेगी।

By Kajal KumariEdited By: Published: Wed, 16 Dec 2015 11:37 AM (IST)Updated: Wed, 16 Dec 2015 11:48 AM (IST)
बिहार के सरकारी कार्यालयों में डिजिटल का तड़का, एक क्लिक पर रहेगा सबकुछ

पटना [भुवनेश्वर वात्स्यायन]। क्या बड़े हाकिम और क्या छोटे या बड़े बाबू। नए साल में सभी हाईटेक हो जाएंगे। न सिर्फ उनके काम का अंदाज डिजिटल हो जाएगा बल्कि उन्हें अपने बारे में वह सभी सूचनाएं अपने कंप्यूटर मॉनीटर पर एक क्लिक में मिलेगी, जिसके लिए उन्हें कई दफ्तरों का चक्कर लगाना पड़ता है।

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उनका पूरा सर्विस बुक एक क्लिक पर मिलेगा। इस नयी व्यवस्था का ट्रायल शुरू हो गया है। नए साल के आरंभ में ही यह नयी व्यवस्था अलग-अलग महकमों में लागू हो जाएगी। ई ऑफिस नाम है इस नयी व्यवस्था का।

सचिवालय कर्मियों को अब मैनुअल फाइल खोलने या फिर किसी टेबल से आयी फाइल पर कुछ लिखने-पढऩे से पूरी तरह मुक्ति मिल जाएगी। ई ऑफिस के तहत सब कुछ डिजिटल होने जा रहा है जनवरी से। चुनाव के समय ही ई-ऑफिस की ट्रेनिंग दी गयी थी।आइटी सेक्रेट्री एस सिद्धार्थ ने बताया कि सभी को पासवर्ड भी दे दिए गए हैं।

ई-ऑफिस की विशेषता यह है इस पर सचिवालय कर्मी अपना पूरा एचआर प्रोफाइल जब चाहे देख सकता है। मसलन उसके मास्टर डिटेल्स. पे स्लिप, पर्सनल इनाफरमेशन, छुट्टियां, टूर मैनेजमेंट या फिर किसी भी तरह के आवेदन की ट्रैकिंग हो सकेगी ई -ऑफिस पर।

उसे अपने विभाग के इवेंट व समाचार आदि भी इस पर मिलेंगे। कारपोरेट स्टाइल में आज का शब्द भी मिलेगा। जन्मदिन की शुभकानाएं और प्रमोशन की जानकारी भी मिल जाएगी।

सचिवालय में यह व्यवस्था है कि जब नयी फाइल खोली जाती है तो वह हरे पन्ने पर खुलता है। इसके बाद उस पर नोटिंग के लिए सफेद पन्ने का इस्तेमाल होता है। ई ऑफिस का साफ्टवेयर भी इसी कांसेप्ट पर तैयार हुआ है।

दो भाग में खुलती है पूरी फाइल। एक हिस्सा हरा और दूसरा सफेद है। जिस बाबू को नयी फाइल खोलनी है वह हरे हिस्से में लिखेगा और नोटिंग वाले को सफेद पर लिखना है। सचिवालय कर्मियों को सेकलैन (सेक्रेटेरिएट लोकल एरिया नेटवर्क) के माध्यम से फाइल पहुंचेगी और अपने पासवर्ड से वह इसे खोल कर आगे बढ़ायेगा।

सेंट्रल डिस्पैच सेंटर से जो पत्र आगे बढ़ाये जाने हैं उसे स्कैन कर ई ऑफिस पर डाला जाएगा। आईटी विभाग के पास एक ऐसा स्कैनर लगाया गया है जो एक मिनट में 60 पन्ने स्कैन करता है। पन्ने के दोनों तरफ स्कैन की सुविधा है।

कोई कर्मी फाइल को लटका नहीं पाएगा। ई-ऑफिस में फाइल मैनेजमेंट सिस्टम और नॉलेज मैनजमेंट सिस्टम से इस बात की जानकारी मिल जाएगी कि फाइल कहां पड़ी है। अलर्ट भी आएगा और मैसेज भी।

सचिव स्तर के अधिकारी अब फाइलों के गट्ठर के साथ घर नहीं जाएंगे।

उन्हें यह सुविधा होगी कि बगैर सेकलैन के वह इंटरनेट के माध्यम से घर पर फाइलें पढ़ सकेंगे और उस पर नोटिंग भी करेंगे। कर्मियों को इंटरनेट से फाइल खोलने की सुविधा नहीं होगी।


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