Bihar Assembly Elections 2020: पाला बदलने वाले नेताओं का कद नापेगा बिहार विधानसभा चुनाव
टिकट के लिए बिहार विधानसभा चुनाव से पहले विधायक पूर्व मंत्री और नेता पाला बदल चुके हैं। कई अभी कतार में हैं। जानें कैसे बैठ रहा है समीकरण-
दीनानाथ साहनी, पटना। बिहार विधानसभा चुनाव से पहले टिकट के लिए विधायक, पूर्व मंत्री और नेता पाला बदल चुके हैं। कई अभी कतार में हैं। कभी महागठबंधन का राग अलापने वाले हम के अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी भी अब राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) में हैं। पूर्व मंत्री श्याम रजक जदयू को छोड़ फिर राजद की लालटेन थाम चुके हैं। ऐसे और भी कई चेहरे हैं, जो पाला बदले हैं। चुनाव में इन नेताओं के कद और प्रभाव की असली परीक्षा होगी।
टिकट मिलने के संकेत पर दल बदलने को तैयार नेता
हर चुनाव में ऐसा होता है कि टिकट मिलने का संकेत मिलते ही ऐसे नेता दल बदलने में जरा भी परहेज नहीं कर रहे हैं। 2020 के चुनाव को ध्यान में रखकर दर्जन से अधिक वर्तमान और पूर्व विधायक अबतक पाला बदल चुके हैं। अभी कई और विधायक एवं पूर्व मंत्री पाला बदलने की कतार में हैं।
किसी को डुबोएंगे तो किसी को उबारेंगे भी बागी
टिकट से वंचित किए जाने की संभावना को देखते हुए दर्जनों विधायक अभी से बागी तेवर अख्तियार किए हुए हैं। यह पार्टी नेतृत्व पर मनोवैज्ञानिक दबाव बनाने का सियासी फार्मूला भी है। यदि टिकट मिला तो ठीक नहीं तो दूसरे दल से टिकट मिलने पर चुनाव लड़ने से भी परहेज नहीं। कहीं से टिकट लेने में दाल नहीं गली तो बागी विधायक निर्दलीय भी चुनाव मैदान उतरने का मूड में हैं। ऐसे बागियों की जीत हो न हो पर दूसरे दलीय उम्मीदवारों की नैया जरूर डूबोयेंगे।
कई विधायकों का टिकट कटना तय
पहले की तरह ही इस साल भी बिहार विधानसभा में हर दल में कई विधायकों का टिकट कटना तय है क्योंकि हर दल जीत की संभावना पर ही उम्मीदवार उतारता है। ऐसे में हर दल में टिकट की उम्मीद पाले विधायक बगावत पर उतारु होंगे और इस बगावत की आग से पार्टी भी बच नहीं सकती।