बिहार में 1767 अमीनों की बहाली पर लगी रोक, हाईकोर्ट ने विज्ञापन निरस्त कर सरकार को दिया यह आदेश
पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) ने राज्य में अमीन की बहाली (Appointment of Amin) को गैर कानूनी मानते हुए इन पदों के लिए निकाले गए विज्ञापन को निरस्त कर दिया है। एक याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने सरकार को आदेश दिया है।
राज्य ब्यूरो, पटना। पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) ने राज्य में अमीन की बहाली (Appointment of Amin) को गैर कानूनी मानते हुए इन पदों के लिए निकाले गए विज्ञापन को निरस्त कर दिया है। इसके साथ साथ हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को आदेश दिया कि राज्य में 1767 अमीनो के रिक्त पदों पर बहाली के लिए बिहार अमीन कैडर रूल्स (Bihar Amin Cadre Rules) के मुताबिक नए सिरे से रिक्तियों के विज्ञापन को तीन महीने के अंदर अधिसूचित करे। न्यायाधीश पीबी बजनथ्री की एकलपीठ ने राम बाबू आजाद व अन्य की याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए उक्त आदेश दिया।
प्रविधान के विरुद्ध बताया था विज्ञापन
याचिकाकर्ता की अधिवक्ता रितिका रानी ने कोर्ट को बताया कि अमीन पद पर बहाली के लिए शैक्षणिक योग्यता के लिए राज्य सरकार ने जो विज्ञापन में प्रकाशित किया था, वह प्रविधान के विरुद्ध था। उन्होंने कोर्ट को बताया कि बिहार अमीन कैडर रूल्स, 2013 के अनुसार उम्मीदवार प्लस टू (Plus Two) उत्तीर्ण होने के साथ अमानत की डिग्री या आइटीआइ द्वारा सर्वेयर की डिग्री प्राप्त होनी चाहिए, लेकिन राज्य सरकार के राजस्व विभाग (Revenue and Land Reforms Department) ने जो विज्ञापन में शैक्षणिक योग्यता रखी थी, उसके अनुसार उम्मीदवार का मात्र प्लस 2 ही उत्तीर्ण होना ही पर्याप्त है। राज्य सरकार के इसी नियुक्ति विज्ञापन को याचिकाकर्ताओं ने पटना हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। कोर्ट ने इस मामले का अवलोकन करने के बाद राज्य सरकार के राजस्व विभाग द्वारा प्रकाशित विज्ञापन को रद्द करते हुए राज्य सरकार को नए सिरे से 1767 अमीनों के रिक्त पदों की बहाली के लिए तीन महीने के अंदर नया विज्ञापन प्रकाशित करने का आदेश दिया है।
मालूम हो कि बिहार में अमीनों की बेहद कमी है। इस कारण से बड़ी संख्या में जमीन की पैमाइश से जुड़े मामले फंसे हुए हैं। इसको देखते हुए सरकार ने अमीनों की बहाली का फैसला लिया था। उसी आलोक में विज्ञापन निकाला गया था।