अश्विनी चौबे के बेटे अर्जित ने कोर्ट में दाखिल की जमानत याचिका, कहा- मैं भगोड़ा नहीं
भागलपुर में भड़की हिंसा मामले में आरोपित केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे के बेटे अर्जित ने कहा कि वे भगोड़ा नहीं हैं। कोर्ट में अर्जित की तरफ से अग्रिम जमानत याचिका दाखिल की गई है।
By Amit AlokEdited By: Published: Mon, 26 Mar 2018 12:28 PM (IST)Updated: Mon, 26 Mar 2018 08:46 PM (IST)
style="text-align: justify;">पटना [जेएनएन]। बिहार के भागलपुर में हिंदू नववर्ष को लेकर निकाली गई शोभा यात्रा के दौरान हुए उपद्रव के आरोपित केंद्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री अश्विनी चौबे के बेटे व भाजपा नेता अर्जित शाश्वत सोमवार को पटना में थे। अपने ऊपर लगे आरोप पर उन्होंने कहा कि वे भगोड़ा नहीं हैं। इसके बाद वे भागलपुर गए, जहां उन्होंने जिला जज की अदालत में अग्रिम जमानत याचिका दाखिल की। विदित हो कि कोर्ट ने अर्जित तथा आठ अन्य के खिलाफ गिरफ्तारी का वारंट निर्गत किया है।
यह है मामला
हिंदू नववर्ष की शोभा यात्रा के दौरान बीते श्ानिवार को भागलपुर के चंपानगर में दो पक्षों के बीच रोड़ेबाजी, आगजनी, फायरिंग व बमबाजी की घटना हुई थी। इसमें पुलिस जवान समेत कई लोग घायल हुए थे। इस घटना को लेकर बीते रविवार को दो प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी।
इसमें पहली प्राथमिकी जुलूस निकालने वाली संस्था के अध्यक्ष भाजपा नेता अर्जित शाश्वत चौबे समेत आठ लोगों के खिलाफ दर्ज की गई। इस प्राथमिकी में चार से पांच सौ अज्ञात लोगों को भी आरोपित बनाया गया। वहीं दूसरी प्राथमिकी हंगामा, उपद्रव, तोड़फोड़ को लेकर दर्ज की गई, जिसमें 10 नामजद और चार से पांच सौ अज्ञात को आरोपित बनाया गया।
इनके खिलाफ जारी हुआ वारंट
इस मामले में केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे के बेटे अर्जित शाश्वत चौबे समेत नौ लोगों के खिलाफ नाथनगर पुलिस ने शनिवार को अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी अंजनी कुमार श्रीवास्तव की अदालत में गिरफ्तारी वारंट के लिए अर्जी दाखिल की। अदालत ने सभी की गिरफ्तारी का वारंट निर्गत कर दिया है। पुलिस के अनुसार अर्जित शाश्वत चौबे के अलावा अभय कुमार, घोष सोनू, प्रमोद वर्मा पम्मी, देव कुमार पांडेय, संजय भट्ट, सुरेंद्र पाठक, अनूप लाल साह और प्रणव साह उर्फ प्रणव दास के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट निर्गत हुआ है।
अर्जित ने पुलिस पर लगाए ये आरोप
दूसरी ओर अर्जित शाश्वत ने आरोप लगाया है कि पुलिस ने खुद को बचाने के लिए फर्जी एफआइआर दर्ज किया। अर्जित के अनुसार पुलिस और जिला प्रशासन को संघ परिवार की ओर से पहले ही दो दिवसीय नववर्ष समारोह की जानकारी दी गई थी। इसीलिए शोभायात्रा यात्रा निकाली गई, जिसमें भारत माता की जय और वंदे मातरम और जय श्रीराम के नारे लगाए गए। उन्होंने कहा कि अगर देश में एेसा बोलना गुनाह है तो सरकार उन्हें चाहे तो फांसी पर लटका दे।
भारतीय न्याय व्यवस्था में जताई आस्था
शाश्वत ने सोमवार को पटना में कहा कि वे गिरफ्तारी के आदेश के खिलाफ कोर्ट में अग्रिम जमानत की अपील करेंगे। अगर पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने आती है तो वे सहयोग करेंगे। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि वे पुलिस के समक्ष सरेंडर नहीं है करेंगे। कहा कि कोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी का आदेश दिया है, पर कोर्ट फैसले के खिलाफ आगे अपील का भी अधिकार देती है। शाश्वत ने कहा किउन्हें भारतीय न्याय प्रणाली पर भरोसा है। शास्वत ने कहा कि मैं कोई भगोड़ा नहीं हूं।
दाखिल की अग्रिम जमानत याचिका
पटना में उक्त बातें कहने के बाद वे भागलपुर के लिए निकल गए। वहां उन्होंने जिला जत की अदालत में अग्रिम जमानत की अर्जी दाखिल की।
यह है मामला
हिंदू नववर्ष की शोभा यात्रा के दौरान बीते श्ानिवार को भागलपुर के चंपानगर में दो पक्षों के बीच रोड़ेबाजी, आगजनी, फायरिंग व बमबाजी की घटना हुई थी। इसमें पुलिस जवान समेत कई लोग घायल हुए थे। इस घटना को लेकर बीते रविवार को दो प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी।
इसमें पहली प्राथमिकी जुलूस निकालने वाली संस्था के अध्यक्ष भाजपा नेता अर्जित शाश्वत चौबे समेत आठ लोगों के खिलाफ दर्ज की गई। इस प्राथमिकी में चार से पांच सौ अज्ञात लोगों को भी आरोपित बनाया गया। वहीं दूसरी प्राथमिकी हंगामा, उपद्रव, तोड़फोड़ को लेकर दर्ज की गई, जिसमें 10 नामजद और चार से पांच सौ अज्ञात को आरोपित बनाया गया।
इनके खिलाफ जारी हुआ वारंट
इस मामले में केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे के बेटे अर्जित शाश्वत चौबे समेत नौ लोगों के खिलाफ नाथनगर पुलिस ने शनिवार को अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी अंजनी कुमार श्रीवास्तव की अदालत में गिरफ्तारी वारंट के लिए अर्जी दाखिल की। अदालत ने सभी की गिरफ्तारी का वारंट निर्गत कर दिया है। पुलिस के अनुसार अर्जित शाश्वत चौबे के अलावा अभय कुमार, घोष सोनू, प्रमोद वर्मा पम्मी, देव कुमार पांडेय, संजय भट्ट, सुरेंद्र पाठक, अनूप लाल साह और प्रणव साह उर्फ प्रणव दास के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट निर्गत हुआ है।
अर्जित ने पुलिस पर लगाए ये आरोप
दूसरी ओर अर्जित शाश्वत ने आरोप लगाया है कि पुलिस ने खुद को बचाने के लिए फर्जी एफआइआर दर्ज किया। अर्जित के अनुसार पुलिस और जिला प्रशासन को संघ परिवार की ओर से पहले ही दो दिवसीय नववर्ष समारोह की जानकारी दी गई थी। इसीलिए शोभायात्रा यात्रा निकाली गई, जिसमें भारत माता की जय और वंदे मातरम और जय श्रीराम के नारे लगाए गए। उन्होंने कहा कि अगर देश में एेसा बोलना गुनाह है तो सरकार उन्हें चाहे तो फांसी पर लटका दे।
भारतीय न्याय व्यवस्था में जताई आस्था
शाश्वत ने सोमवार को पटना में कहा कि वे गिरफ्तारी के आदेश के खिलाफ कोर्ट में अग्रिम जमानत की अपील करेंगे। अगर पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने आती है तो वे सहयोग करेंगे। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि वे पुलिस के समक्ष सरेंडर नहीं है करेंगे। कहा कि कोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी का आदेश दिया है, पर कोर्ट फैसले के खिलाफ आगे अपील का भी अधिकार देती है। शाश्वत ने कहा किउन्हें भारतीय न्याय प्रणाली पर भरोसा है। शास्वत ने कहा कि मैं कोई भगोड़ा नहीं हूं।
दाखिल की अग्रिम जमानत याचिका
पटना में उक्त बातें कहने के बाद वे भागलपुर के लिए निकल गए। वहां उन्होंने जिला जत की अदालत में अग्रिम जमानत की अर्जी दाखिल की।
Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें