पीएम नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी आयुष्मान भारत योजना के लाभ को भटक रहे मुजफ्फरपुर के मरीज
जिला समन्वयक विद्यासागर कुमार ने बताया कि आयुष्मान भारत योजना का लाभ लेने के लिए बड़ी संख्या में लाभुक अपनी पंचायत के वसुधा केंद्र व अन्य स्थानों पर पहुंच रहे हैं। योजना का साफ्टवेयर आवेदन को रिजेक्ट कर रहा है।
मुजफ्फरपुर, जासं। जिले में आयुष्मान भारत योजना (Ayushman Bharat Yojana) के तहत गोल्डन कार्ड बनाने का काम धीमी गति से चल रहा है । इसके लिए आवेदन आनलाइन स्वीकार नहीं हो रहे हैैं । सीएस कार्यालय आए पारू के उमेश कुमार ने बताया कि पूरे जिले में बड़े पैमाने पर लोग सुविधा से वंचित हो रहे हैं। सिविल सर्जन ने इस संबंध में रिपोर्ट मांगी है ।
मुख्यालय तक गई शिकायत
आम आदमी की मिल रहीं शिकायतों से आयुष्मान भारत के जिला समन्वयक ने मुख्यालय को अवगत कराया है । जिला समन्वयक विद्यासागर कुमार ने बताया कि आयुष्मान भारत योजना का लाभ लेने के लिए बड़ी संख्या में लाभुक अपनी पंचायत के वसुधा केंद्र व अन्य स्थानों पर पहुंच रहे हैं । योजना का साफ्टवेयर आवेदन को रिजेक्ट कर रहा है । इससे योजना के लाभ से गरीब परिवार वंचित हो रहे हैं । उनकी मानें तो जो शिकायतें आ रही हैं उसके मुताबिक आधार कार्ड में दर्ज परिवार का नाम, पता, उम्र, जन्मतिथि आदि में कोई भी मिसमैच होने पर साफ्टवेयर उस डाटा को स्वीकार नहीं कर रहा है । इसमें सुधार के लिए केंद्रीय मुख्यालय को पत्र लिखा गया है। अभी उनके पास 50 आवदेकों की शिकायतेंं आई हैैं।
आडिट को आएगी केंद्रीय टीम
योजना से संबंधित आडिट के लिए बुधवार को केंद्रीय टीम मुजफ्फरपुर आएगी। तीन सदस्यीय टीम दो दिनों तक अब तक जितने लोगों का कार्ड बना है, उनमें कुछ लाभुकों से बातचीत करेगी। वहीं योजना से संबद्ध निजी अस्पतालों में इलाज, भुगतान व इलाज के साधन को भी देखेगी। उसके बाद टीम रवाना हो जाएगी।
लक्ष्य में पिछड़ रहा अभियान
जिला समन्वयक ने बताया कि जिले में 24,91,879 परिवारों का आयुष्मान भारत योजना से कार्ड बनाने का लक्ष्य है। इसमें मात्र 2,99,067 परिवारों का ही यह कार्ड बन सका है। इसमें तेजी लाने के लिए योजना बनाई गई है।