नई दवा हो रही कारगर, टीबी के मरीजों को मिल रहा लाभ Muzaffarpur News
एसकेएमसीएच में टीबी के दस मरीजों को मिला जीवनदान। चिह्नित मरीजों को निशुल्क दी जा रही यह दवा।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। उत्तर बिहार में टीबी से ग्रसित जीवन से निराश होने वाले मरीजों में अब जीवन की आस जगने लगी है। एसकेएमसीएच में एमडीआर (मल्टी ड्रग रेसिस्टेंट) टीबी के गंभीर दस मरीजों को नई दवा से जीवनदान मिला है। डॉट्स केंद्र प्रभारी डॉ. केकेपी सिंह ने बताया कि यह दवा मरीजों के लिए काफी लाभदायक साबित हो रही है। यहां पांच जिलों के एमडीआर टीबी के गंभीर मरीजों को इसे दिया जा रहा है। ये काफी महंगी है। इसे मरीजों को निशुल्क दिया जा रहा है। यह बीमारी को जड़ से खत्म करने में कारगर साबित हो रही है।
दवा खिलाने का ये है विधि
नोडल पदाधिकारी डॉ. एसएम मिश्रा ने बताया कि नई दवा शुरू करने के लिए एमडीआर टीबी मरीज की पहले जांच की जाती है। इसके बाद उनके परिजन से इसे शुरू करने की सहमति भी ली जाती है। मरीज को 14 दिन भर्ती कर चिकित्सक के नेतृत्व में सुबह-शाम दो-दो गोली खिलाई जाती हैं। फिर मरीज को छह माह के लिए 132 गोली उपलब्ध कराई जाती हैं। यह दवा एक दिन के अंतराल पर छह माह तक लेनी होती है। साथ ही अन्य चल रहीं टीबी की दवाएं भी जारी रखनी पड़ती हैं।
इन्हें दी जाती है दवा
नई दवा एमडीआर टीबी मरीजों को अन्य दवाओं के साथ प्रथम छह माह निर्देशानुसार दी जाती है। फेफड़ा के टीबी से ग्रसित 18 वर्ष से अधिक उम्र वाले मरीजों को इसे दिया जाता है।
यहां के मरीजों को मिलेगा लाभ
यह दवा मुजफ्फरपुर के अलावा सीतामढ़ी, शिवहर, बेतिया एवं मोतिहारी जिले के मरीजों को एसकेएमसीएच में मिलेगी।
अब खबरों के साथ पायें जॉब अलर्ट, जोक्स, शायरी, रेडियो और अन्य सर्विस, डाउनलोड करें जागरण एप