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India-Nepal Tension: भारत सरकार के दबाव के आगे झुका नेपाल, बंधक बनाए गए व्यक्ति को किया मुक्त

India-Nepal Tension सीमा पर तनाव के बावजदू देर रात तक डटे रहे भारतीय नागरिक। नेपाली सशस्त्र प्रहरी बल ने बंधक बनाए गए रमलगन राय को भारतीय पुलिस के हवाले किया।

By Ajit KumarEdited By: Published: Sat, 13 Jun 2020 09:00 AM (IST)Updated: Sat, 13 Jun 2020 11:33 AM (IST)
India-Nepal Tension: भारत सरकार के दबाव के आगे झुका नेपाल, बंधक बनाए गए व्यक्ति को किया मुक्त
India-Nepal Tension: भारत सरकार के दबाव के आगे झुका नेपाल, बंधक बनाए गए व्यक्ति को किया मुक्त

सीतामढ़ी, जेएनएन। India Nepal Tension: भारत सरकार की सख्ती के बाद नेपाल पुलिस ने बंधक बनाए गए भारतीय नागरिक लगन राय को शनिवार तड़के चार बजे मुक्त कर दिया। इसके बाद सोनबरसा थानाध्यक्ष राकेश रंजन और सोनबरसा बीडीओ ओमप्रकाश ने उन्हें नेपाली सशस्त्र प्रहरी बल (एपीएफ) के संग्रामपुर छावनी से कब्जे में लिया। पिता को लेने पुत्र भी साथ गया था। 

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एपीएफ ने भारतीय पुलिस प्रशासन के पदाधिकारियों की उपस्थिति में लगन राय के बेटे से यह लिखवाया कि मैं पिता को सही सलामत पाकर साथ हिंदुस्तान ले जा रहा हूं। जबकि, लगन राय को एपीएफ ने नेपाल के संग्रामपुर कैंप में बंधकर बनाकर बुरी तरह पीटा था। इस मामले में नेपाल के बैकफुट पर आने के बाद एपीएफ यह साबित करने में जुटी है कि लगन राय को नेपाल क्षेत्र में घुसने पर पकड़ा गया था। इसलिए लगन राय पर इस बात के लिए दबाव बनाने लगी कि कि वह नेपाल क्षेत्र में घुसने पर पकड़ा गया। जबकि, लगन राय का कहना था कि ये क्यों बोलूं, जब ऐसा मैंने किया नहीं। इस बीच लगन राय की वापसी के बाद भी लोगों में आक्रोश है। 

शरीर पर मिले जख्मों के निशान

सीतामढ़ी जिले के सोनबरसा थाना क्षेत्र के जानकीनगर निवासी लगन राय की घर वापसी के बाद सोनबरसा पीएचसी में स्वास्थ्य जांच कराई गई। शरीर पर जख्मों के निशान मिले। 

लगन राय ने वही बोला जो दैनिक जागरण ने छापा

बोले लगन राय जो  बात हमने कही, वह दैनिक जागरण ने प्रकाशित की है। हम लोग बॉर्डर पर रिश्तेदार से मिल रहे थे। नेपाली पुलिस वहां से भगाना चाह रही थी। मिलने देने के एवज में पैसे चाह रहे थे। हम लोगों ने थोड़ा समय मांगा तो एपीएफ वाले लड़के को पीटने लगे। मुझको भी बंदूक के कुंदे से पीटा और घसीटते हुए बॉर्डर से सौ मीटर दूर ले जाकर जीप में खींच लिया। फिर संग्रामपुर कैंप ले जाकर बुरी तरह पीटा। नेपाली पुलिस की बर्बरता देखकर बॉर्डर पर क्रिकेट खेल रहे कुछ युवकों व खेतों में काम कर रहे लोगों ने विरोध करना चाहा।

 इसी बात पर पुलिस ने फायरिंग शुरू कर दी। इस दौरान खेतों में काम कर रहे सोनबरसा थाना क्षेत्र के जानकी नगर टोले लालबंदी निवासी नागेश्वर राय के पुत्र विकेश कुमार ( 25) की मौत हो गई। जबकि, सोनबरसा थाना क्षेत्र के लालबंदी गांव निवासी उमेश राम (19) पिता विनोद राम को दाहिने हाथ में और  सहोरवा जानकीनगर के उदय शर्मा (32) पिता स्व. ङ्क्षवदेश्वर शर्मा की जांघ में गोली लगी।  


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