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नवकी पोखर का अस्तित्व खतरे में, नेता से लेकर अधिकारी तक खामोश Darbhanga News

80 वर्ष पूर्व हुई थी तालाब की खुदाई। इस तालाब में ही पूरे गांव के लोग खुद एवं अपने पशुओं को नहलाते थे। उस जमाने में इस टोले में कोई तालाब नहीं था।

By Ajit KumarEdited By: Published: Tue, 09 Jul 2019 09:27 AM (IST)Updated: Tue, 09 Jul 2019 09:27 AM (IST)
नवकी पोखर का अस्तित्व खतरे में, नेता से लेकर अधिकारी तक खामोश Darbhanga News
नवकी पोखर का अस्तित्व खतरे में, नेता से लेकर अधिकारी तक खामोश Darbhanga News

दरभंगा, जेएनएन। दरभंगा के गौड़ाबौराम प्रखंड क्षेत्र के आसी पंचायत स्थित महुआर गांव के धरोहरों में शामिल गांव का नवकी पोखर आज अपना अस्तित्व बचाने के लिए जद्दोजहद कर रहा है। इस तालाब का निर्माण करीब 80 वर्ष पूर्व स्थानीय ग्रामीणों ने करवाया था। उस वक्त गांव में इस तालाब की काफी महत्ता थी। इस तालाब में ही पूरे गांव के लोग खुद एवं अपने पशुओं को नहलाते थे। लोगों ने बताया कि उस जमाने में इस टोले में कोई तालाब नहीं था एवं इस टोले के लोगों को दूसरे टोले में स्थित तालाबों में जाना पड़ता था।

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   खासकर किसानों को सिचाई में काफी दिक्कतें होती थी। ग्रामीणों ने लोगों के दुख-दर्द को समझते हुए इस टोले में सरकार की दो एकड़ जमीन में तालाब का निर्माण करवाया था। तालाब के उत्तरी व पश्चिमी महार पर भगवान भोले, गणेश, महावीर के मंदिर का भी निर्माण कराया था। इतना ही नहीं पोखर के चारों किनारे आम, लीची और कटहल के बड़े-बड़े पेड़ लगाए गए थे। लेकिन आधुनिकता की अंधी दौड़ में इस टोले के लोगों ने इस तालाब को किसी बुरे सपने की तरह भूला दिया।

   आलम यह है कि आज गर्मी में पानी के लिए लोगों के साथ-साथ पशु-पक्षी भी परेशान है। सफाई के अभाव में इस तालाब को जंगलों ने अपने आगोश में ले लिया। यदि समय रहते इसे बचाने की दिशा में ठोस पहल नहीं किया गया तो यह तालाब पूरी तरह से इतिहास बनकर रह जाएगा। वार्ड सदस्य सह पंचायत के उपमुखिया राजकुमार झा ने कहा कि इस पोखर के जीर्णोद्धार व सौंर्दयीकरण के लिए स्थानीय विधायक व सूबे के मंत्री मदन सहनी को कई बार मांग पत्र सौंपा गया है। लेकिन मंत्री इसे नजरअंदाज कर रहे है।

   गणेश झा ने कहा कि इस पोखर का जीर्णोंद्धार होने से लोगों के साथ-साथ सरकार को भी फायदा होगा। मछली पालन से प्रति वर्ष लाखों रुपये राज्यकोष में जमा होंगे। लगेंगे। दस बावत प्रभारी पीओ विशाल कुमार ने बताया कि इस वर्ष तो पोखर के सौंदर्यीकरण का समय निकल गया। अगले सीजन में इसका सौंर्दयीकाण कराया जाएगा।


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