थोक बाजार में सामग्री की कीमत में वृद्धि, महंगाई ने पसारे पाव
कोरोना वायरस संक्रमण पर रोक के मद्देनजर किए गए लॉकडाउन के बीच जिले में एक बार फिर महंगाई का असर दिखने लगा है।
मुजफ्फरपुर : कोरोना वायरस संक्रमण पर रोक के मद्देनजर किए गए लॉकडाउन के बीच जिले में एक बार फिर महंगाई का असर दिखने लगा है। थोक मंडी में उपभोक्ता सामग्री की कीमत में वृद्धि का असर खुदरा बाजार में दिख रहा है। बुधवार को थोक बाजार में चावल, दाल, सरसों तेल, रिफाइन, चना की कीमत में वृद्धि हुई। जबकि चीनी, आलू और प्याज की कीमतें स्थिर रहीं। आटा की कीमत में प्रति किलो दो रुपये और मैदा की कीमत में एक रुपये की गिरावट आई है।
जिले में उपभोक्ता सामग्री की आवक जारी है। 15 ट्रक प्याज, 30 ट्रक फल, तकरीबन 70 ट्रक किराना सामग्री और 40 ट्रैक्टर आलू की खेप बाजार समिति में पहुंची।
उधर, प्रशासन द्वारा जारी दरो का अब भी जिले में पालन नहीं हो रहा है। कई इलाकों में दुकानदार अधिक कीमत वसूल रहे हैं। वहीं बाजार समिति और सब्जी तथा फल मंडी में लॉकडाउन का पालन नहीं हो पा रहा है।
इसी बीच कालाबाजारी पर नकेल और लॉकडाउन का पालन कराने के लिए बुधवार को एसडीओ पूर्वी और पश्चिमी के नेतृत्व में पुलिस प्रशासन की टीम ने कई इलाकों का दौरा किया और दुकानदारों को कड़ी हिदायत दी।
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पर्याप्त मात्र में उपलब्ध किराना सामग्री
मुजफ्फरपुर : जिले में उपभोक्ता सामग्री पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हैं। ट्रक और मालवाहक ट्रेन से तमाम उपभोक्ता सामग्री पहुंच रही हैं। दिल्ली, नासिक, बंगाल, इंदौर और हिमाचल प्रदेश से रोजाना 150 ट्रक पहुंच रहे हैं। ऐसे में जिले में तत्काल किल्लत जैसी स्थिति नहीं है।
बाजार समिति में मंडी अध्यक्ष विजय कुमार चौधरी ने बताया कि सोमवार को बाजार समिति में जिस तरह आवक हो रही है, उससे काफी स्टॉक हो गया है। अगले 15 दिनों तक जिले में किसी सामग्री की कमी नही होगी।
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सब्जी बाजार, फल मंडी और बाजार में लॉक डाउन बेअसर
मुजफ्फरपुर : प्रशासनिक सख्ती के बावजूद सब्जी बाजार, फल मंडी और बाजार समिति में लॉकडाउन का पालन नहीं हो पा रहा है। बाजार समिति में रोजाना कम से कम 600 लोग पहुंच रहे हैं। इनमें ट्रक के चालक, संवाहक, कर्मी, माल ढुलाई करने वाले मजदूर और स्थानीय कारोबारी शामिल हैं। इस दौरान सभी एक दूसरे के करीब आ रहे हैं। लिहाजा फिजिकल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन हो रहा है। यही हाल सब्जी और फल मंडी का है।
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बुधवार को प्रशासन द्वारा जारी उपभोक्ता सामग्री की दरें
सामग्री थोक दर खुदरा दर
आटा : 1300 (49 किग्रा) 30 रुपये किलो
चावल मध्यम : 2600 प्रति क्विंटल 29 रुपये किलो
चावल उसना : 2700 प्रति क्विंटल 29 रुपये किलो
चावल अरवा : 3050 से 3300 प्रति क्विंटल 32 से 35 रुपये
चावल फाइन : 3200 से 3800 प्रति क्विंटल 34 से 40 रुपये किलो
अरहर दाल : 8200 प्रति क्विंटल 85 रुपये किलो
चना दाल : 6200 से 6500 प्रति क्विंटल 65 से 68 रुपये किलो
मसूर दाल : 6000 से 6500 प्रति क्विंटल 65 से 68 रुपये किलो
मूंग दाल : 1020 प्रति क्विंटल 105 रुपये किलो सरसों तेल
सलोनी : 104 रुपये लीटर 107 रुपये लीटर
धारा : 105 रुपये लीटर 108 रुपये लीटर
हाथी : 109 रुपये लीटर 111 रुपये लीटर
अन्य : 100 रुपये लीटर 105 रुपये लीटर रिफाइन
नेचरफ्रेश : 102 रुपये लीटर 106 रुपये लीटर
फार्चून : 100 रुपये लीटर 103 रुपये लीटर
धारा 100 रुपये लीटर 103 रुपये लीटर
अन्य : 95 रुपये लीटर 98 रुपये लीटर
नमक : 5 से 8 रुपये किलो 8 से 12 रुपये किलो
चना : 5600 से 6000 प्रति क्विंटल 60 से 62 रुपये किलो
काबली चना : 6000 से 6500 प्रति क्विंटल 62 से 68 रुपये किलो
मैदा : 1200 रुपये प्रति बैग 30 रुपये किलो
चीनी : 3600 से 3700 प्रति क्विंटल 37 से 38 रुपये किलो
लहसुन : 50 से 60 रुपये किलो 60 से 70 रुपये किलो
मिर्च : 150 रुपये किलो : 160 रुपये किलो
मटर : 5500 से 6000 रुपये किलो 57 से 62 रुपये किलो
आलू सफेद : 1300 से 1400 प्रति क्विंटल 14 से 16 रुपये किलो
आलू लाल : 1500 से 1600 प्रति क्विंटल 16 से 17 रुपये किलो
प्याज नासिक : 1700 से 2000 20 से 21 रुपये किलो
प्याज बंगाल : 1300 से 1400 प्रति क्विंटल 14 से 15 रुपये किलो
प्याज इंदौर : 1600 से 1700 प्रति क्विंटल 17 से 19 रुपये किलो।